अपडेटेड 31 July 2024 at 13:56 IST

दिल्ली IAS एस्पिरेंट्स मौत मामले में HC ने MCD को लगाई तगड़ी फटकार, पूछा- कितने अधिकारी गिरफ्तार हुए

Rajendra Nagar Incident: दिल्ली हाईकोर्ट ने MCD से हलफनामा दाखिल कर अब तक उठाए गए कदम के बारे में बताने को कहा। अदालत ने पुलिस को मामले में पक्षकार बनाया।

Follow :  
×

Share


राजेंद्र नगर कोचिंग सेंटर मामले में हाईकोर्ट ने सुनवाई की। | Image: ANI/PTI

Rajendra Nagar Coaching Centre Incident: राजेंद्र नगर के कोचिंग सेंटर में 3 छात्रों की मौत मामले पर दिल्ली हाईकोर्ट भड़क गया है। हाईकोर्ट ने दिल्ली नगर निगम के साथ-साथ दिल्ली पुलिस को जबरदस्त फटकार लगाई है। अदालत ने बुधवार को सुनवाई करते हुए एमसीडी कमिश्नर, जिले के डीसीपी और जांच अधिकारी (IO) को अगली सुनवाई पर कोर्ट में पेश होने का आदेश दिया है। साथ में हाईकोर्ट ने राजेंद्र नगर इलाके में सभी नालों के ऊपर किए गए सभी अवैध निर्माण को शुक्रवार तक हटाने का निर्देश दिए हैं।

राजेंद्र नगर की घटना पर दाखिल याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने पुलिस की कार्रवाई पर हैरानी जताई। अदालत ने कहा कि अजीब जांच चल रही है, पुलिस पास से गुजरने वाले कार चालक के खिलाफ कार्रवाई कर रही है, लेकिन एमसीडी अधिकारियों के खिलाफ नहीं। दिल्ली पुलिस और MCD ने अभी तक क्या किया है। राह से गुजरते हुए एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर लिया। एमसीडी के कितने अधिकारी गिरफ्तार हुए? हाईकोर्ट ने कहा कि इस मामले में तुरंत जिम्मेदारी तय की जाए।

हाईकोर्ट ने MCD से हलफनामा दाखिल करने को कहा

दिल्ली हाईकोर्ट ने MCD से हलफनामा दाखिल कर अब तक उठाए गए कदम के बारे में बताने को कहा है। अदालत ने दिल्ली पुलिस को मामले में पक्षकार बनाया और कहा कि जांच अधिकारी को कल सभी फाइलें लेकर आना है। एमसीडी कमिश्नर को व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में तलब किया गया है। हाईकोर्ट ने ये भी कहा कि हम इस मामले में जिम्मेदारी तय करने के लिए आदेश पारित करेंगे। अदालत ने इसे इंफ्रास्ट्रक्चरल ब्रेकडाउन करार दिया है और सख्ती के साथ कहा कि दुर्भाग्य से बहुत से अधिकारी परस्पर विरोधी उद्देश्यों के लिए काम कर रहे हैं। बहुत ज्यादा दोषारोपण हो रहा है। दिल्ली के पूरे प्रशासनिक ढांचे की फिर से जांच की जानी चाहिए।

यह भी पढ़ें: कोचिंग सेंटर्स को लेकर दिल्ली सरकार सख्त, आतिशी ने किए ये बड़े ऐलान

मुफ्तखोरी संस्कृति पर फैसला करना होगा- HC

हाईकोर्ट ने कहा कि कभी-कभी सीनियर अधिकारियों को आना पड़ता है और स्वीकार करना पड़ता है। वो अपने एसी वाले ऑफिस से बाहर नहीं निकल रहे हैं। अगर आप सोचते हैं कि इमारतों के जरिए आप प्रकृति से लड़ सकते हैं, तो आप गलत हैं। और ये कैसी योजना है? एक दिन आप सूखे की शिकायत करते हैं और अगले दिन बाढ़ आ जाती है? हाईकोर्ट ने कहा कि आपको इस मुफ्तखोरी संस्कृति पर फैसला करना होगा।

हाईकोर्ट ने अथॉरिटी से पूछा कि जब आप नियमों को उदार बना रहे थे, तो पुराने बुनियादी ढांचे को पहले ही अपग्रेड क्यों नहीं किया गया? अदालत ने कहा कि इस शहर की बुनियादी संरचना और वर्तमान जरूरतों के बीच बहुत बड़ा अंतर है। आप बहुमंजिला इमारतों की अनुमति दे रहे हैं, लेकिन कोई उचित नाली नहीं है। आपने सीवेज को स्टॉर्म वाटर ड्रेन के साथ मिला दिया है, जिससे पानी का बहाव उल्टा हो जाता है। आपकी सिविक ऑथोरिटी दिवालिया हो चुकी हैं। अगर आपके पास वेतन देने के लिए पैसे नहीं हैं, तो आप बुनियादी ढांचे को कैसे उन्नत करेंगे? आप "मुफ्तखोरी संस्कृति" चाहते हैं। आप कोई पैसा इकट्ठा नहीं कर रहे हैं, इसलिए आप कोई पैसा खर्च नहीं कर रहे हैं।

'आप इस शहर को कैसे चलाने की योजना बना रहे हैं'

हाईकोर्ट ने कहा कि हम एमसीडी से प्रोजेक्ट पूरा करने के लिए कहते हैं। वे कहते हैं कि 5 करोड़ से ज्यादा की कोई भी परियोजना स्थायी समिति से मंजूरी लेगी। लेकिन कोई समिति नहीं है। अदालत ने कहा कि आप इस शहर को कैसे चलाने की योजना बना रहे हैं, जब आप 5 करोड़ से अधिक की राशि मंजूर नहीं कर सकते? हाईकोर्ट ने सुनवाई के दौरान ये भी कहा कि  दिल्ली पुलिस कहां है? कौन जांच कर रहा है? वहां इतना पानी कैसे जमा हो गया?

यह भी पढ़ें: दिल्ली कोचिंग हादसे के बाद सामने आए विकास दिव्यकीर्ति, जानिए क्या कहा?

Published By : Dalchand Kumar

पब्लिश्ड 31 July 2024 at 13:56 IST