अपडेटेड 11 November 2024 at 16:54 IST
हिजबुल्लाह ने इजरायल पर फिर दागे 50 रॉकेट, इजरायल का दावा- बस एक महिला को लगे छर्रे
हिजबुल्लाह ने सोमवार को उत्तरी इजरायल पर एक साथ करीब 50 रॉकेट लॉन्चर से हमला किया। हमला होते ही उत्तरी इजराइल में इमरजेंसी सायरन बज उठा था।
- अंतरराष्ट्रीय न्यूज
- 2 min read
Israel Hezbollah War : इजरायल के खिलाफ छिड़ी जंग में अपने शीर्ष नेतृत्व को खोने के बाद भी हिजबुल्लाह रुकने का नाम नहीं ले रहा है। हिजबुल्लाह ने एक बार फिर इजरायल पर बड़ा हमला किया है। सोमवार को उत्तरी इजरायल पर एक साथ करीब 50 रॉकेट लॉन्चर से हमला किया गया। खबर लिखे जाने तक इस हमले में एक महिला के घायल होने की खबर है।
इजराइल की राष्ट्रीय आपातकालीन चिकित्सा, मैगन डेविड एडोम का कहना है कि इस हमले में कारमील इलाके में एक 40 साल की महिला घायल हुई है, महिला को छर्रे लगे हैं। IDF के अनुसार, उत्तरी इजराइल के गलील में हिजबुल्लाह की तरफ से करीब 50 रॉकेट लॉन्च किए गए, जिनमें से कुछ को आयरन डोम (Iron Dome) ने हवा में ही रोक दिया। हमला होते ही उत्तरी इजराइल में इमरजेंसी सायरन बज उठा था।
इजरायल ने कराए थे पेजर हमले
सितंबर में हिजबुल्लाह पर हुए पेजर और वॉकी-टॉकी हमलों के पीछे इजरायल का हाथ था। इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने पहली बार स्वीकार किया कि सितंबर में हिजबुल्लाह को निशाना बनाकर किए गए पेजर और वॉकी-टॉकी हमलों के पीछे उनका देश था, जिनमें कम से कम 39 लोगों की मौत हो हुई और 3,000 से अधिक लोग घायल हो गए थे।
'टाइम्स ऑफ इजरायल' अखबार ने नेतन्याहू के हवाले से कहा, 'रक्षा प्रतिष्ठान में वरिष्ठ अधिकारियों और राजनीतिक क्षेत्र में उनके समर्थकों के विरोध के बावजूद पेजर और हिजबुल्लाह नेता हसन नसरल्लाह को खत्म करने का अभियान चलाया गया।' हिब्रू मीडिया में आई खबरों के अनुसार, नेतन्याहू ने रविवार की साप्ताहिक मंत्रिमंडल बैठक के दौरान ये टिप्पणियां कीं।
Advertisement
17 सितंबर को वॉकी-टॉकी हमले
इजरायल ने अभी तक सार्वजनिक रूप से इन हमलों की जिम्मेदारी नहीं ली थी, लेकिन व्यापक अनुमान था कि सफलतापूर्वक अंजाम दिए गए इन जटिल हमलों के पीछे उसका हाथ है। इन हमलों ने दुनिया को स्तब्ध कर दिया था। लेबनान और सीरिया के कुछ हिस्सों में 16 सितंबर को विस्फोटक वाले हजारों पेजर फट गए थे जो हिजबुल्लाह के समर्थकों के पास थे। दुनियाभर के लोग पेजर विस्फोट की खबरों से उबर भी नहीं पाए थे कि एक दिन बाद 17 सितंबर को वॉकी-टॉकी में भी विस्फोट हुए, जिसने लेबनानी शिया मिलिशिया के खिलाफ युद्ध में इजरायल की खुफिया तैयारी के स्तर को लेकर दुनिया को चौंका दिया था।
ये भी पढ़ें: 'मुगल आक्रांता थे, ओवैसी बताएं मुगल खानदान के हैं, वो अशांति चाहते हैं'; गिरिराज सिंह का तीखा प्रहार
Advertisement
Published By : Sagar Singh
पब्लिश्ड 11 November 2024 at 16:44 IST