अपडेटेड 8 August 2024 at 10:40 IST

वाराणसी में गंगा नदी का बढ़ा जलस्तर, तटवर्ती इलाकों में घुसा पानी; छोटे व्यापारियों को भी टेंशन

Water Level of Ganga River Increased: वाराणसी में गंगा नदी का जलस्तर बढ़ने से तटवर्ती इलाकों में बाढ़ का पानी घुस गया है, जिससे लोगों को भारी परेशानी हो रही है।

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वाराणसी में गंगा नदी का बढ़ा जलस्तर | Image: Shutterstock/ Representative

Water Level of Ganga River Increased: वाराणसी में गंगा नदी का जलस्तर बढ़ने से तटवर्ती इलाकों में बाढ़ का पानी घुस गया है, जिससे स्थानीय निवासियों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। पिछले कुछ दिनों में हो रही लगातार बारिश के कारण गंगा का जलस्तर तेजी से बढ़ा है। जिसके चलते वाराणसी के कई निचले इलाकों में बाढ़ का पानी घुस आया है इससे जनजीवन भी प्रभावित है। 

साथ ही वाराणसी जिला प्रशासन ने भी बाढ़ के खतरे को देखते हुए सभी संबंधित विभागों को अलर्ट पर रहने का निर्देश दिया है। इसके अलावा गंगा के पास बसे छोटे व्यापारियों को भारी नुकसान का सामना करना पड़ रहा है। अगर इसी स्पीड से गांगा का पानी बढ़ता गया तो स्थानीय लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। 

निचले इलाकों में घुसा पानी 

गंगा में जलस्तर बढ़ने से निचले इलाकों में बाढ़ का पानी घुस गया है। कल (बुधवार) शाम शामशाम गंगा का जलस्तर 68.67 मीटर दर्ज किया गया। जो खतरे के निशान से तो फिलहाल नीचे हैं लेकिन पानी बढ़ने की रफ्तार यही रही तो निचले इलाकों में दिक्कतें बढ़ जाएंगी। उधर घाटों पर पानी भरने से हरिश्चंद्र घाट और मणिकर्णिका घाट पर दाह संस्कार भी ऊपर के प्लेटफार्म पर किया जा रहा है।

जलस्तर बढ़ने से घाटों का टूट रहा संपर्क

गंगा का जलस्तर बढ़ने से काशी में घाटों का संपर्क भी आपस में टूटने लगा है। घाट में नीचे बने मंदिर भी डूब रहे हैं। ऐसे में दशाश्वमेध घाट के आरती स्थल में भी बदलाव किया जा रहा है, गंगोत्री सेवा निधि और गंगा सेवा निधि दोनों ने ही आरती ऊपर की सीढ़ियों पर की है। वहीं, डॉ. राजेंद्र प्रसाद घाट पर भी पानी तेजी से चढ़ रहा है। 

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स्थानीय लोगों को हो रही परेशानी 

आगर पानी इसी तरह बढ़ता गया तो यकीनन स्थानीय लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ेगा, इसके अलावा घाटों पर काम करने वाले छोटे व्यापारियों का भी सामान खराब हो रहा है और उन्हें भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

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Published By : Nidhi Mudgill

पब्लिश्ड 8 August 2024 at 08:07 IST