अपडेटेड 8 November 2024 at 16:03 IST
Panchak: कल से शुरू हो रहा है सबसे कष्टकारी पंचक, इन कामों को करने से मृत्यु के समान मिलता है दर्द!
Panchak November 2024: ज्योतिष शास्त्र में पंचक को बहुत ही अशुभ माना गया है, इसमें कुछ कामों को करना वर्जित माना गया है, तो चलिए जानते हैं क्या नहीं करना चाहिए?
- धर्म और अध्यात्म
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Panchak November 2024: ज्योतिष शास्त्र (Astrology) में कई चीजों का जिक्र किया गया है, जो व्यक्ति लिए अशुभ दोनों ही होते हैं। इन्हीं में एक पचंक (Panchak) भी है, जो हर महीने 4 या 5 दिनों के लिए लगता है और यह बहुत ही अशुभ माना जाता है। साथ ही इस दौरान कुछ कामों को करना वजिर्त भी माना गया है, क्योंकि उसका बुरा असर व्यक्ति के जीवन पर पड़ता है, वहीं अगर यह शनिवार (Saturday) के दिन शुरू हो रहा है, तो यह और भी खतरनाक होता है। इसलिए इसे मृत्यु पंचक (Death Panchak) भी कहा जाता है। तो चलिए जानते हैं कि यह कब से कब तक रहेगा और इस दौरान किन कामों को भूलकर भी नहीं करना चाहिए?
ज्योतिष शास्त्र (Astrology) के मुताबिक जब चंद्रमा धनिष्ठा, शतभिषा, पूर्वा भाद्रपद, उत्तरा भाद्रपद और रेवती नक्षत्र में प्रवेश करता है, तो यह पंचक का निर्माण करता है। वहीं सप्ताह के जिस दिन पंचक आरंभ होता है, उसकी के हिसाब से इसके अच्छे या बुरे असर की जानकारी मिलती है। ऐसे में नवंबर माह में पंचक शनिवार (Kab Se Shuru Ho Raha Hai Panchak) से शुरू हो रहा है, जो मृत्यु पंचक के नाम से जाना जाता है। ऐसे में इस दौरान कुछ कामों को करने से बचें।
कब से कब तक है पंचक? (When is Panchak till when?)
हिंदू पंचांग के मुताबिक नवंबर (November Panchak 2024) माह में पंचक की शुरुआत शनिवार 9 नवंबर, 2024 की रात 11 बजकर 27 मिनट से होगी, जो गुरुवार 14 नवंबर की सुबह 3 बजकर 11 मिनट पर समाप्त हो जाएगी। ऐसे में इस दौरान कुछ कामों को करने से बचना चाहिए, आइए उनके बारे में जानते हैं।
पंचक में क्या नहीं करना चाहिए? (What not be done in Panchak?)
- पंचक खासकर मृत्यु पंचक के दौरान चारपाई, बेड, पलंग जैसी चीजों को बनाने की मनाही होती है। मान्यता है कि यह अशुभ फल देता है।
- मृत्यु पंचक के दौरान छत डालने की भी मनाही होती है। कहते हैं कि पंचक के दौरान डाली गई छत के नीचे रहने वाले व्यक्ति के सभी सदस्यों के बीच कभी भी सुख-शांति नहीं रहती है।
- पंचक के दिनों में दक्षिण दिशा में यात्रा करने की मनाही होती है। हालांकि अगर यात्रा बेहद जरूरी हो, तो हनुमान जी की पूजा करने के साथ उन्हें फल का भोग लगाकर तब घर से निकलें।
- मान्यता है कि पंचक काल में अगर किसी की मृत्यु हो जाए तो, उसका असर बहुत ही खतरनाक होता है। उस व्यक्ति के बाद रिश्तेदारों, घर-परिवार या उसके संगे-संबंधी 5 अन्य लोगों की मौत निश्चित होती है। ऐसे में अगर पचंक दोष से बचना चाहते हैं, तो शव के साथ 5 कुश या आटे के पुतले बनाकर अर्थी पर रखें और शव के साथ-साथ इनका भी विधिवत अंतिम संस्कार करें।
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Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सिर्फ अलग-अलग सूचना और मान्यताओं पर आधारित है। REPUBLIC BHARAT इस आर्टिकल में दी गई किसी भी जानकारी की सत्यता और प्रमाणिकता का दावा नहीं करता है।
Published By : Sadhna Mishra
पब्लिश्ड 8 November 2024 at 16:03 IST