अपडेटेड 7 November 2025 at 10:15 IST

1993 मुंबई सीरियल ब्लास्ट: पाकिस्तान में दुबके टायगर मेमन की 17 संपत्तियों होगी नीलाम, आज तक नहीं हो पाई गिरफ्तारी

1993 मुंबई सीरियल बम धमाकों के मुख्य साजिशकर्ता टाइगर मेमन की संपत्तियां नीलाम होने से पीड़ित परिवारों को न्याय का एहसास होगा। 32 साल बाद भी इस केस की जांच और कार्रवाई जारी है, लेकिन टाइगर अभी तक फरार है।

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Mumbai serial blasts accused Tiger Memon property to be auctioned
1993 मुंबई सीरियल ब्लास्ट: पाकिस्तान में दुबके टायगर मेमन की 17 संपत्तियों होगी नीलाम | Image: ANI

Mumbai serial blasts : 1993 के मुंबई सीरियल बम धमाकों के मुख्य साजिशकर्ता टाइगर मेमन और उसके परिवार से जुड़ी 17 संपत्तियों को जल्द ही नीलामी के लिए तैयार किया जाएगा। यह कदम स्मगलर्स एंड फॉरेन एक्सचेंज मैनिपुलेटर्स (फॉरफेचर ऑफ प्रॉपर्टी) एक्ट अथॉरिटी (SAFEMA) द्वारा उठाया जा रहा है, जो आतंकवादी गतिविधियों से जुड़े लोगों की अवैध संपत्तियों को जब्त करने का प्रावधान करता है। विशेष टाडा अदालत के आदेश के आधार पर, इन संपत्तियों का मूल्यांकन और नीलामी प्रक्रिया दिसंबर या जनवरी तक शुरू हो सकती है।

12 मार्च,1993 को मुंबई शहर को दहला देने वाले इन बम धमाकों ने देश को गहरे सदमे में डाल दिया था। शहर के 12 प्रमुख स्थानों पर हुए विस्फोटों में 257 निर्दोष लोगों की जान चली गई, जबकि सैकड़ों अन्य घायल हुए। ये धमाके देश की आर्थिक राजधानी को टागरेट करने वाली एक सुनियोजित साजिश का हिस्सा थे, जिसमें वाहनों में RDX जैसे विस्फोटकों का इस्तेमाल किया गया। जांच एजेंसियों के अनुसार, यह साजिश दुबई और पाकिस्तान से रची गई थी और टाइगर मेमन इसका प्रमुख सूत्रधार बनाया गया।

आज तक फरार है टाइगर

मूल रूप से मुंबई का रहने वाला टाइगर मेमन मुंबई सीरियल बम धमाकों के बाद से फरार है। खुफिया सूत्रों का मानना है कि वह पाकिस्तान में छिपा हुआ है। उसके भाई याकूब मेमन को इस साजिश में सक्रिय भूमिका निभाने के आरोप में 2015 में फांसी की सजा सुनाई गई थी। परिवार के अन्य सदस्यों को भी टाडा अदालत ने अलग-अलग सजाएं दीं, लेकिन टाइगर की गिरफ्तारी आज तक नहीं हो सकी।

संपत्तियों का विवरण और जब्ती प्रक्रिया

SAFEMA को विशेष अदालत से टाइगर मेमन और उसके परिवार की कुल 17 संपत्तियों का ब्योरा मिला है। इनमें से 8 संपत्तियों को पहले ही अथॉरिटी ने अपने कब्जे में ले लिया है। इनमें मुंबई के माहिम इलाके में स्थित अल हुसेनी बिल्डिंग के तीन फ्लैट प्रमुख हैं। यह वही इमारत है जहां टाइगर मेमन, उसके पांच भाई और मां रहते थे। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इसी जगह पर धमाकों की साजिश रची गई थी और यहां वाहनों में विस्फोटक लादने का काम भी किया गया।

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केंद्र सरकार ने इन जब्त संपत्तियों का मूल्यांकन शुरू कर दिया है, ताकि नीलामी से प्राप्त राशि को उचित रूप से उपयोग किया जा सके। अप्रैल 2025 में बॉम्बे हाईकोर्ट ने भी 14 संपत्तियों को केंद्र सरकार को सौंपने का आदेश दिया था, जो इस प्रक्रिया को मजबूत बनाता है।

SAFEMA एक्ट क्या है?

SAFEMA एक्ट 1976 में लागू हुआ था, जो स्मगलिंग और विदेशी मुद्रा उल्लंघन से जुड़े अपराधियों की संपत्तियों को जब्त करने का अधिकार देता है। यह एक्ट आतंकवादी फंडिंग को रोकने के लिए उपयोगी साबित हो रहा है। हाल ही में सितंबर 2025 में हाईकोर्ट ने टाइगर के रिश्तेदारों की याचिका खारिज कर दो फ्लैटों की जब्ती को मंजूरी दी, जिससे प्रक्रिया और तेज हुई।

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Published By : Sagar Singh

पब्लिश्ड 7 November 2025 at 10:15 IST