अपडेटेड May 10th 2025, 22:29 IST
PSL 2025: 7 मई को जब भारत की वायुसेना ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के 9 आतंकी ठिकानों पर मिसालइल से अटैक किया था पाकिस्तान की सरजमीं पर चारों ओर खौफ का मंजर था। उसी समय पाकिस्तान में पाकिस्तान सुपर लीग (पीएसएल) खेला जा रहा था।
पीएसएल में काफी विदेशी खिलाड़ियों ने भी हिस्सा लिया था, जो ऑपरेशनल सिंदूर के बाद से अपने देश जाना चाहते थे। पीएसएल खेल रहे कई विदेशी खिलाड़ियों की हालत तो ऐसी हो गई थी कि वे रो-रोकर कह रहे थे कि हमें अपने देश जाना है। पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने सारे विदेशी खिलाड़ियों को दुबई शिफ्ट किया।
आपको बता दें पाकिस्तान सुपर लीग के मैच रावलपिंडी क्रिकेट स्टेडियम में खेले जा रहे थे। 8 मई को रावलपिंडी स्टेडियम पर ड्रोन हमला किया गया था जिससे वो स्टेडियम बुरी तरह से नेस्तनाबूत हो गया था। इसी बीच इंग्लैंड के खिलाड़ी टॉम करन जो PSL में लाहौर कलंदर्स की ओर से खेलते हैं, उनका रो-रोकर बुरा हाल था। इस बात की खबर बांग्लादेश के स्पिनरक रिशाद हुसैन ने दी जो उस वक्त पीएसएल खेलने के लिए पाकिस्तान गए हुए थे।
पाकिस्तान द्वारा विदेशी खिलाड़ियों को दुबई पहुंचाए जाने के बाद रिशाद ने मीडिया से बात करते हुए इस बात का खुलासा किया कि सैम बिलिंग्स, डेरिल मिशेल, कुशाल परेरा, डेविड विसे, टॉम करन सहित कई विदेशी खिलाड़ी काफी डरे हुए थे। दुबई में उतरते ही डेरिल मिशेल (न्यूजीलैंड के खिलाड़ी) ने कहा कि वो फिर कभी पाकिस्तान नहीं आएंगे, खासकर ऐसे हालात में तो बिल्कुल नहीं।
रिशाद हुसैन ने इंग्लैंड के खिलाड़ी टॉम करन के बारे में बात करते हुए बताया कि, "वे एयरपोर्ट गए और जैसे ही उन्हें पता चला कि एयरपोर्ट बंद है, वो एक छोटे बच्चे की तरह फूट-फूट कर रोने लगे। उनको संभालने के लिए 2-3 लोगों की जरुरत लगी।"
आपको बता दें कि टॉम करन आईपीएल 2025 में चेन्नई सुपर किंग्स के लिए खेल रहे सैम करन के बड़े भाई हैं। सैम करन जहां एक ओर आईपीएल में चेन्नई सुपर किंग्स के लिए खेल रहे हैं तो वहीं दूसरी ओर टॉम करन पीएसएल में लाहौर कलंदर्स के लिए खेलते हैं।
आपको बता दें कि रिशाद हुसैन ने इस बात का भी जिक्र किया कि ऑपरेशन सिंदूर के बाद जब पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के अध्यक्ष मोहसिन नकवी ने विदेशी खिलाड़ियों के साथ मीटिंग की थी तो उन्होंने खिलाड़ियों से रावलपिंडी स्टेडियम पर हमले की बात छुपाई। मोहसिन नकवी तो यहां तक चाहते थे कि विदेशी खिलाड़ियों को किसी तरह रोककर पीएसएल के बाकी बचे हुए मैच करांची में करा दिए जाएं। पर विदेशी खिलाड़ी एक पल के लिए भी पाकिस्तान में रुकने को तैयार नहीं थे जिसके चलते उन्हें सभी विदेशी खिलाड़ियों को दुबई भेजना पड़ा।
पब्लिश्ड May 10th 2025, 22:29 IST