अपडेटेड 12 October 2024 at 16:44 IST
ऐसे थे रतन टाटा... नितिन गडकरी ने शेयर किया 'साला मैं तो साहब बन गया' वाला किस्सा, दिल छू रहा VIDEO
Ratan Tata News: रतन टाटा ने उद्योग के फील्ड में आसमान छुआ, लेकिन उनकी पहचान हमेशा जमीन से जुड़े व्यक्ति के तौर पर होगी। नितिन गडकरी का ये वीडियो इसका उदाहरण है।
Nitin Gadkari Video On Ratan Tata: कहते हैं 'जिंदगी लंबी नहीं बड़ी होनी चाहिए।' देश के दिग्गज उद्योगपति रतन टाटा (Ratan Tata) इस बात के प्रतीक हैं। उनके निधन से पूरा देश गमगीन है। सोशल मीडिया खोलते है हर तरफ सिर्फ रतन टाटा की बात हो रही। 9 अक्टूबर को देर रात रतन नवल टाटा (Ratan Naval Rata) का मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में निधन हो गया। उन्होंने 86 साल की उम्र में अंतिम सांस ली। इस बीच सोशल मीडिया पर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी (Nitin Gadkari) का एक पुराना वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है जिसमें वो अपने मित्र रतन टाटा से जुड़ा दिलचस्प किस्सा शेयर करते हुए दिख रहे हैं। ये वीडियो लोगों का दिल तो जीत ही रहा है साथ ही ये बता रहा है कि रतन टाटा की हैसियत लैंड रोवर की थी, लेकिन शख्सियत नैनो जैसी थी।
रतन टाटा ने उद्योग के फील्ड में आसमान छुआ, लेकिन उनकी पहचान हमेशा जमीन से जुड़े व्यक्ति के तौर पर होगी। नितिन गडकरी का ये वीडियो इसका उदाहरण है। उन्होंने एक भाषण के दौरान कहा था कि यहां लोग 10-15 करोड़ कमाने के बाद कहने लगते हैं कि 'साला मैं तो साहब बन गया, साहब बनकर कैसा तन गया।' लेकिन रतन टाटा ऐसे बिल्कुल नहीं थे।
रतन टाटा से जुड़ा दिलचस्प किस्सा
इंस्टाग्राम पर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का ये वीडियो धमाल मचा रहा है। एक सभा में जनता को संबोधित करते हुए वो रतन टाटा से जुड़ा किस्सा शेयर कर रहे हैं। उन्होंने अपने भाषण में कहा- तब मैं मुंबई में मालाबार हिल्स में रहता था। रतन टाटा मेरे बहुत अच्छे मित्र हैं और वो मुझसे मिलने आ रहे थे।
जब रतन टाटा भूल गए थे गडकरी का पता
नितिन गडकरी ने बताया कि रतन टाटा का फोन आया और उन्होंने कहा कि नितिन मैं तुम्हारे घर का पता भूल गया हूं। मैंने उनसे कहा कि आप अपने ड्राइवर को फोन दीजिए, मैं उसे अपना पता बताता हूं। टाटा ने जवाब दिया- 'नहीं नितिन मेरे पास कोई ड्राइवर नहीं है, मैं खुद गाड़ी चला रहा हूं।' मैं हैरान हो गया और मुस्कुराते हुए बोला कि तुम इतने बड़े आदमी हो और तुम्हारे पास ड्राइवर नहीं है? वो बोले- नहीं है।
फिर एक बार मैं रतन टाटा को नागपुर लेकर गया। मेरे सरकारी मंत्री थे तो मैंने उससे कहा कि बैग पकड़ो टाटा साहब का। रतन टाटा का तुरंत जवाब आया- नहीं...नहीं नितिन, ये मेरा बैग है, मैं इसे लिए रहूंगा। फिर मैंने उनसे कहा कि आप गाड़ी में ड्राइवर के बगल में बैठ जाइए। उन्होंने जवाब दिया- नहीं नितिन वो तुम्हारी जगह है, तुम बैठो।
नितिन गडकरी ने आगे कहा कि इतनी बड़ी संपत्ति होने के बावजूद रतन टाटा में कितनी विनम्रता, कितनी शालीनता, कितनी सहजता थी। यहां तो लोगों के पास 10-20 करोड़ आए नहीं कि गाना शुरू हो जाता है, 'साला मैं तो साहब बन गया, साहब बन कैसा तन गया।'
बता दें कि नितिन गडकरी की तरह कई बड़ी हस्तियों ने रतन टाटा से जुड़ा यादगार किस्सा शेयर किया है। अरबों रुपये के मालिक होने के बाद भी रतन टाटा एक अच्छे कारोबारी के साथ-साथ उससे भी अच्छे परोपकारी थे। उन्होंने टाटा ग्रुप को दुनियाभर में पहचान दिलाने में जो भूमिका निभाई है, शायद वो दूसरा कोई और कर भी दे, लेकिन देश और इंसानियत के लिए उन्होंने जो किया है, वैसा दूसरा कोई नहीं कर सकता। अपने नाम की तरह ही रतन टाटा भारत के 'अनमोल रतन' थे।
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Published By : Ritesh Kumar
पब्लिश्ड 12 October 2024 at 16:44 IST