अपडेटेड 15 December 2024 at 22:19 IST

Shakuni: धृतराष्ट्र ने शकुनि समेत पूरे परिवार को क्यों बनाया बंदी? एक-एक करके सबकी मृत्यु बस...

Shakuni story in hindi: महाभारत में कई ऐसे किरदार हैं जिन्हें आज तक याद किया जाता है। इन्हीं किरदारों में एक थे शकुनि। जानते हैं इनसे जुड़ा एक रहस्य...

Shakuni: धृतराष्ट्र ने शकुनि समेत पूरे परिवार को क्यों बनाया बंदी? एक-एक करके सबकी मृत्यु बस... | Image: SOCIAL MEDIA

महाभारत काल के न जानें ऐसे कितने किरदार हैं, जिन्हें आज भी याद किया जाता है, चाहे वो उनके अच्छे कर्मों के लिए हों या बुरे कर्मों के लिए। उन्हीं में से एक थे शकुनि मामा। दुर्योधन के मामा शकुनि गांधारी के भाई और धृतराष्ट्र के साले थे। लेकिन उन्होंने न केवल कौरवों को युद्ध के लिए उकसाया बल्कि पांडवों को मारने के लिए कई षड्यंत्र भी किए। लेकिन क्या आप जानते हैं धृतराष्ट्र ने क्यों शकुनि और उनके परिवार को कारावास में डलवाया। ऐसे में इसके पीछे के रहस्य के बारे में पता होना जरूरी है। 

आज का हमारा लेख इसी विषय पर है। आज हम आपको अपने इस लेख के माध्यम से बताएंगे कि धृतराष्ट्र ने क्यों शकुनि और उनके परिवार को कारावास में डलवा दिया। पढ़ते हैं आगे…

शकुनि के परिवार को कारावास क्यों?

शकुनि की बहन गांधारी का विवाह धृतराष्ट्र से हुआ लेकिन उससे पहले गांधारी का एक और विवाह हुआ था। जी हां, जब गांधारी का जन्म हुआ तो ज्योतिषों द्वारा उसकी कुंडली में कोई दोष पाया गया। ऐसे में ज्योतिषों के कहने पर गांधारी का विवाह बकरी से करवाया गया और बाद में उसकी बलि दे दी गई, जिससे कि गांधारी को इस दोष से मुक्ति मिल जाए लेकिन जब गांधारी का विवाह धृतराष्ट्र के साथ हुआ तो उन्हें इस बात का नहीं पता था कि गांधारी विधवा है। जब यह सच्चाई कौरव पक्ष को पता चली तो धृतराष्ट्र को बेहद गुस्सा आया और उन्होंने पूरे परिवार को शकुनि समेत कारावास में डलवा दिया और उन्हें केवल एक व्यक्ति का भोजन दिया जाता था। ऐसे में राजा सुबाल ने वो भोजन केवल शकुनि को दिया। ऐसे में धीरे-धीरे सब मारे गए। जब सुबाल की मृत्यु नजदीक थी तो उन्होंने धृतराष्ट्र से विनती की कि वह शकुनि को छोड़ दें। ऐसे में शकुनि की आंखों के सामने उनके पिता की मृत्यु हुई। यही कारण था कि शकुनि ने कौरवों और पांडवों के विनाश का षड्यंत्र रचा।

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Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सिर्फ अलग-अलग सूचना और मान्यताओं पर आधारित है। REPUBLIC BHARAT इस आर्टिकल में दी गई किसी भी जानकारी की सत्‍यता और प्रमाणिकता का दावा नहीं करता है।

Published By : Garima Garg

पब्लिश्ड 15 December 2024 at 22:19 IST