अपडेटेड 23 April 2024 at 13:01 IST

तिहाड़ में हजार शुगर पेशेंट्स हैं, बिना डॉक्टर के इजाजत के नहीं देते इन्सुलिन...बोले DG संजय बेनीवाल

तिहाड़ जेल के DG संजय बेनीवाल ने कहा कि तिहाड़ जेल में 100 से हजार शुगर पेसेंट्स हैं, किसी को बिना डॉक्टर के परमिशन के इन्सुलिन नहीं दी जाती है। सभी ठीक हैं।

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Arvind Kejriwal ate eggs
केजरीवाल के खाने में अब अंडे की एंट्री | Image: Republic

(साहिल भांबरी)

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल शराब घोटाला के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में तिहाड़ जेल में बेद हैं। ऐसे में उनके स्वास्थ्य को लेकर चर्चा काफी तेज है। दरअसल, सीएम केजरीवाल डायबिटिज के मरीज हैं और आम आदमी पार्टी लगातार आरोप लगा रही है कि सीएम केजरीवाल का ध्यान नहीं रखा जा रहा, उनको जानबूझकर टारगेट किया जा रहा है। 

आप ने आरोप लगाया कि केजरीवाल को जानबूझकर इन्सूलिन नहीं दी जा रही है। इस बीच तिहाड़ जेल के डीजी संजय बेनीवाल ने बताया कि यहां 900 से एक हजार शुगर पेसेंट्स हैं, किसी को बिना डॉक्टर के परमिशन के इन्सुलिन नहीं दी जाती है और सभी ठीक हैं। 

दिल्ली सरकार ने जेल के अंदर मरीजों के लिए बनाई डिस्पेंसरी

DG तिहाड़ संजय बेनीवाल ने कहा, “माननीय न्यायालय में इस विषय पर एक रिपोर्ट मांगी थी जो रिपोर्ट सबमिट की जा चुकी है स्वास्थ्य पर। अपना निर्णय न्यायालय ने सुना दिया है। हर कैदी को खाना जिनका हमारे यहां बनता है एक समय निश्चित पर दिया जाता है 20,000 लोगों को खाना बांटने में समय लगता है वे समय लगता है।  इनका खाना कोर्ट के आदेश से घर से आता है सेल तक खाना पहुंचाने में जो समय लगता है वह लगता है। दवाइयां की जहां तक बात है दिल्ली गवर्नमेंट ने तिहाड़ परिसर में 90 डॉक्टर और 150 नर्सिंग स्टाफ की डिस्पेंसरी जेल के अंदर बनाई हुई है। इसके अलावा जेल से बाहर रेफर हॉस्पिटल है। डीडीयू आरएमएल एम्स सफदरजंग बीमारी की गंभीरता के मुताबिक वहां से एक्सपर्ट भी आते हैं वह चेकअप भी करते हैं।”

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हर जेल में एक केमिस्ट शॉप होती है जो दवाई को रखने का काम करती है हिंदुस्तान की जेल में मेडिकल फैसिलिटी बहुत अच्छी है 900 से हजार पेशेंट सिर्फ शुगर के है किसी को खाने के द्वारा, किसी को ओरल मैनेज किया जाता है या किसी को इन्सुलिन के द्वारा मैनेज किया जाता है। हमारे पास सभी तरह की मेडिसिन प्राप्त है किसी को इन्सुलिन देनी है या नहीं देनी है यह डॉक्टर का निर्णय होता है।

हर शुगर पेशेंट का शुगर मेजर करना होता है जेल के अंदर सीनियर मेडिकल डॉक्टर होते हैं जो जनरल फिजिशियन होते हैं वह हर किसी का ब्लड सैंपल लेते हैं इनका भी लिया जाता है जिससे शेड्यूल बनाया जा सके कि किस दवाई से कितना शुगर लेवल बढ़ रहा है जिससे मैनेज हो सके।

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हर कोई जेल से लेटर लिखता है मेरे पास रोजाना के 100 कैदी यह फैमिली मेंबर्स के लेटर आते हैं अंदर हमारे बॉक्स बने हुए हैं बॉक्स में अपनी शिकायती डालते हैं। रोजाना 20,000 कैदियों के 5000 लोग मुलाकात करने आते हैं जो समय के मुताबिक मिलते हैं आम आदमी साधारण आदमी भी जेल में मिलने आते हैं ये भी इस प्रक्रिया से मिले हैं।

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Published By : Kanak Kumari Jha

पब्लिश्ड 23 April 2024 at 08:57 IST