अपडेटेड 29 November 2024 at 13:08 IST
Champions Trophy: चैंपियंस ट्रॉफी को लेकर आईसीसी ने आज यानी 29 नवंबर को सारे क्रिकेट बोर्ड के साथ एक मीटिंग रखी है। जिसमें इस टूर्नामेंट को लेकर हो रहे विवाद का हल निकाला जाएगा। पाकिस्तानी मीडिया के अनुसार पीसीबी ने ये बात साफ कर दी है कि वे हाइब्रिड मॉडल के तहत चैंपियंस ट्रॉफी कराने के मूड में नहीं है।
बीसीसीआई ने चैंपियंस ट्रॉफी के लिए आईसीसी से अपना पक्ष साफ करते हुए कहा था कि वे इस टूर्नामेंट के लिए पाकिस्तान का दौरान नहीं करेंगे। आईसीसी ने बीसीसीआई के इस फैसले के बारे में पीसीबी को सूचित करते हुए हाइब्रिड मॉडल की बात कही थी। जिसे पाकिस्तान ने अस्वीकार कर दिया। लेकिन पाकिस्तान ये भूल रहा है कि जल में रहकर मगरमच्छ से बैर नहीं किया जाता यानी दिसंबर से आईसीसी की कमान जय शाह के हाथ में आने वाली है।
चैंपियंस ट्रॉफी पाकिस्तान में होगा या हाइब्रिड मॉडल के आधार पर, इस बात का फैसला आज मीटिंग में हो जाएगा। इस दौरान 1 दिसंबर से जय शाह आईसीसी का पदभार संभालने वाले हैं। इस साल अगस्त में जय शाह को सर्वसम्मति से अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद का नया चेयरमैन नियुक्त किया गया था।
29 नवंबर को मीटिंग में कई विषयों पर चर्चा तो होगी, लेकिन यह अभी यह स्पष्ट नहीं है कि टूर्नामेंट के संबंध में फैसला तुरंत आएगा या कुछ दिन बाद. ऐसे में फैसला आने में देरी होती है तो 1 दिसंबर तक जय शाह आईसीसी का चेयरमैन पद संभाल चुके होंगे। ऐसे में अगर पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने ज्यादा अकड़ दिखाई तो सारी ताकत जय शाह के हाथ में होगी। इस बात को पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड को ध्यान में रखना होगा।
आईसीसी चेयरमैन के पद पर जो भी बैठता है उसे अन्य सभी देशों को समानता की दृष्टि से देखना होता है, लेकिन पाकिस्तान में आतंकी हमलों का पुराना इतिहास रहा है। ऐसे में संभवतः चेयरमैन की कुर्सी पर बैठने के बाद जय शाह हाइब्रिड मॉडल पर मुहर लगाकर भारत के पक्ष में फैसला कर सकते हैं।
साल 2009 में उस दिन को भला कौन भूल सकता है जब पाकिस्तान दौरे पर गई श्रीलंका की टीम पर आतंकी हमला हुआ था और इस दौरान खिलाड़ी घायल हुए थे। तो अगर बीसीसीआई सुरक्षा की दृष्टि से देखते हुए टीम इंडिया के पाकिस्तान दौरे को मना कर रही है तो ये बोर्ड का बिल्कुल सही फैसला है।
पब्लिश्ड 29 November 2024 at 13:08 IST