अपडेटेड 8 June 2025 at 16:52 IST
कनाडा के लोगों के लिए ही खतरा बने खालिस्तानी, कनाडाई पत्रकार पर किया हमला, घेरकर छीना फोन और फिर...
कनाडा के लोगों के लिए ही खालिस्तानी अब नासूर वबनते जा रहे हैं। ताजा मामले में कनाडाई पत्रकार पर खालिस्तानियों द्वारा हमला करने की घटना सामने आई है।
- अंतरराष्ट्रीय न्यूज
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कनाडा में एक बार फिर से खालिस्तानियों का आतंक देखने को मिला है। कनाडा में रह रहे खालिस्तानी आतंकी अब कनाडाई लोगों के लिए ही नासूर बनते जा रहे हैं। हाल ही में एक जानकारी सामने आई है कि खालिस्तानी आतंकियों ने कनाडा के एक पत्रकार पर हमला किया। कनाडाई पत्रकार ने हमले का वीडियो जारी कर, सोशल मीडिया पर कई अन्य पोस्ट भी किया।
कनाडाई इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट मोचा बेजिरगन ने आरोप लगाया कि वैंकूवर में उनकी रैली की रिपोर्टिंग करते समय खालिस्तान समर्थकों के एक समूह ने हमला किया और धमकाया। इतना ही नहीं, उन्होंने पोन भी छीन लिया। पत्रकार ने सोशल मीडिया पर घटना की जानकारी देते हुए कहा कि कनाडा में खालिस्तानियों की रैली ने गंभीर सुरक्षा चिंताओं को जन्म दे दिया है। उन्होंने ये भी आरोप लगाया कि खालिस्तानी आतंकियों की वजह से भारत और कनाडा के बीच की दोस्ती में भी तनाव आए।
कनाडाई पत्रकार ने सुनाई आपबीती
कनाडाई पत्रकार ने न्यूज एजेंसी ANI को बताया, “यह सिर्फ दो घंटे पहले हुआ और मैं अभी भी कांप रहा हूं। उन्होंने गुंडों की तरह मेरे साथ व्यवहार किया- मेरे ऊपर भीड़ लगा दी, मेरा फोन छीन लिया, मुझे रिकॉर्डिंग करने से रोकने की कोशिश की।” खालिस्तान समर्थकों ने वैंकूवर में एक रैली निकाली। इसी रैली को कवर कवर करने के लिए बेजिरगन वहां पहुंचे थे। तभी उनलोगों ने कनाडाई पत्रकार के ऊपर हमला कर दिया। बेजिरगन ने आरोप लगाया कि उन्हें उनकी संपादकीय स्वतंत्रता और खालिस्तान से संबंधित विरोध प्रदर्शनों के पिछले कवरेज के लिए निशाना बनाया गया।
भीड़ इकट्ठा करने के लिए गुरुद्वारे से जुटाते हैं लोग: बेजिरगन
इस मामले को लेकर उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, "मुझे खालिस्तानियों के एक समूह ने घेर लिया है, उन्होंने मेरे हाथ से मेरा फोन छीन लिया और मुझे धमकाया। मैं थोड़ा डर गया, लेकिन विचलित नहीं हुआ।" खालिस्तानी उग्रवाद को लेकर उन्होंने कहा कि यह सिख फॉर जस्टिस (एसएफजे) द्वारा संचालित एक आंदोलन है। वे ही इसे संगठित कर रहे हैं और ये वही लोग होते हैं जो इन विरोध प्रदर्शनों में भाग लेते हैं, चाहे वह ओंटारियो, ब्रिटिश कोलंबिया, अमेरिका, ब्रिटेन, न्यूजीलैंड में हो। वे थोड़ी भीड़ जुटाने के लिए स्थानीय गुरुद्वारों से लोगों को इकट्ठा करते हैं।
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सिख राजनीतिक संगठन खालिस्तानियों को देते हैं संरक्षण!
विश्व सिख संगठन जैसे बड़े राजनीतिक संगठन इस आंदोलन को राजनीतिक संरक्षण प्रदान करते हैं। कनाडाई पत्रकार ने कहा, "उनके अधिकारियों में वर्तमान और पूर्व सांसद और मंत्री शामिल हैं, जिन्होंने कनाडाई संस्थानों में अपना प्रभाव फैलाया है।" बेज़िरगन ने बताया कि रूढ़िवादी नेता पियरे पोलीवरे, एनडीपी और कुछ लिबरल सांसदों ने हाल ही में खालिस्तानियों द्वारा आयोजित एक नगर कीर्तन में भाग लिया। उन्होंने संतोख सिंह केल्हा के साथ मंच साझा किया, जो एक दोषी सिख कनाडाई है, और इसने एक विमान पर बम विस्फोट करने की साजिश रची थी।"
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Published By : Kanak Kumari Jha
पब्लिश्ड 8 June 2025 at 16:52 IST