अपडेटेड 24 October 2025 at 09:03 IST

दुबई से भारत लाया गया दाऊद इब्राहिम का करीबी मोहम्मद सलीम, ड्रग सिंडिकेट पर कसा शिकंजा

मोहम्मद सलीम फरार अंडरवर्ल्ड सरगना दाऊद इब्राहिम के करीबी सहयोगी सलीम डोला के लिए काम करता था। डोला मुंबई और दुबई दोनों जगह सक्रिय माना जाता है।

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Dawood Ibrahim close associate Mohammed Salim extradited from Dubai to India
भारत लाया गया दाऊद इब्राहिम का करीबी मोहम्मद सलीम | Image: Republic

अंडरवर्ल्ड की दुनिया में दाऊद इब्राहिम का नाम तो सदाबहार रहा है। उसके सहयोगियों पर अब कानून का डंडा तेजी से चल रहा है। दुबई से डिपोर्ट हुए दाऊद के करीबी मोहम्मद सलीम को भारत लेकर आया गया है। मुंबई पुलिस ने उसे हिरासत में ले लिया है। सलीम लंबे समय से फरार चल रहा था और उसके खिलाफ इंटरपोल का रेड कॉर्नर नोटिस जारी था। यह गिरफ्तारी भारत में फैले विशाल ड्रग नेटवर्क पर एक बड़ा प्रहार है।

मोहम्मद सलीम का नाम पहली बार तब चर्चा में आया जब मुंबई पुलिस ने पिछले साल एक छोटे से ऑपरेशन में 150 ग्राम MD (मेफेड्रोन) ड्रग्स बरामद की। लेकिन जांच आगे बढ़ने पर खुलासा हुआ कि यह मामला किसी साधारण तस्करी का नहीं था। बल्कि, यह 250 करोड़ रुपये के एक बड़े ड्रग मैन्युफैक्चरिंग और सप्लाई रैकेट का हिस्सा था। सलीम इस नेटवर्क का मुख्य सूत्रधार था, जो भारत में ड्रग्स की सप्लाई चेन को संभालता था।

विदेश भेजता था काली कमाई

सलीम न केवल ड्रग्स की आपूर्ति करता था, बल्कि कमाई गई काली कमाई को हवाला नेटवर्क के जरिए विदेश भेजने का भी जिम्मा संभालता था। यह नेटवर्क दुबई से लेकर मुंबई तक फैला हुआ था, जहां से करोड़ों रुपये का अवैध कारोबार चल रहा था। सलीम का यह दोहरा खेल नशे के व्यापार को मजबूत बनाता था, जो युवाओं को बर्बाद करने के साथ-साथ समाज की नींव को खोखला कर रहा था।

सलीम डोला के लिए करता था काम  

मोहम्मद सलीम फरार अंडरवर्ल्ड सरगना दाऊद इब्राहिम के करीबी सहयोगी सलीम डोला के लिए काम करता था। डोला मुंबई और दुबई दोनों जगह सक्रिय माना जाता है। उसके ड्रग्स नेटवर्क से जुड़ी कमाई इतनी बड़ी है कि यह अंतरराष्ट्रीय स्तर पर जांच का विषय बनी हुई है। मुंबई पुलिस की एंटी-नारकोटिक्स सेल (एएनसी) अब डोला को पकड़ने के लिए अलग से अभियान चला रही है। एएनसी के अधिकारियों का कहना है कि सलीम की पूछताछ से डोला तक पहुंचने के कई सुराग मिल सकते हैं।

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दाऊद इब्राहिम का साम्राज्य भले ही अब कमजोर पड़ गया हो, लेकिन उसके पुराने साथी अभी भी अवैध कारोबार को चला रहे हैं। सलीम का प्रत्यर्पण इस बात का संकेत है कि भारत सरकार और इंटरपोल की संयुक्त कोशिशें अब फल दे रही हैं। दुबई पुलिस के सहयोग से सलीम को पकड़कर भारत लाया गया, जो अंतरराष्ट्रीय अपराध के खिलाफ एक मिसाल कायम करता है।

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Published By : Sagar Singh

पब्लिश्ड 24 October 2025 at 08:13 IST