अपडेटेड 1 July 2025 at 17:37 IST
रेलवे ने कुछ दिनों पहले एक बड़ा फैसला लेते हुए वेटिंग टिकट (Waiting Ticket) की सीमा को कुल क्षमता के 25 फीसदी तक सीमित करने का फैसला किया था। यह फैसले हर श्रेणी के लिए था। मगर यात्रियों द्वारा इस फैसले का विरोध और फैसले के पर समीक्षा के बाद अब इसमें बदलाव किया गया है।
इस फैसले के विरोध के बाद 28 जून को रेलवे बोर्ड ने एक नया आदेश जारी किया है और वेटिंग टिकट की सीमा को फिर से बढ़ा दिया। नए आदेश के अनुसार अब सभी AC श्रेणियों के लिए यात्रियों की वेटिंग लिस्ट की सीमा 25% से बढ़ाकर 60% और Non AC के लिए 30% कर दी गई है। मतलब अब AC कोचों में कुल सीटों की 60 फीसदी तक वेटिंग टिकट जारी किए जा सकेंगे। वहीं नॉन-AC कोचों में यह सीमा 30 फीसदी तक होगी।
इस संबंध में रेल मंत्रालय द्वारा एक परिपत्र जारी किया गया है, जिसमें कहा गया है, "इस फैसले की समीक्षा की गई है और 17.04.2025 के पूर्व निर्देश के स्थान पर यह निर्णय लिया गया है कि वातानुकूलित और गैर वातानुकूलित श्रेणियों के लिए प्रारंभिक और सड़क किनारे के स्टेशनों पर उपलब्ध प्रत्येक श्रेणी की पुनर्परिभाषित क्षमता के अनुसार अधिकतम वर्तमान प्रतीक्षा सूची सीमा को संशोधित कर क्रमश: 60% और 30% किया जाएगा।"
रेलवे ने बताया है कि यह नया नियम न केवल उन स्टेशनों पर लागू होगा जहां से ट्रेन की शुरुआत होती है, बल्कि उन स्टेशनों पर भी मान्य रहेगा जहां ट्रेन यात्रा के बीच में रुकती है और यात्री चढ़ते हैं। यानी पूरे रूट पर यह नियम प्रभावी रहेगा।
रेलवे के पुराने फैसले को लेकर यात्रियों में काफी असंतोष देखने को मिला था। सीमित वेटिंग टिकट की वजह से लाखों यात्रियों को टिकट बुक कराना मुश्किल हो गया था, खासकर त्योहारों और छुट्टियों के दौरान। इसे देखते हुए रेलवे ने पुराने आदेश की समीक्षा कर यह संशोधित नीति लागू की है।
पब्लिश्ड 1 July 2025 at 17:37 IST