अपडेटेड 8 July 2025 at 18:35 IST
Sawan Rudrabhishek: सोमवार से लेकर नाग पंचमी तक... रुद्राभिषेक के लिए कौन-कौन सी तिथियां शुभ, क्या-क्या फायदे?
Sawan Rudrabhishek: सावन के सभी सोमवार, सावन महीने की शिवरात्रि, प्रदोष व्रत, नाग पंचमी पर महादेव का रुद्राभिषेक विशेष फलदाई माना जाता है। आईए देखते हैं कब कर सकते हैं रुद्राभिषेक?
Sawan Rudrabhishek: भगवान शिव के प्रिय मास श्रावण की शुरुआत 11 जुलाई से हो रही है और सावन का पहला सोमवार 14 जुलाई को पड़ रहा है। सावन का महीना भगवान शिव की पूजा के लिए बेहद की शुभ माना जाता है। कावड़िया गंगाजल से अपने आराध्य देवाधिदेव महादेव का अभिषेक करते हैं। पौराणिक मान्यता है की सावन महीने में ही भगवान शिव ने माता पार्वती को पत्नी के रूप में स्वीकार किया था इसीलिए सावन महीने का विशेष महत्व माना जाता है।
भगवान शिव के भक्त उन्हें प्रसन्न करने के लिए सावन मास में विशेष उपाय करते हैं। जिनमें से एक है रुद्राभिषेक करना। रुद्राभिषेक का महत्व वैदिक परंपराओं में अत्यंत उच्च और प्रभावशाली माना गया है। मान्यता के अनुसार, रुद्राभिषेक करने से जीवन की सभी समस्याएं खत्म हो जाती है और मोक्ष की प्राप्ति होती है। तो आईए जानते हैं इस सावन में किस-किस तिथि को कर सकते हैं रुद्राभिषेक और इसके क्या होंगे फायदे?
इस सावन में किस-किस तिथि को रुद्राभिषेक कर सकते हैं?
सावन के सभी सोमवार, सावन महीने की शिवरात्रि, प्रदोष व्रत, नाग पंचमी पर महादेव का रुद्राभिषेक विशेष फलदाई माना जाता है। आईए देखते हैं कब कर सकते हैं रुद्राभिषेक?
- सावन का पहला सोमवार-14 जुलाई
- सावन का दूसरा सोमवार- 21 जुलाई
- सावन का तीसरा- सोमवार- 28 जुलाई
- सावन का चौथा सोमवार- 4 अगस्त,
- श्रावण मास की शिवरात्रि- 21 जुलाई
- श्रावण मास में आने वाली नाग पंचमी- 29 जुलाई
- श्रावण मास भूमि प्रदोष व्रत- 22 जुलाई
- सावन बुध प्रदोष व्रत- 6 अगस्त
- आईए जानते हैं क्या होता है रुद्राभिषेक ?
रुद्राभिषेक अत्यंत वैदिक और शक्तिशाली कर्मकांड है जिसमें भगवान शिव के स्वरूप रुद्र का विशेष मंत्र और पूजन सामग्रियों से अभिषेक किया जाता है। यह अभिषेक शिवलिंग पर किया जाता है। इससे भक्त भगवान शिव की कृपा, शांति और जीवन के कष्टों से मुक्ति मिलती है। रुद्राभिषेक में रुद्र भगवान शिव का उग्र और कृपालु रूप है। अभिषेक पूजन में जल, दुग्ध, पंचामृत से मंत्रों के साथ शिवलिंग का स्नान करना होता है।
रुद्राभिषेक के फायदे
श्रावण मास में रुद्राभिषेक का विशेष महत्व माना जाता है। रुद्राभिषेक भगवान शंकर के रौद्र स्वरूप 'रुद्र' की उपासना की जाती है। इसकी विशेषता कठिनाइयां, मानसिक तनाव, स्वास्थ्य समस्याओं, शत्रु बाधा और ग्रह दोषों से मुक्ति के लिए किया जाता है। अगर कुंडली में चंद्रमा पीड़ित हो और आठवें भाव का स्वामी अशुभ स्थिति में हो तो मानसिक स्थिरता या भय उत्पन्न होता है। ऐसी दशा में रुद्राभिषेक अत्यंत लाभकारी होता है। श्रवण के महीने में रुद्राभिषेक करने से सभी पाप नष्ट हो जाते हैं और व्यक्ति जनम-मरण के बंधन से मुक्त हो जाता है।
Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सिर्फ अलग-अलग सूचना और मान्यताओं पर आधारित है। REPUBLIC BHARAT इस आर्टिकल में दी गई किसी भी जानकारी की सत्यता और प्रमाणिकता का दावा नहीं करता है।
Published By : Deepak Gupta
पब्लिश्ड 8 July 2025 at 18:35 IST