Updated May 6th, 2024 at 13:25 IST
मुझे गंदी गालियां दी गईं, अंदर से कुंडी बंद कर दी...', राधिका खेड़ा के आरोपों से कांग्रेस में खलबली
कांग्रेस के स्टेट प्रवक्ता पद से इस्तीफा देने के बाद राधिका खेड़ा ने उस खौफनाक दिन की कहानी साझा की है।
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Radhika Khera Row: राधिका खेड़ा ने मीडिया को अपने साथ रायपुर स्थित कांग्रेस मुख्यालय में हुई घटना का ब्योरा दिया। उन्होंने दावा किया कि उनके साथ जो हुआ उसे सोच कर उनके रोंगटे खड़े हो जाते हैं। राधिका काफी भावुक लगीं और भावनाओं को काबू में करते करते आंसुओं को नहीं रोक पाई। कांग्रेस की पूर्व प्रवक्ता की मानें तो उन्होंने पार्टी के आलाधिकारियों को कॉल किया।
राधिका खेड़ा ने 30 अप्रैल की वारदात का जिक्र किया। उसी दिन से युवा नेता सोशल प्लेटफॉर्म पर कांग्रेस के बड़े नेताओं के खिलाफ अपनी बात रखती आई हैं। उन्होंने प्रियंका गांधी के दौरे से पहले भी इस वारदात का छंदों में जिक्र किया था। बघेल को ‘कका’ कह ‘दुशील’ को बचाने का जिक्र था। मीडिया ने उस दुशील को डिकोड कर लिया था लेकिन मीडिया के सामने उन्होंने ये सब कुछ बता दिया।
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'कुंडी बंद कर दी, तीन लोग थे मौजूद...मैं चीखती रही'- राधिका खेड़ा
राधिका ने कहा- किसी भी नेता के लिए उसका मुख्यालय मंदिर होता है...हम सबसे सुरक्षित होते हैं, लेकिन 30 अप्रैल के शाम 6 बजे की घटना है...मैं सुशील आनंद शुक्ला जी से मिलने गई। तो उन्होंने गंदी गंदी गालियां देने लगे, ऐसी की मैं सोच नहीं सकती थी। मैं चिल्लाई बाहर बैठे लोगों से कहा महामंत्री को बुलाकर लाइए...फिर मैंने जब फोन बाहर निकाला तो दो और वहां मौजूद लोगो ने दरवाजा बंद कर दिया...कुंडी बंद कर दी...करीब एक मिनट दरवाजा अंदर बंद रहा...तीनों मेरी तरफ आए...मैं अभी भी सोचती हूं तो मेरे रोंगटे खड़े हो जाते हैं...मैं चीखती रही, चिल्लाती रही...किसी ने मेरी नहीं सुनी, मैं कहती रही मुझे जाने दीजिए।
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‘मैं धक्का देखकर बाहर निकली…’- राधिका खेड़ा
फिर आगे बोले- तीनों वहीं खड़े थे...मैं सिर्फ ध्यान देकर कृष्ण को याद करती रही कि वो मुझे यहां से बचाकर ले जाएं...क्योंकि यहां पे जहां पर हम अपने आप को सुरक्षित समझते हैं...कोई महिला अपने आपको सबसे ज्यादा सुरक्षित महसूस करती है कि वो हमारा मंदिर है, वहां मुझे तीन आदमियों ने बंद कर लिया था। बहुत मुश्किल से मैं धक्का देकर चिल्लाती हुई किसी तरह वहां से निकली, जो लोग जानते हैं सीढ़ियों से फर्स्ट फ्लोर से बाहर निकली।
‘किसी ने नहीं सुनी’- राधिका खेड़ा
आंसुओं को कंट्रोल करते हुए राधिका आगे बोलीं- मैं फर्स्ट फ्लोर से नीचे उतरी…किसी ने नहीं पूछा वहां क्या हुआ...चीखती चिल्लाती , लेकिन प्रदेश के महामंत्री जूते उतार कर बैठे रहे। कोई खड़ा नहीं हुआ, तमाशा बनता रहा...मेरी घड़ी 150 पर बीपीएम चला गया... फटफट कर रही थी। आंसू पोंछते हुए बोलीं- मैं सोचती भी हूं तो रोंगटे खड़े हो जाते हैं।
‘सचिन पायलट ने नहीं सुनी’
खेड़ा ने पार्टी पदाधिकारियों पर बड़े आरोप लगाए। उन्होंने कहा- मैंने सबसे पहला काम यह किया कि मैंने सचिन पायलट को फोन किया लेकिन उन्होंने मुझसे बात नहीं की, उनके पीए ने मुझे बताया कि सचिन पायलट व्यस्त हैं। उनके पीए ने वहां किसी से बातचीत की और फिर उन्होंने मुझसे कहा कि मैं इस घटना के बारे में कुछ भी न बोलूं, अपना मुंह न खोलूं। इसके बाद मैंने भूपेश बघेल, पवन खेड़ा और जयराम रमेश को फोन किया लेकिन किसी ने जवाब नहीं दिया...बाद में भूपेश बघेल ने मुझे वापस फोन किया और मैंने उनसे कहा कि मैं राजनीति छोड़ना चाहता हूं लेकिन उन्होंने मुझे छत्तीसगढ़ छोड़ने के लिए कहा और तब मुझे समझ आया कि कैसे ये सब सिर्फ एक साजिश थी।"
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Published May 6th, 2024 at 13:09 IST
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