Updated August 13th, 2022 at 21:24 IST
Independence Day 2022: भारत के टूरिज्म क्षेत्र ने नौकरी के अवसर देने और देश के विकास में ऐसे की मदद
भारत की स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूरे होने के साथ, देश 15 अगस्त को कई कार्यक्रमों, प्रदर्शनियों, रैलियों के आयोजन के साथ एक भव्य उत्सव का गवाह बनने के लिए तैयार है।
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भारत की स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूरे होने के साथ, देश 15 अगस्त को कई कार्यक्रमों, प्रदर्शनियों, रैलियों के आयोजन के साथ एक भव्य उत्सव का गवाह बनने के लिए तैयार है। आजादी के अमृत महोत्सव की शुरूआत मार्च 2021 में हुई और इसकी के साथ देश की आजादी के 75वें वर्षगांठ की तैयारी शुरू हो गई। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा था कि ये 75 सप्ताह का महाउत्सव केवल स्वतंत्रता के अंतिम 75 वर्षों के बारे में नहीं है, बल्कि देश के अगले 25 साल के विजन के विकसित होने का क्षण है।
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2022 को भारत में 'विजिट इंडिया ईयर' करे रूप में मनाया जाएगा। इसमें स्वतंत्रता के 75 वर्षों के अलावा, भारतीय विरासत, संस्कृति, कला, कल्याण और योग जैसी भारत की ताकत को प्रचार के माध्यम से लोगों तक पहुंचाया जाएगा, जिससे पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा। देश की परंपराएं और समृद्ध सांस्कृतिक विरासत खासकर ऐसी चीजें जिसने भारतीय पर्यटन क्षेत्र की नींव रखी, वो GDP में लगभग पांच प्रतिशत का योगदान देता है।
भारत को 1947 में ब्रिटिश शासन से आजादी मिली। भारत उत्तर में हिमालय, दक्षिण में हिंद महासागर, पूर्व में बंगाल की खाड़ी और पश्चिम में अरब सागर से घिरा हुआ है। भारत में पर्यटन क्षेत्र के विकास की दिशा में बहुत बड़े रूप से काम किया गया, क्योंकि यह देश का सबसे बड़ा सेवा क्षेत्र है।
2002 में 'इंक्रिडिबल इंडिया' अभियान की शुरुआत के साथ, भारतीय पर्यटन दुनिया के सभी कोनों में घरेलू नाम बन गया। इसकी सफलता के बाद, अभियान को वर्ष 2017 में 'इंक्रिडिबल इंडिया 2.0' के रूप में नवीनीकृत किया गया। अभियान के नए एडिशन ने विरासत, क्रूज, एडवेंचर, साथ ही चिकित्सा पर्यटन जैसे विशिष्ट पर्यटन क्षेत्रों पर अधिक ध्यान केंद्रित किया।
भारत सरकार ने पर्यटन को बढ़ाने के संबंध में, विदेशी पर्यटकों का स्वागत करते हुए स्थानीय आबादी को अच्छे व्यवहार और शिष्टाचार पर शिक्षित और प्रबुद्ध करने के उद्देश्य से 2008 में 'अतिथि देवो भव' नामक एक और अभियान शुरू किया। इसे भी दुनिया भर में काफी सराहा गया था।
बीते कुछ साल भारत के पर्यटन क्षेत्र के लिए वरदान
पर्यटन क्षेत्र और पर्यटक प्रवाह के मामले में देश की रैंकिंग पिछले पांच वर्षों में बढ़ी है। 2014 में जब पहली बार मोदी सरकार आई उसके बाद से पर्यटन का ग्राफ लगातार बढ़ा है। पर्यटकों की संख्या के मामले में 2014 में 65वें स्थान से 2019 में 34वें स्थान पर पहुंचने तक, भारत ने अपने पर्यटन क्षेत्र में उल्लेखनीय बढ़ोतरी की है।
पीएम नरेंद्र मोदी देश का चेहरा होने की वजह से भारत के पर्यटन उद्योग के ब्रांड एंबेसडर के रूप में काम कर रहे हैं। भारत 40 यूनेस्को विश्व धरोहर स्थलों के साथ छठे नंबर पर है, जो पर्यटकों को यात्रा करने के लिए कई विकल्प देता है। विरासत स्थलों के अलावा, भारत ने पर्यटन के लिए अपने बुनियादी ढांचे के निर्माण की दिशा में भी काम किया है जो अर्थव्यवस्था में योगदान दे सकता है और साथ ही देश के लोगों को रोजगार भी प्रदान कर सकता है। गुजरात के नर्मदा जिले में सरदार सरोवर बांध के पास प्रतिष्ठित स्टैच्यू ऑफ यूनिटी ऐसे पर्यटन बुनियादी ढांचे का एक उदाहरण है।
सरदार पटेल को समर्पित स्टैच्यू 182 मीटर लंबा है जो दुनिया की सबसे ऊंची संरचना है। पीएम मोदी ने इसका उद्घाटन 31 अक्टूबर, 2018 को किया था। ये स्थान इस साल की शुरुआत में 75 लाख पर्यटकों का आंकड़ा पार कर गया था।
पीएम मोदी ने अपने विदेशी दौरे के जरिए भारत के पर्यटन ढांचे को मजबूत बनाने की दिशा में भी काम किया है। इस साल मई में, पीएम मोदी ने डेनमार्क में भारतीय प्रवासियों को "राष्ट्रदूत" (देश के प्रतिनिधि) के रूप में काम करने के लिए कहा और उनसे "चलो इंडिया" बैनर के तहत अपने साथियों को भारत में आमंत्रित करने का आग्रह किया।
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Published August 13th, 2022 at 21:24 IST
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