अपडेटेड 24 May 2025 at 12:17 IST

'फील्ड मार्शल क्यों पाकिस्तान का राजा...', असीम मुनीर के प्रमोशन पर भड़के पूर्व PM इमरान, कहा-PAK में जंगलराज चल रहा है

रावलपिंडी की अदियाला जेल में बंद पाकिस्तान के पूर्व PM इमरान खान ने असीम मुनीर को फील्ड मार्शल बनाए जाने का कड़ा विरोध किया है।

Imran Khan big attack on Asim Munir
असीम मुनीर के प्रमोशन पर भड़के पूर्व PM इमरान | Image: ANI

पाकिस्तान सरकार ने बीते दिनों जनरल सैयद असीम मुनीर को फील्ड मार्शल के पद पर पदोन्नत किया है। पाकिस्तान में बीते पांच दशकों में पहली बार किसी आर्मी चीफ को यह रैंक मिली है। PAK में फील्ड मार्शल सबसे हाई लेवल रैंक है और इसे फाइव स्टार रैंक के रूप में जाना जाता है। अब शहबाज सरकार की इस फैसले पर पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने कड़ी आलोचना की है। साथ ही उन्होंने मुनीर पर तंज कसते हुए कहा कि 'आपके लिए फील्ड मार्शल नहीं राजा की उपाधि बेहतर होती'।


रावलपिंडी की अदियाला जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने X पर लिखा, माशाअल्लाह, जनरल आसिम मुनीर को फील्ड मार्शल बनाया गया है। हालांकि ज्यादा अच्छा तो यह होता कि उन्हें ‘राजा’ की उपाधि दी जाती क्योंकि अभी देश में जंगलराज है और जंगल में केवल राजा ही होता है। इमरान के इस बयान को आसिम मुनीर की बेइज्जती के तौर पर देखा जा रहा है।

पाकिस्तान में कानून मिट्टी में मिल गया है-इमरान खान

अगस्त 2023 से कई मामलों में जेल में बंद पूर्व पीएम इमरान खान ने भारत-पाकिस्तान तनाव पर कहा कि देश बाहरी खतरों, आतंकवाद में उछाल और आर्थिक संकट का सामना कर रहा है। उन्होंने अपील करते हुए कहा कि हमें एकजुट होना चाहिए। क्योंकि लोकतंत्र के दो प्रमुख स्तंभ -कानून का शासन और नैतिकता -पाकिस्तान में मिट्टी में मिल गए हैं।

असीम मुनीर को फील्ड मार्शल बनाने पर विरोध

बता दें कि पाकिस्तान के इतिहास में दूसरी बार फील्ड मार्शल की रैंक असीम मुनीर को दी गई है, जो भारत के ऑपरेशन सिंदूर के खिलाफ पाकिस्तान की ओर से शुरू किए गए ऑपरेशन बन्यनुन मार्सूस में उनके सैन्य नेतृत्व, वीरता और पाकिस्तान की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा के लिए दिया गया है। ऐसा सिर्फ पाकिस्तान में ही हो सकता है, जहां किसी देश से मुंह की खाने के बाद भी आर्मी चीफ की पीठ थपथपाई जा रही है।

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पाकिस्तान सरकार के इस फैसले ने हारी हुई सेना के जनरल आसिम मुनीर को हीरो के रूप में पेश करने की कोशिश की है। इससे पहले जनरल अयूब खान ने तख्तापलट और राष्ट्रपति बनने के साथ-साथ 1959 में खुद को फील्ड मार्शल बना लिया था। अयूब खान पाकिस्तान सेना के कमांडर-इन-चीफ और बाद में देश के राष्ट्रपति बने थे। मुनीर का करियर सैन्य खुफिया क्षेत्र में अत्यधिक सक्रिय और महत्वपूर्ण रहा है। वह इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (ISI) और मिलिट्री इंटेलिजेंस (MI) दोनों का प्रमुख रह चुका है।

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Published By : Rupam Kumari

पब्लिश्ड 24 May 2025 at 12:17 IST