Updated May 10th, 2024 at 21:52 IST
EXCLUSIVE/ इकबाल अंसारी या कांग्रेस? जब PM मोदी ने पूछा सच्चा सेकुलर कौन?
PM Narendra Modi on Republic: लोकसभा चुनाव 2024 में अबतक तीसरे चरण के लिए वोटिंग हो चुकी है। इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रिपब्लिक भारत से एक्सक्लूस
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PM Narendra Modi on Republic: रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क के एडिटर-इन-चीफ अर्नब गोस्वामी के साथ एक खास बातचीत में प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद मामले के पूर्व वादी इकबाल अंसारी की 'सच्चे धर्मनिरपेक्ष' होने और बाबरी मस्जिद मामले से उनके परिवार के ऐतिहासिक जुड़ाव के बावजूद राम मंदिर प्रतिष्ठा समारोह में भाग लेने के लिए सराहना की।
प्रधान मंत्री ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कानूनी लड़ाई के विरोधी पक्ष में होने के बावजूद इकबाल अंसारी ने भव्य 'प्राण प्रतिष्ठा' समारोह में शामिल होने के लिए राम मंदिर ट्रस्ट के निमंत्रण को स्वीकार कर लिया। पीएम मोदी ने कहा, न केवल वह इस कार्यक्रम में शामिल हुए, बल्कि अंसारी ने अपने एक सहयोगी को उपहार देने के लिए राम मंदिर की एक छोटी प्रतिकृति भी खरीदी।
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जब पीएम मोदी ने पूछा सच्चा सेकुलर कौन?
विपक्ष द्वारा राम मंदिर कार्यक्रम का राजनीतिकरण कैसे किया गया, इस पर बोलते हुए प्रधान मंत्री मोदी ने दोहराया कि राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद मामले में मुख्य वादी में से एक अंसारी ने भी निमंत्रण स्वीकार कर लिया, लेकिन कांग्रेस ने ऐसा नहीं किया। उन्होंने कहा, "मुझे आश्चर्य हुआ कि क्या अंसारी एक सच्चे धर्मनिरपेक्ष हैं या कांग्रेसी। इसके बाद मुझे लगा कि अंसारी एक वास्तविक धर्मनिरपेक्ष व्यक्ति हैं।"
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पीएम मोदी ने कहा, "उन्होंने पूरी कानूनी लड़ाई अपने अधिकार के लिए लड़ी और जैसे ही सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया, उन्होंने इसे स्वीकार किया। देश अंसारी के साथ-साथ शाही परिवार को भी देख रहा है और अपना मूल्यांकन कर रहा है।"
रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क के एडिटर-इन चीफ अर्नब गोस्वामी ने राम मंदिर से जुड़ा एक सवाल पीएम मोदी से किया था। इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने अपने जवाब में कहा कि राम मंदिर के लिए 500 साल तक लड़ते रहे। ये त्याग और बलिदान का इतिहास है। सेक्युलरिज्म के लिए डर के जिएंगे तो कैसे चलेगा। पीएम मोदी ने कहा कि प्राण प्रतिष्ठा में मैं साक्षी बना। अब तक जो हुआ, सो हुआ। सुप्रिम कोर्ट ने जजमेंट दिया अब तो साथ चलो। पीएम मोदी कहते हैं- 'मैंने प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर कहा था कि हमारी यात्रा राम से राष्ट्र की तरफ है, हमारी यात्रा देव से देश की तरफ है। राम मंदिर के ट्रस्टियों ने मंदिर निर्माण का घोर विरोध करने वालों को भी निमंत्रण दिया, उनको सम्मान दिया। लेकिन उस निमंत्रण को उन्होंने ठुकरा दिया।'
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कौन हैं इकबाल अंसारी?
राम जन्मभूमि और बाबरी मस्जिद भूमि से जुड़ा मामला अदालत में चल रहा था तो इकबाल अंसारी इस मुकदमे एक पक्षकार थे। उनके पिता हाशिम अंसारी भूमि विवाद मामले के सबसे उम्रदराज वादी थे, जिनका 2016 में 95 साल की उम्र में निधन हो गया था। उसके बाद इकबाल ने अदालत में मामले को आगे बढ़ाना शुरू कर दिया।
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नवंबर 2019 को सुप्रीम कोर्ट ने पूरे मामले पर फैसला दिया था। कोर्ट ने अयोध्या में विवादित स्थल को राम मंदिर के लिए दिया था। उसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुनाया कि पवित्र हिंदू शहर अयोध्या में एक मस्जिद के लिए दूसरी जगह पांच एकड़ जमीन दी जाए। फिलहाल कोर्ट के आदेश के बाद अयोध्या में भव्य राम मंदिर बन रहा है। मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा इसी साल 22 जनवरी को की गई थी।
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Published May 10th, 2024 at 21:52 IST
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