अपडेटेड 2 July 2024 at 23:44 IST
पैर छूने के लिए दौड़, फिसलन भरी जमीन... हाथरस के सत्संग में कैसे पहुंचे 80 हजार से अधिक लोग?
Hathras Stampede: यूपी के मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने बताया कि हाथरस के सत्संग में 80 हजार से ज्यादा लोग पहुंचे थे।
- भारत
- 2 min read

Hathras Stampede: हाथरस में 100 से अधिक लोगों की मौत ने प्रशासन के कान खड़े कर दिए हैं। सवालों की झड़ियां लग गई हैं तो वहीं, इन सबके बीच प्रशासन की लापरवाही की पोल भी खुल गई है। यूपी के मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने बताया कि हाथरस के सत्संग में 80 हजार से ज्यादा लोग पहुंचे थे। सवाल ये है कि जब कार्यक्रम के लिए एप्लीकेशन में 80 हजार लोगों की उम्मीद जताई गई थी तो 80 हजार से अधिक लोग सत्संग में कैसे पहुंचे?
यूपी के मुख्य सचिव ने क्या कहा?
यूपी के मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने कहा- ''ये घटना बहुत ही दुखद और हृदयविदारक है। इसमें शासन और प्रशासन की पूरी संवेदना मृतकों के परिजनों के साथ है। मुख्यमंत्री ने निर्देशित किया, हर खबर को यहां पर वो मॉनिटर कर रहे हैं। घायलों को सही उपचार मिल सके, ये हमारी प्राथमिकता है। मृतकों को उनके घर तक पहुंचाने की व्यवस्था की जा रही है। 116 लोगों की मौत हुई है, उसमें महिलाएं, बच्चे हैं। अभी तक 72 लोगों की शिनाख्त हो पाई है, उनके फोटोग्राफ लिए गए हैं। मृतकों को राज्य और केंद्र से 2-2 लाख की धनराशि दी जाएगी।
आयोजकों की ओर से शर्तों में मेजर लैप्स
उन्होंने आगे कहा- 'उनके जो मुख्य सेवादार थे, उन्होंने इस तरह के कार्यक्रम के लिए एप्लीकेशन दी थी। उसमें लगभग 80 हजार के आसपास भीड़ की उम्मीद जताई थी, लेकिन जो सूचना मिली है, लोगों की संख्या 80 हजार से काफी ज्यादा थी। पुलिस काफी बड़ी संख्या में तैनात थी। बताया जा रहा है कि लोगों की कुछ प्रथा है, कार्यक्रम खत्म होने के बाद उनके पैर छूने या वहां से मिट्टी लेने की बात है। उसमें भगदड़ मची, पास में नाला है, उसमें एक के ऊपर लोग गिरते चले गए। बहुत सख्त कार्रवाई होगी, जो लोग इसमें दोषी हैं। एडीएम ने जो परमिशन दी है, कई शर्तों का उल्लेख उसमें किया गया है। आयोजकों की ओर से शर्तों में मेजर लैप्स है। एडीजी और कमीश्नर को जांच करनी है, 24 घंटे की मोहलत मुख्यमंत्री ने दी है।'
ये भी पढ़ेंः लाशों के बीच चिल्लाती मां, अस्पतालों में व्यवस्थाएं नदारद... कब मिलेगा हाथरस जैसी चीखों को आराम?
Advertisement
Published By : Kunal Verma
पब्लिश्ड 2 July 2024 at 23:41 IST