भारत में पहली बार नदी के अंदर दौड़ेगी METRO, रोज 10 लाख लोग गुजरेंगे
दिल्ली, मुंबई या बेंगलुरु हो, हर जगह मेट्रो को आपने या तो अंडरग्राउंड देखा है या फिर एलिवेटेड. पहली बार भारत में मेट्रो नदी के अंदर से गुजरेगी। कोलकता मेट्रो का दावा है कि इससे घंटों का सफर मिनटों में तय हो जाएगा। महज एक मिनट में मेट्रो से हुगली नदी पार कर पाएंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस वाटर टनल मेट्रो को जनता को समर्पित करने जा रहे हैं। महज एक मिनट में मेट्रो से हुगली नदी पार कर पाएंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस वाटर टनल मेट्रो को जनता को समर्पित करने जा रहे हैं। टनल सतह से लगभग 33 मीटर नीचे है। हावड़ा से एस्प्लेनेड तक का रास्ता कुल 4.8 किलोमीटर लंबा है। इसमें 520 मीटर की अंडरवाटर सुरंग है। यात्री पानी के नीचे बनी इस आधा किलोमीटर की सुंरग से 1 मिनट से भी कम समय में गुजरेंगे। लंदन और पेरिस के बीच चैनल टनल से गुजरने वाली यूरोस्टार ट्रेनों की तरह ही कोलकाता मेट्रो की इस सुरंग को बनाया गया है। अप्रैल 2017 में Afcons ने सुरंग बनाने के लिए खुदाई शुरू की थी और उसी साल जुलाई में उन्हें पूरा किया गया। ज्यादा जानकारी के लिए देखिए R Bharat का ये खास वीडियो।
दिल्ली, मुंबई या बेंगलुरु हो, हर जगह मेट्रो को आपने या तो अंडरग्राउंड देखा है या फिर एलिवेटेड. पहली बार भारत में मेट्रो नदी के अंदर से गुजरेगी। कोलकता मेट्रो का दावा है कि इससे घंटों का सफर मिनटों में तय हो जाएगा। महज एक मिनट में मेट्रो से हुगली नदी पार कर पाएंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस वाटर टनल मेट्रो को जनता को समर्पित करने जा रहे हैं। महज एक मिनट में मेट्रो से हुगली नदी पार कर पाएंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस वाटर टनल मेट्रो को जनता को समर्पित करने जा रहे हैं। टनल सतह से लगभग 33 मीटर नीचे है। हावड़ा से एस्प्लेनेड तक का रास्ता कुल 4.8 किलोमीटर लंबा है। इसमें 520 मीटर की अंडरवाटर सुरंग है। यात्री पानी के नीचे बनी इस आधा किलोमीटर की सुंरग से 1 मिनट से भी कम समय में गुजरेंगे। लंदन और पेरिस के बीच चैनल टनल से गुजरने वाली यूरोस्टार ट्रेनों की तरह ही कोलकाता मेट्रो की इस सुरंग को बनाया गया है। अप्रैल 2017 में Afcons ने सुरंग बनाने के लिए खुदाई शुरू की थी और उसी साल जुलाई में उन्हें पूरा किया गया। ज्यादा जानकारी के लिए देखिए R Bharat का ये खास वीडियो।