अपडेटेड 24 September 2025 at 14:21 IST

जल्द मिल सकती है खुशखबरी! PM मोदी की स्ट्रैटेजी का असर, अमेरिकी मंत्री रुबियो बोले- ट्रंप प्रशासन 25% टैरिफ पर पुनर्विचार कर सकता है

अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने संकेत दिया है कि डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन रूसी तेल की खरीद पर भारत पर लगाए गए अतिरिक्त 25 प्रतिशत टैरिफ को ठीक करने के लिए तैयार हो सकता है।

Jaishankar-Marco Rubio | Image: X/Jaishankar

अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने संकेत दिया है कि डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन रूसी तेल की खरीद पर भारत पर लगाए गए अतिरिक्त 25 प्रतिशत टैरिफ को ठीक करने के लिए तैयार हो सकता है। इसके अलावा एक इंटरव्यू में रुबियो ने ये भी कहा कि अमेरिका को उम्मीद है कि यूरोपीय देश मॉस्को के खिलाफ अपने प्रतिबंधों को और बढ़ाएंगे।

उन्होंने कहा, "मुझे लगता है कि यूरोप के लिए भी प्रतिबंध लगाना जरूरी है। अभी यूरोप में ऐसे देश हैं जो रूस से भारी मात्रा में तेल और प्राकृतिक गैस खरीद रहे हैं, जो बेतुका है। वे अमेरिका से और प्रतिबंध लगाने की मांग कर रहे हैं, लेकिन यूरोप में ऐसे देश भी हैं जो पर्याप्त कदम नहीं उठा रहे हैं।"

आपको बता दें कि उनकी यह टिप्पणी न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक से इतर विदेश मंत्री एस. जयशंकर के साथ हुई बैठक के बाद आई।

'हम इसे ठीक कर सकते हैं'

रुबियो ने आगे कहा कि हालांकि अमेरिका ने भारत के खिलाफ कदम उठाए हैं, लेकिन "हमें उम्मीद है कि हम इसे ठीक कर सकते हैं।" उन्होंने आगे कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप के पास रूस पर और प्रतिबंध लगाने का विकल्प है। उन्होंने कहा, "किसी भी समय उन्हें नए प्रतिबंध लगाने का फैसला करना पड़ सकता है। राष्ट्रपति के पास और अधिक करने की क्षमता है, और जिस दिशा में यह प्रतिबंध लगा है, उसे देखते हुए वह और अधिक करने पर विचार कर रहे हैं।"

ट्रंप प्रशासन ने भारत पर 25 प्रतिशत अतिरिक्त टैरिफ लगाया है, जिससे दिल्ली के व्यापार पर कुल शुल्क 50 प्रतिशत हो गया है, जो वैश्विक स्तर पर सबसे अधिक है। रुबियो ने कहा कि अगस्त में अलास्का शिखर सम्मेलन के बावजूद यूक्रेन में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की कार्रवाई से ट्रंप बेहद निराश हैं। रुबियो ने कहा, "लेकिन याद रखें, उन्होंने यह युद्ध शुरू नहीं किया। वह बस इसे समाप्त करना चाहते हैं।"

जयशंकर ने क्या कहा था?

जयशंकर ने वार्ता के बाद एक्स पर पोस्ट किया, "हमारी बातचीत में वर्तमान चिंता के कई द्विपक्षीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर चर्चा हुई। प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में प्रगति के लिए निरंतर जुड़ाव के महत्व पर सहमति हुई।" रुबियो ने भारत को वाशिंगटन के लिए "महत्वपूर्ण" बताया और चल रहे व्यापारिक संबंधों का स्वागत किया।

वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल ने सोमवार को न्यूयॉर्क में अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि जैमीसन ग्रीर से मुलाकात की और द्विपक्षीय व्यापार समझौते के पहले चरण पर चर्चा की। इसी इंटरव्यू में रुबियो ने जोर देकर कहा कि अमेरिका वैश्विक कूटनीति का केंद्र बना हुआ है। उन्होंने कहा, "देखिए राष्ट्रपति ने क्या किया है और उन्होंने थाईलैंड और कंबोडिया, भारत और पाकिस्तान जैसे कितने युद्धों को समाप्त करवाया है। बार-बार, राष्ट्रपति दुनिया के एकमात्र ऐसे नेता रहे हैं जो इसमें शामिल हो सकते हैं।"

आपको बता दें कि भारत ने कभी नहीं माना कि ट्रंप ने भारत-पाकिस्तान संघर्ष में कोई रोल निभाया है। इसके अलावा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कई बार ट्रंप का फोन नहीं उठाया, जिसने रणनीतिक रूप से अमेरिका को सोचने पर मजबूर कर दिया। टैरिफ मामले भारत का ना झुकना भी अमेरिकी राष्ट्रपति के लिए "आंख खोलने वाला" घटनाक्रम था। हालांकि, अब देखना ये है कि इस मामले में ट्रंप प्रशासन की ओर से क्या फैसला लिया जाता है।

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Published By : Kunal Verma

पब्लिश्ड 24 September 2025 at 14:21 IST