अपडेटेड 11 December 2025 at 21:23 IST

दुनिया का सबसे साफ हिंदू गांव भारत में नहीं इस मुस्लिम देश में है, जहां सिगरेट-शराब पीना है मना, लगता है टूरिस्टों का तांता; VIDEO

इंडोनेशिया के पेंगलिपुरन गांव को दुनिया का सबसे साफ हिंदू गांव कहा जाता है, जहां धूम्रपान और शराब बैन है, जानें ये गांव क्यों है सबसे खास?

Cleanest village in the world Penglipuran
पेंगलिपुरन गांव | Image: social media

Cleanest village in the world: आपको जानकर हैरानी होगी कि दुनिया का सबसे प्यारा हिंदू गांव भारत में नहीं बल्कि इंडोनेशिया में है, जी हां, हम बात कर रहे हैं इंडोनेशिया के बाली में बसे पेंगलिपुरन गांव की। इसे दुनिया का सबसे साफ हिंदू गांव के रूप में मान्यता मिली है। यहां कचरा फेंकना, धूम्रपान और शराब पीना भी सख्त मना है। बाली टूरिज्म बोर्ड के मुताबिक, इस गांव की स्वच्छता और सांस्कृतिक संरक्षण ने इसे इंटरनेशनल स्तर पर प्रसिद्ध बना दिया है।

पेंगलिपुरन गांव बांग्ली में स्थित है, जो देनपसार (डेनपसार) के नगुराह राय अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे (I Gusti Ngurah Rai International Airport) से करीब 45 किमी और बांग्ली शहर से 5 किमी की दूरी पर है। भारत के प्रमुख शहरों (दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु) से सीधी कनेक्टिंग उड़ानों भी यहां के लिए जाती है। हवाई अड्डे से टैक्सी, प्राइवेट कार या गो‑जेक जैसी राइड‑शेयरिंग ऐप्स के जरिए आप आसानी से यहां पहुंच सकते हैं।

इस गांव में क्या है खास? 

स्वच्छता नियम: कचरा फेंकना, धूम्रपान और शराब पीना यहां बैन है, वहीं उल्लंघन करने पर भारी जुर्माना भी लगाया जाता है।
हिंदू संस्कृति: मुस्लिम‑बहुल देश में स्थित होने के बावजूद भी यहां सभी निवासी हिंदू धर्म का पालन करते हैं, हर घर में छोटा पारिवारिक मंदिर और कई बड़े मंदिर मौजूद हैं।
वास्तुकला: लगभग 700 साल पुरानी बाली की पारंपरिक हिंदू शैली के घर, एक समान बनावट के साथ, पर्यटकों को आकर्षित करते हैं।
नेचर: हरे‑भरे पहाड़ी इलाके, धुंधली धुंध और शांत वातावरण इसे सोलो ट्रिप और कपल्स दोनों के लिए बेस्ट ऑप्शन है।

यहां घूमने का सबसे अच्छा समय कौन सा?

पेंगलिपुरन गांव घूमने के लिए आपको सुबह जल्दी या शाम के समय घूमना चाहिए, यानी जब मौसम ठंडा हो और और भीड़ भी कम हो। ऐसे में आप यहां के नेचर का और बेहतर एक्सपीरियंस ले सकते हैं। वहीं मार्च से अक्टूबर तक यहां आने के लिए बेस्ट टाइम है। खर्चे की बात की जाए तो इंटरनेशनल ट्रैवलर्स के लिए 50,000 रुपये का खर्चा आता है, अगर आप यहां जाएं तो आ भी यहां के नियमों का पालन करें और धूम्रपान‑रहित क्षेत्र को सम्मान दें, कचरा कूड़ेदान में ही डालें और स्थानीय रिवाजों का पालन भी करें।

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पेंगलिपुरन गांव बाली की नेचुरल सुंदरता का ही एक प्रतीक है, यहां की सफाई और सांस्कृतिक उदाहरण है कि अगर चीजों को संभाल कर रखा जाए तो, हमेशा नेचर आपका साथ देगा। भारतीय यात्रियों के लिए यह एक सुरक्षित, सुलभ और यादगार जगह साबित हो सकती है। जहां बिना धूम्रपान और शराब के शांति का अनुभव किया जा सकता है।  

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Published By : Sujeet Kumar

पब्लिश्ड 11 December 2025 at 21:23 IST