अपडेटेड 25 January 2025 at 12:05 IST
मुंबई हमले के गुनहगार तहव्वुर राणा का आखिरी पैंतरा भी फेल; US की सुप्रीम कोर्ट ने सुनाया फैसला, भारत प्रत्यर्पण को दी मंजूरी
अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने मुंबई हमले के दोषी तहव्वुर राणा के भारत प्रत्यर्पण को मंजूरी दे दी है और उसकी सजा के खिलाफ समीक्षा याचिका को खारिज कर दिया है।
- अंतरराष्ट्रीय न्यूज
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Tahawwur Rana: 26/11 मुंबई आतंकी हमले के गुनहगार तहव्वुर राणा को भारत लाने का रास्ता साफ हो गया है। भारत पाकिस्तानी मूल के कनाडाई नागरिक राणा के प्रत्यर्पण की मांग कर रहा था, क्योंकि वो 2008 के मुंबई आतंकवादी हमलों के मामले में वांछित था। अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने मुंबई हमले के दोषी तहव्वुर राणा के भारत प्रत्यर्पण को मंजूरी दे दी है और उसकी सजा के खिलाफ समीक्षा याचिका को खारिज कर दिया है। फिलहाल ये भारत के लिए एक बड़ी कूटनीतिक जीत है। पाकिस्तानी मूल के कनाडाई कारोबारी तहव्वुर राणा को 2008 में हुए मुंबई हमलों में उसकी भूमिका के लिए दोषी ठहराया गया था।
तहव्वुर राणा के लिए भारत प्रत्यर्पित न किए जाने का ये आखिरी कानूनी मौका था, क्योंकि वो सैन फ्रांसिस्को में उत्तरी सर्किट के लिए अमेरिकी अपील कोर्ट समेत कई संघीय अदालतों में कानूनी लड़ाई हार गया था। 21 जनवरी को अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने भारत में प्रत्यर्पण को रोकने के लिए तहव्वुर राणा की रिट ऑफ सर्टिओरीरी की अर्जी को खारिज कर दिया। ये रिट नवंबर 2024 में निचली अदालत के पहले के आदेश के खिलाफ दायर की गई थी, जिसने भारत में उसके प्रत्यर्पण के पक्ष में फैसला सुनाया था। सर्टिओरारी की रिट एक कानूनी दस्तावेज है जो उच्च न्यायालय को निचली अदालत के मामले की समीक्षा करने की अनुमति देता है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अब उसे भारत को प्रत्यर्पित किया जा सकता है।
तहव्वुर राणा भारत आने से बचने के लिए कोर्ट-कोर्ट घूमा
तहव्वुर राणा पर पहले इलिनोइस के उत्तरी जिले के लिए यूनाइटेड स्टेट्स डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में मुकदमा चलाया गया था। उस पर तीन मामलों में आरोप लगाए गए। जूरी ने दो मामलों में उसे दोषी ठहराया। 7 जनवरी 2013 को अदालत ने राणा को 168 महीने जेल की सजा सुनाई। 10 जून 2020 को कैलिफोर्निया के सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट के मजिस्ट्रेट जज ने भारत प्रत्यर्पण करने के उद्देश्य से प्रोविजन अरेस्ट वारंट पर हस्ताक्षर किए।
तहव्वुर राणा ने प्रत्यर्पण का विरोध किया, लेकिन 16 मई 2023 को प्रत्यर्पण मजिस्ट्रेट जज ने राणा की दलीलों को खारिज कर दिया और प्रमाणित किया कि वो प्रत्यर्पण योग्य है। बाद में राणा ने कैलिफोर्निया के सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट के लिए यूनाइटेड स्टेट्स डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में याचिका दायर की। कोर्ट ने राणा की हर दलील को खारिज कर दिया। 13 नवंबर 2024 को राणा ने सुप्रीम कोर्ट में उस फैसले के खिलाफ याचिका दायर की, जिसे अदालत ने अस्वीकार कर दिया था। भारत प्रत्यर्पण से बचने का राणा के पास आखिरी मौका था, जो अदालत के फैसले के बाद बेकार हो चुका है।
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Published By : Dalchand Kumar
पब्लिश्ड 25 January 2025 at 11:43 IST