अपडेटेड 20 October 2025 at 07:25 IST
Chhath Puja 2025 Geet: शारदा सिन्हा से लेकर कल्पना...छठ पूजा इन पारंपरिक गीतों के बिना है अधूरा, लिस्ट में करें शामिल
Chhath Puja Geet: छठ पूजा बिहार से लेकर यूपी आदि राज्यों में धूमधाम के साथ मनाया जाता है। यह एक ऐसा पर्व है, जो करोड़ों लोगों को जोड़ने का काम करता है। छठ पूजा इन पारंपरिक गीतों बिना सूना-सूना लगता है।
- धर्म और अध्यात्म
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Chhath Puja 2025 Geet: छठ पूजा के बारे में पूरा विश्व जानता है। छठ सिर्फ एक पूजा ही नहीं, बल्कि बिहार वासियों के लिए एक महापर्व है। आज यह पर्व सिर्फ बिहार तक नहीं, बल्कि विश्व के कई बड़े-बड़े देशों में भी प्रचलित हो चूका है। इसलिए छठ पूजा के मौके पर देश के हर कोने से बिहारवासी अपने-अपने घरों के लिए निकल जाते हैं। इस साल पूरे देश में 27 अक्तूबर को संध्याकालीन अर्घ्य दिया जाएगा और 28 अक्टूबर को सुबह में उगते हुए सूर्य को अर्घ्य दिया जाएगा।
छठ पूजा कि बात हो और छठ गीत की बात न हो ऐसा बहुत कम ही देखा जाता है। जब भी छठ पूजा पास में आता है तो बिहार से लेकर उत्तर प्रदेश और देश के अन्य कई राज्यों में छठ पूजा के गीत बजने लगते हैं। इस खास मौके पर व्रत करने वाली महिलाओं से लेकर आम लोग भी छठ गीत सुनना पसंद करते हैं। छठ गीत कि बात होती है, तो शारदा सिन्हा से लेकर कल्पना पतोवरी और पवन सिंह की छठ मैया के गीत करोड़ों लोगों को जोड़ने काम करते हैं। कुछ पारंपरिक छठ गीत तो दिल को छू जाते हैं। इसलिए इस आर्टिकल में हम आपको छठ पूजा के कुछ ऐसे शानदार गीतों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिन्हें आपको भी प्ले लिस्ट में शामिल कर लेना चाहिए।
केलवा के पात पर- शारदा सिन्हा
केलवा के पात पर उगेलन सुरुज मल झांके ऊंके
केलवा के पात पर उगेलन सुरुज मल झांके ऊंके
हो करेलु छठ बरतिया से झांके ऊंके
हम तोसे पूछी बरतिया ऐ बरितया से केकरा लागी
हम तोसे पूछी बरतिया ऐ बरितया से केकरा लागी
हे करेलू छठ बरतिया से केकरा लागी
हे करेलू छठ बरतिया से केकरा लागी..............!
पहिले पहिल हम कईनी- शारदा सिन्हा
पहिले पहिल हम कईनी
छठी मईया व्रत तोहार
करिहा क्षमा छठी मईया
भूल-चूक गलती हमार
सब के बलकवा के दिहा
छठी मईया ममता-दुलार...............!
जोड़े जोड़े फलवा- पवन सिंह
जोड़े जोड़े फलवा सुरुज देव
घटवा पे तीवई चढ़ावेले हो
जोड़े जोड़े फलवा सुरुज देव
घटवा पे तीवई चढ़ावेले हो
जल बिच खड़ा होई दर्शन ला
आसरा लगावेले हो
जल बिच खड़ा होई दर्शन ला........!
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संघे जायेम ऐ बालम जी--कल्पना पतोवरी
बाहरा से घरवा जब आएम न बालम जी
छठ घाट केकरा संगे हम जाइब ऐ बलम जी
छठ घाट केकरा संगे हम जाइब ऐ बलम जी............!
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Published By : Sahitya Maurya
पब्लिश्ड 17 October 2025 at 11:56 IST