अपडेटेड 20 June 2024 at 11:09 IST
सऊदी अरब में भीषण गर्मी के बीच इस साल हज यात्रा के दौरान सैकड़ों लोगों की मौत हो गई। अधिकारियों ने बुधवार को बताया कि लोग अपने प्रियजनों के शवों को लेने की कोशिश कर रहे हैं। सऊदी अरब ने हज के दौरान गर्मी के कारण मरने वालों की संख्या के बारे में कोई टिप्पणी नहीं की है, न ही मौतों की वजह बताई है।
हालांकि, मक्का के निकट अल-मुआइसम में आपातकालीन परिसर में सैकड़ों लोग अपने परिवार के लापता सदस्यों के बारे में जानकारी प्राप्त करने की कोशिश में कतार में खड़े रहे। ऑनलाइन प्रसारित एक सूची से पता चलता है कि पांच दिवसीय हज के दौरान कम से कम 550 लोगों की मौत हो गई। नाम सार्वजनिक नहीं करने की शर्त पर एसोसिएटेड प्रेस से बात करने वाले एक चिकित्सक ने कहा कि सूची वास्तविक प्रतीत होती है।
एक अन्य अधिकारी ने भी नाम न बताने की शर्त पर कहा कि उनका मानना है कि कम से कम 600 लोगों की मौत हुई है। सूची में मृत्यु का कोई कारण नहीं बताया गया है। सऊदी राष्ट्रीय मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार मंगलवार को मक्का और शहर के आसपास के स्थलों पर तापमान 47 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। शैतान को कंकड़ मारने की कोशिश करते समय कुछ लोगों को बेहोश होते देखा।
मरने वालों में 68 भारतीय
जानकारी के मुताबिक मरने वालों में 68 भारतीय नागरिक भी शामिल हैं। भारतीयों की मौत की पुष्टि करने वाले राजनयिक ने कहा कि कुछ भारतीय तीर्थयात्री लापता भी हैं, लेकिन उन्होंने सटीक संख्या बताने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा, "ऐसा हर साल होता है... हम यह नहीं कह सकते कि इस साल यह असामान्य रूप से अधिक है।"
"यह पिछले साल के समान ही है, लेकिन आने वाले दिनों में हमें और जानकारी मिलेगी।" पिछले कई सालों से हज सऊदी अरब की भीषण गर्मी के दौरान होता रहा है। पिछले महीने प्रकाशित एक सऊदी अध्ययन के अनुसार, जिस क्षेत्र में अनुष्ठान किए जाते हैं, वहां का तापमान हर दशक में 0.4 डिग्री सेल्सियस (0.72 डिग्री फ़ारेनहाइट) बढ़ रहा है।
पब्लिश्ड 20 June 2024 at 11:09 IST