अपडेटेड 10 September 2025 at 21:29 IST

PM मोदी ने कतर के अमीर शेख को मिलाया फोन, इजरायल के हमले पर जताई चिंता, कहा- भारत युद्ध बढ़ाने के खिलाफ

PM Modi Calls Qatar Emir: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमाद अल थानी को फोन किया और दोहा पर इजरायली अटैक की निंदा की है।

PM Modi and qatar's emir meeting.
पीएम मोदी और कतर के अमीर | Image: X/Narendra Modi

PM Modi Calls Qatar Emir: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमाद अल थानी को फोन किया और दोहा पर इजरायली अटैक की निंदा की है। उन्होंने कहा कि भारत किसी भी प्रकार की हिंसा की निंदा करता है।

आपको बता दें कि दस से ज्यादा लड़ाकू विमानों द्वारा किए गए इस हमले में चीफ नेगोशिएटर खलील अल-हय्या समेत हमास के लीडरशिप को निशाना बनाया गया था। हमास ने कहा कि इस हमले में न तो खलील को कुछ हुआ और न ही नेगोशिएट करने वाले प्रतिनिधिमंडल को कोई नुकसान पहुंचा, बल्कि उनके बेटे और उनके कार्यालय के निदेशक मारे गए पांच सदस्यों में शामिल थे। इस हमले में एक कतर सुरक्षा अधिकारी भी मारा गया।

पीएम मोदी ने क्या कहा?

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक्स पर एक पोस्ट के जरिए कहा, "कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमाद अल-थानी से बात की और दोहा में हुए हमलों पर गहरी चिंता व्यक्त की। भारत कतर के भाईचारे वाले राज्य की संप्रभुता के उल्लंघन की निंदा करता है। हम बातचीत और कूटनीति के माध्यम से मुद्दों के समाधान और तनाव को बढ़ने से रोकने का समर्थन करते हैं। भारत क्षेत्र में शांति और स्थिरता के लिए, और सभी रूपों और अभिव्यक्तियों में आतंकवाद के विरुद्ध दृढ़ता से खड़ा है।"

आपको बता दें कि इससे पहले पीएम मोदी ने इटली के पीएम जॉर्जिया मेलोनी से भी यूक्रेन मुद्दे पर बात की थी। उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट के जरिए कहा था, "प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी के साथ बहुत अच्छी बातचीत हुई। हमने भारत-इटली रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने की अपनी संयुक्त प्रतिबद्धता दोहराई और यूक्रेन में संघर्ष को जल्द से जल्द समाप्त करने में साझा रुचि दिखाई। पारस्परिक रूप से लाभकारी भारत-यूरोपीय संघ व्यापार समझौते को अंतिम रूप देने और IMEEEC पहल के माध्यम से संपर्क को बढ़ावा देने में इटली के सक्रिय सहयोग के लिए प्रधानमंत्री मेलोनी का धन्यवाद किया।"

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कतर हमले में क्या-क्या हुआ?

  1. दो इजरायली सूत्रों ने अमेरिकी मीडिया को बताया कि इस हमले की तैयारी महीनों से चल रही थी, लेकिन हाल के हफ्तों में इसमें तेजी आई। एक इज़रायली अधिकारी ने बताया कि लंबी दूरी के हमले के लिए जेट विमानों को हवा में ही ईंधन भरने की जरूरत पड़ी।
  2. कतर के विदेश मंत्रालय ने हमले की पूर्व सूचना मिलने से इनकार किया है। ट्रंप ने कहा कि अमेरिका को इस फैसले के बारे में बहुत देर से पता चला और वह इस स्थिति से खुश नहीं हैं। ट्रंप के कुछ सलाहकार भी इस बात से निराश हैं कि वे कतर को चेतावनी देने या इस बारे में कोई राय बनाने में नाकाम रहे।
  3. देश के प्रधानमंत्री हमले के बारे में बताते हुए स्पष्ट रूप से नाराज थे। उन्होंने कहा कि कतर जवाब देने का अधिकार रखता है। बाद में उन्होंने पुष्टि की कि कतर की कूटनीति की परंपरा बाधित नहीं होगी, लेकिन उन्होंने यह भी संकेत दिया कि गाजा युद्धविराम वार्ता का रास्ता अनिश्चित है।
  4. कई यूरोपीय, अरब और एशिया-प्रशांत देशों के नेताओं ने इस हमले की निंदा करते हुए इसे कतर की संप्रभुता का उल्लंघन बताया और कहा कि इससे स्थिति और बिगड़ सकती है और गाजा में युद्ध समाप्त करने के प्रयास खतरे में पड़ सकते हैं। कुछ नेताओं ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से इजरायल को जवाबदेह ठहराने का आग्रह किया है।

आपको बता दें कि कतर उन दो क्षेत्रीय मध्यस्थों में से एक है जो गाजा में युद्ध को समाप्त करने और बंधकों की रिहाई के लिए एकमात्र राजनयिक मार्ग का नेतृत्व कर रहे हैं। कतर मध्य पूर्व के सबसे बड़े अमेरिकी सैन्य अड्डे पर अमेरिकी सैनिकों की मेज़बानी करता है, साथ ही हमास के राजनीतिक ब्यूरो को दोहा में काम करने की अनुमति भी देता है, जिसके बारे में कतर का कहना है कि इसकी स्थापना एक दशक पहले वाशिंगटन के अनुरोध पर संचार माध्यमों को सुगम बनाने के लिए की गई थी।

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Published By : Kunal Verma

पब्लिश्ड 10 September 2025 at 21:29 IST