अपडेटेड 22 August 2025 at 14:51 IST
कोई दूसरा इंसान होता तो... हमले के बाद सीएम रेखा गुप्ता से मिल मनजिंदर सिरसा ने क्यों कहा शेरनी? बताई पूरी कहानी
मनजिंदर सिंह सिरसा ने बड़ा खुलासा करते हुए कहा कि सीएम रेखा गुप्ता के सलाहकारों ने हमले के बाद ये जनसुनवाई बंद करने की सलाह भी दी। जब मैं परसो उनसे मिला तो बात करने के बाद ये बोलने पर मजबूर हो गया कि आप सिर्फ एक मुख्यमंत्री नहीं बल्कि ‘शेरनी’ मुख्यमंत्री हैं। मैंने उनसे कहा कि आपके अंदर शेर जैसा जज्बा है।
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रिपब्लिक भारत के कार्यक्रम नए भारत का शंखनाद 'संवाद' में दिल्ली सरकार में मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने शिरकत की और अपनी दिल की बातें बताई। सिरसा ने खुद को पीएम मोदी का सिपाही बताया। बीजेपी नेता ने दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता की जमकर तारीफ की और दो दिन पहले हुए घटना के बारे में भी बताया। सिरसा ने कहा कि सीएम आवास पर 1000-1500 लोगों की जनसुनवाई के दौरान उनपर हमला हुआ और वो चोटिल हो गईं। उनकी जगह कोई और होता तो डर जाता, दहशत में आ जाता।
मनजिंदर सिंह सिरसा ने बड़ा खुलासा करते हुए कहा कि सीएम रेखा गुप्ता के सलाहकारों ने हमले के बाद ये जनसुनवाई बंद करने की सलाह भी दी। जब मैं परसो उनसे मिला तो बात करने के बाद ये बोलने पर मजबूर हो गया कि आप सिर्फ एक मुख्यमंत्री नहीं बल्कि ‘शेरनी’ मुख्यमंत्री हैं। मैंने उनसे कहा कि आपके अंदर शेर जैसा जज्बा है। जिसने मौत को इतने पास से देख लिया हो वो अब कह रहीं हैं कि जनसुनवाई खाली चालू ही नहीं रहेगी, अब ये जनसुनवाई दिल्ली के हर विधानसभा में करूंगी... मुझे और मेरे काम को कोई नहीं रोक सकता।
सिरसा ने केजरीवाल के ‘शीशमहल’ पर कसा तंज
दिल्ली की सीएम रेखा गुप्ता को ‘शेरनी’ मुख्यमंत्री कहने वाले मनजिंदर सिंह सिरसा ने आम आदमी पार्टी पर हमला किया और पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल पर तंज कसते हुए कहा कि 10 साल तक दिल्ली में ऐसा मुख्यमंत्री रहा जिसके घर के दरवाजे भी किसी को पता नहीं था। उन्होंने अंदर से शीशमहल बनवा लिया।
1984 में हुए दंगे को यादकर छलका दर्द
दिल्ली सरकार में मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने नए भारत का शंखनाद 'संवाद' कार्यक्रम में अपने दर्द को बयां करते हुए कहा कि मैं उस दौर से निकलकर आया हूं, जब एक मौत मुझे ढूंढ रहा था मारने के लिए और मेरा कसूर सिर्फ इतना था कि मैं एक सिख बच्चा था और उस सिख बच्चे को ढूंढा जा रहा था। 1 से लेकर 3 नवंबर तक वहां लोग हैवानियत का नंगा नाच कर रहे थे। मैं अपने उस शिक्षक का शुक्रगुजार हूं, जिन्होंने मुझे अपने घर के चक्की के पीछे छिपाकर मेरी जान बचाई थी। मैं उस टीचर और उनके परिवार को सलाम करता हूं।
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मनजिंदर सिंह सिरसा ने आगे कहा कि उस घटना के बाद मैंने ये प्रण ले लिया कि जिन भेड़ियों ने हमारे देश के अंडर बेकसूर सिखों को जिंदा जलाकर, गले में टायर से आग लगाकर मारने का काम किया, उन्हें किसी भी सूरत पर माफ नहीं किया जा सकता। अगर इन्हें छोड़ दिया तो इतिहास हमें कभी माफ नहीं करेगा । मैं उस दिन से, जब भी मुझे मौका मिला दिल्ली में, मैं पहले दिन से इस लड़ाई को लड़ रहा हूं। मुझे बताते हुए ये अच्छा लग रहा है कि उन पीड़ित परिवारों के लिए हम निरंतर लड़े और वो जो भेड़ियों के बड़े सरदार थे उन्हें 40 साल बाद घरों से बाहर लेकर आए हैं और आज वो पिछले चार सालों से तिहाड़ जेल के अंदर हैं।
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Published By : Ritesh Kumar
पब्लिश्ड 22 August 2025 at 14:51 IST