अपडेटेड 20 October 2024 at 20:04 IST

Bahraich: बुलडोजर एक्शन पर इलाहाबाद हाईकोर्ट की रोक, मुख्य आरोपी सहित 23 को PWD ने दिया था नोटिस

बहराइच हिंसा के आरोपियों के घरों पर बुलडोजर एक्शन पर फिलहाल रोक लगा दी गई है। इलाहाबाद HC ने यह रोक लगाई है।

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 Allahabad High Court stays bulldozer action in Bahraich
बहराइच में बुलडोजर एक्शन पर रोक | Image: PTI

उत्तर प्रदेश की बहराइच हिंसा के आरोपियों के घरों पर बुलडोजर एक्शन पर फिलहाल रोक लगा दी गई है। इलाहाबाद HC की लखनऊ बेंच ने बहराइच में बुलडोजर कार्रवाई पर 15 दिनों तक रोक लगा दी है। अब इस मामले की अगली सुनवाई हाईकोर्ट में बुधवार को होगी। 

बहराइच हिंसा के मुख्य आरोपी अब्दुल हमीत सहित 23 लोगों के घरों और दुकानों को PWD नोटिस दिया था। शनिवार को विभाग की ओर से नोटिस लगा दिया गया था और अवैध निर्माण को हटाने को कहा गया था। नोटिस सरकारी रास्ते पर अतिक्रमण करने को लेकर लगाई गई थी। 3 तीन के अदंर ग्रामीण सड़क के बीच से 60 फीट की दूरी पर बनाए गए निर्माण को हटाने को कहा गया था। इस पर बुलडोजर चलाने की तैयारी चल रही थी।

मुख्य आरोपी सहित 23 को PWD ने दिया था नोटिस

बहराइच के महराजगंज इलाके में हुई हिंसा के बाद आरोपियों पर सख्त एक्शन के रूप में उनके 23 अवैध निर्माणों की पहचान की गई थी। अलग-अलग 23 जगहों पर आरोपियों ने दुकान और मकान बना रखे हैं, जिन्हें बुलडोजर से तोड़ने की तैयारी की जा रही थी। बुलडोजर एक्शन के डर से इन दुकानों और मकानों में रहने वाले लोग अपना सामान भी समेटने लगे खे। कई लोगों ने अपनी दुकान और मकान खाली कर दिए हैं।

बुलडोजर एक्शन पर कोर्ट ने लगाई रोक

लोक निर्माण विभाग ने बहराइच हिंसा के आरोपी अब्दुल हमीद के अवैध निर्माण को लेकर उसके घर को ध्वस्त करने का नोटिस जारी किया था। अन्य जगहों पर नोटिस चस्पा किए गए थे। वहीं अब इस मामले में एक नया मोड़ सामने आया है। फिलहाल बुलडोजर एक्शन पर कोर्ट ने रोक लगा दी है। इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने फिलहाल 15 दिनों तक बुलडोजर कार्रवाई पर रोक लगा दिया है।

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महराजगंज में 13 अक्टूबर को क्या हुआ था?

बता दें कि बहराइच में महसी इलाके के महराजगंज में 13 अक्टूबर को हिंसा भड़की थी। दुर्गा प्रतिमा विसर्जन जुलूस के दौरान दो समुदायों के बीच झड़प हुई, जिसमें रामगोपाल मिश्रा नाम के एक युवक की हत्या कर दी गई। कई लोग घायल भी हुए थे। क्योंकि जुलूस पर अराजक तत्वों ने पथराव किया था और गोलियां चलाई थीं। रामगोपाल मिश्रा की मौत गोली लगने से ही हुई थी। मामले में अब तक कई लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। दो मुख्य आरोपियों सरफराज और तालिब को पुलिस ने एनकाउंटर के बाद गिरफ्तार किया था, जो कथित तौर पर नेपाल भागने की कोशिश कर रहे थे। 

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Published By : Rupam Kumari

पब्लिश्ड 20 October 2024 at 19:35 IST