अपडेटेड 11 July 2025 at 22:07 IST

एक पेड़ मां के नाम...पीएम मोदी की पहल को आगे बढ़ाएंगे 'मेडिसिन मैन', यूपी के इन शहरों में 1 लाख औषधीय पौधे लगाने का संकल्‍प

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भावनात्मक और पर्यावरणीय पहल 'एक पेड़ मां के नाम' को आगे बढ़ाते हुए राजेश सिंह दयाल फाउंडेशन द्वारा एक भव्य वृक्षारोपण अभियान की शुरुआत की गई है।

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ek ped maa ke naam campaign
एक पेड़ मां के नाम...पीएम मोदी की पहल को आगे बढ़ाएंगे 'मेडिसिन मैन' | Image: X

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भावनात्मक और पर्यावरणीय पहल 'एक पेड़ मां के नाम' को आगे बढ़ाते हुए राजेश सिंह दयाल फाउंडेशन द्वारा एक भव्य वृक्षारोपण अभियान की शुरुआत की गई है। अभियान की शुरुआत मइल, देवरिया से की गई, जिसमें बलिया और देवरिया की 5 विधानसभाओं में 1 लाख औषधीय पौधे लगाने का संकल्प लिया गया। इस अभियान का नेतृत्व कर रहे हैं राजेश सिंह दयाल, जिन्हें 'यूपी का मेडिसिन मैन'कहा जाता है। उन्होंने यह भी प्रण लिया कि वो सिर्फ पौधे नहीं लगाएंगे,बल्कि उन्हें गोद लेने, देखरेख और संरक्षण की जिम्मेदारी भी ली जाएगी।

अभियान की शुरुआत करने का ऐलान करते हुए राजेश सिह दयाल ने कहा, 'मैं पिछले 30 वर्षों से भारतीय जनता पार्टी का सक्रिय सदस्य रहा हूं, और हमारे प्रधानमंत्री द्वारा शुरू की गई हर जनकल्याणकारी योजना को सफल बनाना मेरा नैतिक कर्तव्य है। यह वृक्षारोपण अभियान सिर्फ पर्यावरणीय कदम नहीं है, बल्कि यह हमारी माताओं को समर्पित एक भावनात्मक पहल है।” उन्होंने बताया कि नीम, आंवला और सहजन (मोरिंगा) जैसे औषधीय पौधों का चयन जनता के स्वास्थ्य और प्राकृतिक चिकित्सा को ध्यान में रखते हुए किया गया है। दयाल ने यह भी साझा किया कि उन्होंने अब तक देवरिया और बलिया में 2 लाख से अधिक लोगों को निःशुल्क चिकित्सा और दवाएं प्रदान की हैं, और यह वृक्षारोपण उसी सेवा भावना का विस्तार है।

नि:शुल्‍क चिकित्सा शिविर की फिर होगी शुरूआत

क्या यह पहल आगामी विधानसभा चुनावों को ध्यान में रखते हुए की गई है? इस सवाल का जवाब देते हुए दयाल ने कहा- 'मेरा एकमात्र उद्देश्य समाज सेवा है, और इसमें किसी भी प्रकार की राजनीतिक मंशा नहीं है। मैं सिर्फ लोगों और प्रकृति के लिए कार्य कर रहा हूं।' उन्होंने यह भी घोषणा की कि आने वाले महीनों में निःशुल्क चिकित्सा शिविर पुनः शुरू किए जाएंगे। उन्होंने बताया कि अब यह सेवा उनके स्वयं के अस्पताल के माध्यम से संचालित की जाएगी, क्योंकि  पूर्व में संस्था से संबंधित अस्पताल द्वारा गरीब और असहाय लोगों पर भारी शुल्क लगाए जाने के कारण फाउंडेशन ने उसके साथ अपना सहयोग समाप्त कर दिया है।

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Published By : Ankur Shrivastava

पब्लिश्ड 11 July 2025 at 22:07 IST