अपडेटेड 2 August 2024 at 22:03 IST
हिमाचल: बादल फटने से अचानक आई बाढ़, प्रभावितों ने कहा- मौत के डर से जगे पूरी रात
वहीं, एक अन्य ग्रामीण ने बताया कि लोगों की चीख-पुकार सुनकर जब वह अपने घर से बाहर निकला तो पता चला कि आस-पास के घर भूस्खलन एवं अचानक आई बाढ़ में बह गए हैं।
- भारत
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हिमाचल प्रदेश में मंडी जिले के राजबन गांव के निवासियों ने शुक्रवार को बताया कि बादल फटने के कारण अचानक आई बाढ़ से अपनी जान बचाने के लिए गांव के सभी लोगों ने नजदीक की एक पहाड़ी पर शरण ली। हालांकि, खतरे को देखते हुए उनमें से कोई भी पूरी रात सो नहीं पाया। दो दिन पहले बादल फटने के कारण आई बाढ़ में गांव के तीन लोगों की मौत हो गई और सात अन्य लापता हो गए। अचानक आई बाढ़ में बुधवार रात पधर उपखंड अंतर्गत तेरांग के पास राजबन गांव में दो घर बह गए और एक अन्य को क्षतिग्रस्त हो गया।
अधिकारियों ने बताया कि...
अधिकारियों ने बताया कि राहत अभियान के दौरान मलबे से चंडी देवी (75), चैत्री देवी (90) और बैजरू राम (80) के शव बरामद हुए और एक अन्य व्यक्ति को बृहस्पतिवार को गंभीर हालत में पास के अस्पताल में भर्ती कराया गया। हादसे में अपनों को खोने के बाद रोती-बिलखती एक महिला ने पीटीआई की वीडियो सेवा को बताया कि इस घटना में उसके सास, ससुर समेत कुल आठ लोग लापता हो गए। उसने कहा कि उसकी सास और ससुर के शव बरामद कर लिए गए हैं लेकिन बाकी लोग अभी लापता हैं।
वहीं, एक अन्य ग्रामीण ने बताया कि लोगों की चीख-पुकार सुनकर जब वह अपने घर से बाहर निकला तो पता चला कि आस-पास के घर भूस्खलन एवं अचानक आई बाढ़ में बह गए हैं। उसने कहा, ‘‘मौत के खौफ ने हमें पूरी रात जगाए रखा। हम सुरक्षित रहने के लिए पहाड़ पर चढ़ गए थे।’’ अधिकारियों ने बृहस्पतिवार को बताया था कि हिमाचल प्रदेश में बादल फटने की कई घटनाओं में पांच लोगों की मौत हो गई और 45 से अधिक लोग लापता हैं।
बादल फटने और भारी बारिश के कारण राज्य में अनेक घर, पुल और सड़कें बह गईं। राज्य आपातकालीन अभियान केंद्र के अनुसार, बुधवार रात कुल्लू के निरमंड, सैंज और मलाना, मंडी के पधर और शिमला जिले के रामपुर में बादल फटने की घटनाएं हुईं। शिमला जिले के रामपुर उपमंडल के सैंज इलाके में क्षतिग्रस्त घर, बिलखते लोग और उम्मीदें टूटती दिखीं। यहां आपदा के बाद 30 से अधिक लोग लापता हैं।
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शिमला के पुलिस अधीक्षक संजीव कुमार गांधी ने पीटीआई-भाषा को बताया कि बुधवार रात श्रीखंड महादेव के पास बादल फटने से सरपारा, गानवी और कुर्बन नालों में अचानक बाढ़ आ गई, जिसके परिणामस्वरूप शिमला जिले के रामपुर में समेज खड्ड में पानी का स्तर बढ़ गया। उन्होंने कहा कि इसके चलते दो लोगों की डूबने से मौत हो गई और लगभग 30 लोगों के लापता होने की सूचना है। सरपारा पंचायत के प्रधान मोहन लाल कपटिया ने दावा किया कि समेज क्षेत्र में अचानक आई बाढ़ में लगभग 29-30 घर, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और स्कूल बह गए हैं।
कुल्लू के मलाणा गांव की निवासी मैनी देवी (32) ने बताया कि तड़के करीब तीन बजे मलाणा बांध के निचले हिस्से से जोरदार आवाज आई और सुबह पता चला कि बांध टूट गया है। देवी ने बताया कि मलाणा गांव का मुख्य सड़क से संपर्क टूट गया है, जिससे लोग जरूरी सामान खरीदने के लिए जमाखोरी कर रहे हैं और गांव की दुकानें खाली हो गई हैं। राज्य के आपातकालीन अभियान केंद्र के अनुसार, 27 जून को मानसून की शुरुआत के बाद से बारिश से जुड़ी घटनाओं में अब तक 73 लोगों की मौत हो चुकी है और 649 करोड़ रुपये के राजस्व का नुकसान पहुंचा है।
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(Note: इस भाषा कॉपी में हेडलाइन के अलावा कोई बदलाव नहीं किया गया है)
Published By : Garima Garg
पब्लिश्ड 2 August 2024 at 22:03 IST