अपडेटेड 25 August 2025 at 18:49 IST
INS Udaygiri, Himgiri: PAK के उड़ेंगे होश, नौसेना में शामिल होंगे 2 नए युद्धपोत तो बढ़ेगी भारत की ताकत, थर्र-थर्र कापंगे दुश्मन
Udaygiri and Himgiri: हथियारों के इस समूह में सुपरसोनिक सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलें, मध्यम दूरी की सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलें, 76 मिमी एमआर गन और 30 मिमी व 12.7 मिमी क्लोज-इन हथियार प्रणालियां और पनडुब्बी रोधी/अंडरवाटर हथियार प्रणालियां शामिल हैं। दोनों जहाज 200 से ज्यादा एमएसएमई (सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम) उद्योगों में फैले एक औद्योगिक इकोसिस्टम का परिणाम हैं, जो लगभग 4,000 प्रत्यक्ष और 10,000 से ज्यादा अप्रत्यक्ष रोजगारों को बढ़ावा देते हैं।
- डिफेंस न्यूज
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Udaygiri and Himgiri: हाल ही में पाकिस्तान और आतंकियों के खिलाफ 'ऑपरेशन सिंदूर' में भारत की नौसेना ने भी कमाल किया था और समुद्री क्षेत्र से पाकिस्तान के हर एक गतिविधि पर नजर बनाए रखा था। अब जो खबर है, वह दुश्मन देशों की नींद उड़ाने वाली है। भारत 'समंदर का सिकंदर' बनने को तैयार है। जी हां, भारतीय नौसेना अपनी ताकत को और भी अधिक शक्तिशाली बनाने जा रही है। इसमें भारतीय नौसेना की मदद करेंगे देश के दो घातक युद्धपोत - आईएनएस उदयगिरि और आईएनएस हिमगिरि
मंगलवार 26 अगस्त को आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में भारतीय नौसेना एक साथ दो उन्नत अग्रिम पंक्ति के युद्धपोतों - आईएनएस उदयगिरि और आईएनएस हिमगिरि को अपने में शामिल करेगी। रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि यह पहली बार होगा जब दो भारतीय शिपयार्डों के दो प्रमुख सतही लड़ाकू पोतों का एक साथ जलावतरण किया जाएगा यानी कि भारतीय नौसेना में शामिल किया जाएगा। INS UDAYGIRI और INS HIMIGIRI देश की समुद्री सीमाओं की रक्षा करेंगे।
हिंद महासागर में चीन और पाकिस्तान को जोरदार जवाब
मिली जानकारी के अनुसार, यह आयोजन भारत के तेजी से बढ़ते नौसैनिक आधुनिकीकरण और कई शिपयार्डों से परिष्कृत युद्धपोतों की आपूर्ति करने की उसकी क्षमता को रेखांकित करता है। यह उपलब्धि रक्षा क्षेत्र में मेक इन इंडिया और आत्मनिर्भर भारत पहल की सफलता को दर्शाती है। प्रोजेक्ट 17A के स्टील्थ फ्रिगेट्स का दूसरा जहाज, उदयगिरि, मुंबई में मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड (MDL) द्वारा बनाया गया है, जबकि हिमगिरि, गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स (GRSE), कोलकाता द्वारा निर्मित P17A जहाजों में से पहला है। भारतीय नौसेना के लिए एक और बड़ी उपलब्धि के रूप में, उदयगिरि, नौसेना के युद्धपोत डिजाइन ब्यूरो द्वारा डिजाइन किया गया 100वां जहाज है। वहीं, इन युद्धपोतों के भारतीय नौसेना में शामिल हो जाने के बाद हिंद महासागर में चीन और पाकिस्तान को जोरदार जवाब भी मिलेगा।
उदयगिरि और हिमगिरि की ताकत
मिली जानकारी के अनुसार, युद्धपोत उदयगिरि और हिमगिरि, पहले के डिजाइनों की तुलना में एक पीढ़ीगत छलांग का प्रतिनिधित्व करते हैं। लगभग 6,700 टन विस्थापन वाले, P17A फ्रिगेट अपने पूर्ववर्ती शिवालिक-श्रेणी के फ्रिगेट्स से लगभग पांच प्रतिशत बड़े हैं और फिर भी इनका आकार अधिक सुडौल है। इनका रडार क्रॉस सेक्शन कम है। ये संयुक्त डीजल या गैस (CODOG) प्रणोदन संयंत्रों द्वारा संचालित होते हैं, जिनमें डीजल इंजन और गैस टर्बाइन का उपयोग किया जाता है। ये नियंत्रणीय-पिच प्रोपेलर चलाते हैं और एक एकीकृत प्लेटफॉर्म प्रबंधन प्रणाली (IPMS) के माध्यम से प्रबंधित होते हैं।
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हथियारों के इस समूह में सुपरसोनिक सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलें, मध्यम दूरी की सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलें, 76 मिमी एमआर गन और 30 मिमी व 12.7 मिमी क्लोज-इन हथियार प्रणालियां और पनडुब्बी रोधी/अंडरवाटर हथियार प्रणालियां शामिल हैं। दोनों जहाज 200 से ज्यादा एमएसएमई (सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम) उद्योगों में फैले एक औद्योगिक इकोसिस्टम का परिणाम हैं, जो लगभग 4,000 प्रत्यक्ष और 10,000 से ज्यादा अप्रत्यक्ष रोजगारों को बढ़ावा देते हैं।
2025 में ही इन युद्धपोतों का भी होना है जलावतरण
26 अगस्त को भारतीय नौसना में दो युद्धपोत उदयगिरि और हिमगिरि को शामिल किया जा रहा है। इसके बाद देश की नौसेना की ताकत को और अधिक करने के लिए कई और भी ऐसे युद्धपोत हैं, जिन्हें इसी साल यानी 2025 में शामिल किया जाएगा। इनका नाम आईएनएस सूरत, फ्रिगेट आईएनएस नीलगिरि, पनडुब्बी आईएनएस वाघशीर, एएसडब्ल्यू शैलो वाटर क्राफ्ट आईएनएस अर्नाला, और डाइविंग सपोर्ट वेसल आईएनएस निस्तार है।
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Published By : Amit Dubey
पब्लिश्ड 25 August 2025 at 18:49 IST