Published 18:01 IST, August 27th 2024
कश्मीरी अलगाववादी नेता शब्बीर शाह आतंकी फंडिंग मामले में रिहा, लेकिन अभी नहीं होगी रिहाई
दिल्ली की पाटियाला हाउस कोर्ट ने अलगाववादी नेता शब्बीर शाह को टेरर फंडिंग से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में रिहा करने का आदेश दिया है।
दिल्ली की पाटियाला हाउस कोर्ट से जम्मू-कश्मीर अलगाववादी नेता शब्बीर शाह को बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने शब्बीर शाह को टेरर फंडिंग से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में रिहा करने का आदेश दिया है। लेकिन NIA मामले में उसे अभी भी जेल में ही रहना होगा। पटियाला हाउस कोर्ट ने कहा कि PMLA की धारा 3 के तहत अपराध के लिए अधिकतम सजा 7 साल है और शब्बीर शाह 26 जुलाई, 2017 से लगातार हिरासत में हैं। रिहाई के आदेश के बाद भी शब्बीर अहमद शाह जेल से बाहर नहीं आ पायेगा। क्योंकि शब्बीर शाह फिलहाल NIA द्वारा दर्ज एक मामले में न्यायिक हिरासत में है।
आतंकी फंडिंग से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में इससे पहले शब्बीर अहमद शाह को जून में जमानत मिल गई थी। जमानत देते हुए भी कोर्ट ने कहा था कि इस मामले में अधिकतम सजा 7 साल है और शब्बीर शाह 6 साल, 10 महीने हिरासत में काट चुके हैं। कोर्ट ने तब रिहाई पर कहा था कि इस मामले में भले ही जमानत दे दी जाए, लेकिन अन्य मामले में जेल से रिहा किए जाने की संभावना नहीं है।
जेल से नहीं आ पाएगा बाहर
अलगाववादी नेता शब्बीर शाह को ED ने जुलाई, 2017 में श्रीनगर से गिरफ्तार किया गया था और फिर दिल्ली लाकर पटियाला हाउस कोर्ट में पेश किया गया था। टेरर फंडिंग से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में रिहा होने के बावजूद भी शब्बीर शाह फिलहाल जेल से बाहर नहीं आ पाएगा। उसके खिलाफ NIA द्वारा दो अलग-अलग मामलों की जांच चल रही है।
शब्बीर शाह के ED की कस्टडी में जाने के बाद NIA ने विस्तृत जांच की थी। NIA ने भारत सरकार के खिलाफ युद्ध छेड़ने की साजिश रचने के लिए धन जुटाने की साजिश में उसे आरोपी पाया था। शब्बीर शाह समेत 12 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया था।
Updated 18:39 IST, August 27th 2024