अपडेटेड 26 August 2025 at 17:34 IST

ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सेना ने दुनिया को अपनी ताकत दिखा दी, हमारी सुरक्षा पर हमला होता है तो हम जवाब देना जानते हैं- राजनाथ सिंह

Rajnath Singh: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, “ हमारा उद्देश्य शक्ति प्रदर्शन नहीं है। भारत कभी भी Aggressive Expansionism में भरोसा नहीं करता। पूरा विश्व जानता है कि हमने कभी किसी देश पर पहले हमला नहीं किया। हमने कभी किसी को उकसाने की कोशिश नहीं की। लेकिन इसका मतलब ये भी नहीं है, कि हम कभी पीछे हट जाएं। जब हमारी सुरक्षा पर हमला होता है, तो हम उसका सही जवाब देना भी जानते हैं।”

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Rajnath Singh
Rajnath Singh | Image: Indian Navy/Youtube

Rajnath Singh: आज मंगलवार को आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में भारतीय नौसेना में एक साथ दो उन्नत अग्रिम पंक्ति के युद्धपोतों - आईएनएस उदयगिरि और आईएनएस हिमगिरि को शामिल किया गया। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने देश के इन दो घातक युद्धपोतों को भारतीय नौसेना में शामिल किया। इस खास मौके पर राजनाथ सिंह ने कहा, "INS Udaygiri और INS Himgiri की commissioning, आत्मनिर्भर भारत के सपने की साकार होती तस्वीर है। साथ ही यह हमारे vision और commitment का भी प्रमाण है।"

उन्होंने आगे कहा, "INS Udaygiri और INS Himgiri के शामिल होने से, हमारी नेवी की शक्ति, उसकी पहुंच और Resilience में और बढ़ोत्तरी होगी। मुझे पूरा विश्वास है, कि ये दोनों युद्धपोत, राष्ट्र की सुरक्षा के क्षेत्र में, एक मील के पत्थर साबित होंगे।" राजनाथ सिंह ने कहा कि आज विशाखापट्टनम से आईएनएस उदयगिरि और आईएनएस हिमगिरि की, जो यात्रा शुरू हो रही है, वह भारत के गौरव की यात्रा है। यह commissioning हम सबके लिए गर्व का विषय है। इस दौरान उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर और इस दौरान भारतीय नौसेना की भूमिका का भी जिक्र किया।

युद्धपोतों की त्वरित तैनाती भारतीय नौसेना की उस ऑपरेशन के दौरान योजना बहुत प्रभावी रही - रक्षा मंत्री 

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, "पहलगाम के उस कायराना हमले को बीते अभी बहुत दिन नहीं हुए। धर्म पूछकर निर्दोष लोगों को आतंकवादियों ने मार दिया। हमारे मासूम नागरिकों पर किया गया वह हमला हमें उकसाने के लिए किया गया था।  हमने बिना उत्तेजना के, बहुत सोच-समझकर, एक प्रभावी और Precise Response दिया। हमने ऑपरेशन सिंदूर चलाकर, आतंकवादी ठिकानों को जड़ से खत्म करने का संकल्प लिया और उसको अंजाम भी दिया।" उन्होंने आगे कहा, "ऑपरेशन सिंदूर के दौरान हमारे सशस्त्र बलों ने पूरी दुनिया को दिखाया कि हम किस तरह से कार्रवाई कर सकते हैं। युद्धपोतों की त्वरित तैनाती को लेकर भारतीय नौसेना की उस ऑपरेशन के दौरान योजना और क्रियान्वयन भी बहुत प्रभावी रही।"

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, “ हमारा उद्देश्य शक्ति प्रदर्शन नहीं है। भारत कभी भी Aggressive Expansionism में भरोसा नहीं करता। पूरा विश्व जानता है कि हमने कभी किसी देश पर पहले हमला नहीं किया। हमने कभी किसी को उकसाने की कोशिश नहीं की। लेकिन इसका मतलब ये भी नहीं है, कि हम कभी पीछे हट जाएं। जब हमारी सुरक्षा पर हमला होता है, तो हम उसका सही जवाब देना भी जानते हैं।”

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रक्षा मंत्री ने दोनों युद्धपोतों के नामों का बताया अर्थ 

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इन दोनों युद्धपोतों के नामों का अर्थ भी बताया। उन्होंने कहा, "यदि मैं आईएनएस उदयगिरि और  आईएनएस हिमगिरि की बात करुं, तो इन युद्धपोतों के नाम भी अपने आप में inspiration हैं। उदयगिरि, जो सूर्योदय का प्रतीक है, हमें यह याद दिलाता है कि हर नई सुबह नई ऊर्जा, नई चुनौतियां और नए अवसर लेकर आती है। वहीं दूसरी तरफ हिमगिरि, जो हिमालय की अडिग और अचल शक्ति का प्रतीक है, यह बताता है कि समुद्र की लहरों पर भी भारतीय नौसेना हिमालय की तरह ही अडिग है।" राजनाथ सिंह ने कहा कि ये warships, हमारी सुरक्षा व्यवस्था को तो मजबूत करेंगे ही, साथ ही हमें Humanitarian Assistance, और Disaster Relief के missions में भी ताकत देंगे। रक्षा मंत्री ने कहा, "मैं समझता हूं, Indian Navy में इनकी commissioning, हमारे Neighbourhood First, और MAHASAGAR, यानी Mutual and Holistic Advancement for Security and Growth for All in the Region की नीति को मजबूत करने वाला कदम भी है।"

राजनाथ सिंह ने कहा,"मुझे बताया गया है कि इन युद्धपोतों में कई उन्नत क्षमताएं हैं। इनमें लंबी दूरी की सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलें, सुपरसोनिक ब्रह्मोस मिसाइलें, स्वदेशी रॉकेट लॉन्चर, टारपीडो लॉन्चर, युद्ध प्रबंधन प्रणाली और अग्नि नियंत्रण प्रणाली लगाई जा सकती हैं।"

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उन्होंने आगे बताया, " ये दोनों युद्धपोत समुद्र में खतरनाक अभियानों में गेम-चेंजर साबित होंगे।"
 

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Published By : Amit Dubey

पब्लिश्ड 26 August 2025 at 17:21 IST