अपडेटेड 6 March 2025 at 23:17 IST
EXCLUSIVE/ पहले सांसद स्टॉपेज मांगते थे और अब मेरे यहां वो आते हैं और कहते हैं- वंदे भारत शुरू करवा दीजिए: PM मोदी
अब वही सांसद आते हैं और कहते हैं कि हमारे संसदीय क्षेत्र से होकर गुजरने वाली वंदे भारत शुरू कर दीजिए।
PM Modi in Republic Planery Summit 2025: रिपब्लिक प्लेनरी समिट में चीफ गेस्ट प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क के एडिटर इन चीफ अर्नब गोस्वामी के साथ बातचीत में बताया कि कैसे 2014 के बाद से देश विकास की रफ्तार पर निकल पड़ा। पीएम मोदी ने बताया कि पहले हमारे सांसद अपने संसदीय क्षेत्रों में ट्रेनों को रोकने के लिए स्टॉपेज मांगने के लिए आते थे। वो कहते थे कि फलां ट्रेन हमारे संसदीय क्षेत्र से होकर गुजरती है अगर वहां के एक स्टेशन पर स्टॉपेज हो जाए तो लोगों को सहूलियत होगी। अब वही सांसद आते हैं और कहते हैं कि हमारे संसदीय क्षेत्र से होकर गुजरने वाली वंदे भारत शुरू कर दीजिए।
पीएम मोदी ने कहा कि साथियों आज जो एस्पिरेशन हैं उसका प्रतिबिंब उनकी बातों में झलकता है खाने का तरीका बदल गया है आप लोगों की डिमांड क्या आता है लोग पहले स्टॉपेज मांगते थे। अब जाकर कहते हैं जी मेरे यहां भी तो एक वंदे भारत शुरू कर दीजिए। अभी मैं कुछ समय पहले कुवैत गया था तो मैं वहां लेबर कैंप में नॉर्मली में बाहर जाता हूं तो अपने देशवासी जहां काम करते हैं उनके पास जाने का प्रयास करता हूं। मैं वहां लेबर कॉलोनी में गया था जो हमारे श्रमिक भाई-बहन रहे हैं जो मन को व्रत में काम करते हैं कोई 10 साल से कोई 15 साल से मैं उनसे बात कर रहा था।
कुवैत में काम करने वाला बिहार का श्रमिक पूछता है मेरे जिले में इंटरनेशनल एयरपोर्ट कब बनेगा?
पीएम मोदी ने आगे बताया कि दुबई में काम करने वाला वो श्रमिक बिहार के गांव का जो 9 साल से कुवैत में काम कर रहा है बीच-बीच में आता है मुझे एक सवाल पूछना है उसने मुझसे कहा मैंने कहा पूछे मेरे गांव के पास डिस्टिक हेड क्वार्टर पर इंटरनेशनल एयरपोर्ट बना दीजिए ना मैं इतना प्रसन्न हो गया मेरे देश के बिहार के गांव का श्रमिक जो 9 साल से कुवैत में मजदूरी करता है वह भी सोचता है अब मेरे जिले में इंटरनेशनल एयरपोर्ट बनेगा। यह है आज भारत के सामान्य नागरिक की एस्पिरेशन जो विकसित भारत के लक्ष्य की ओर पूरे देश को ड्राइव कर रही है। पीएम मोदी ने आगे कहा, 'साथियों किसी भी समाज के राष्ट्र की ताकत तभी बढ़ती है जब उसके नागरिकों के सामने से बैंड से हटती हैं बढ़ाएं हट्टी हैं रूकावटों की दीवारें गिरती हैं तभी उसे देश के नागरिकों का समर्थ बढ़ता है आसमान की ऊंचाई भी उनके लिए छोटी पड़ जाती है इसलिए हम निरंतर उन रूकावटों को हटा रहे हैं जो पहले की सरकारों ने नागरिकों के सामने लगा रखी थी।'
ढाई सौ से ज्यादा स्टेट स्पेस स्टार्टअप देश में बन गए
पीएम मोदी ने बताया, 'मैं उदाहरण देता हूं स्पेस सेक्टर का स्पेस सेक्टर में सब कुछ इसरो के ही जिम में था इसरो ने निश्चित तौर पर शानदार काम किया लेकिन स्पेस साइंस और एंटरप्रेन्योरशिप को लेकर देश में जो बाकी समर्थ था उसका उपयोग नहीं हो पा रहा था सब कुछ इसरो में सिमट गया था हमने हिम्मत करके इस पर सेक्टर को युवा इन्नोवेटर के लिए खोल दिया और जब मैं निर्णय किया था। किसी अखबार की हेडलाइन नहीं बना था। क्योंकि लोगों की समझ ही नहीं है। रिपब्लिक टीवी के दर्शकों को जानकर खुशी होगी कि आज ढाई सौ से ज्यादा स्टेट स्पेस स्टार्टअप देश में बन गए हैं। यह मेरे देश के युवाओं का कमाल है यही स्टार्टअप्स आज विक्रम एस अग्निबाण जैसे रॉकेट बना रहे हैं।'
जियो स्पेशल मैपिंग ने दी नई क्रांति
पीएम मोदी ने बताया कि ऐसे ही मैपिंग के सेक्टर में हुआ कितने बंधन थे आप एक एटलस नहीं बना सकते थे टेक्नोलॉजी बदल चुकी है पहले अगर भारत में कोई मैप बनाना होता था तो उसके लिए सरकारी दरवाजे पर सालों तक आपको चक्कर काटने पड़ते थे हमने इस बंदिश को भी हटाया आज जिओ स्पेशल मैपिंग से जुड़ा हुआ डाटा नए स्टार्टअप का रास्ता बना रहा है। साथियों न्यूक्लियर एनर्जी जुड़े सेक्टर को भी पहले सरकारी कंट्रोल में रखा गया था बंदे साथी बंधन थे दीवारें खड़ी कर दी गई थी। अब इस सरकार ने सरकार ने इसके लिए भी प्राइवेट सेक्टर को ओपन करने के लिए घोषणा की है और इससे 2047 तक हंड्रेड गीगावॉट न्यूक्लियर एनर्जी जोड़ने का लक्ष्य रखा है।
Published By : Ravindra Singh
पब्लिश्ड 6 March 2025 at 23:17 IST