अपडेटेड 2 April 2025 at 09:01 IST
'इंशा अल्लाह, वक्फ बिल पास हो जाएगा', संसद शुरू होने से पहले ही मौलाना शहाबुद्दीन करने लगे दुआ; बोले- कोई परेशानी नहीं...
संसद के सत्र की शुरुआत सुबह 11 बजे होगी। पहले एक घंटे प्रश्नकाल के बाद दोपहर 12 बजे लोकसभा के पटल पर वक्फ बिल को रखा जाएगा।
- भारत
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Waqf Bill: संसद के मौजूदा बजट सत्र का आज काफी अहम दिन है। लोकसभा में वक्फ संशोधन विधेयक पेश किया जाएगा। बीजेपी ने इसको लेकर पूरी तैयारी कर ली है तो विपक्ष भी बिल के विरोध में एकजुट हैं। हालांकि सियासत से अलग मुस्लिम समुदाय के कुछ धर्मगुरु विधेयक के समर्थन में खडे़ हैं। मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी दावा कर रहे हैं कि इंशा अल्लाह वक्फ संशोधन बिल पार्लियामेंट में पास हो जाएगा।
संसद के सत्र की शुरुआत सुबह 11 बजे होगी। पहले एक घंटे प्रश्नकाल के बाद दोपहर 12 बजे लोकसभा के पटल पर वक्फ बिल को रखा जाएगा। मौलाना शहाबुद्दीन ने कहा वक्फ संशोधन बिल आज पार्लियामेंट में पास हो जाएगा। कोई परेशानी नहीं होगी। उन्होंने विपक्ष के सदस्यों पर भी गंभीर आरोप लगाए हैं। मौलाना शहाबुद्दीन ने कहा कि विपक्ष के लोग शोर शराबा जरूर करेंगे, क्योंकि उन्हें वोटबैंक की राजनीति करनी है। वोटबैंक ना खिसक जाए इसके लिए वो जरूर हंगामा करेंगे।
वक्फ बिल से मुसलमानों को कोई खतरा नहीं- मौलाना शहाबुद्दीन
मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी का कहना है कि वक्फ बिल से मुसलमानों को कोई खतरा नहीं है। उन्होंने आरोप लगाए कि मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के लोग और सियासी जमातों के लोग सबको डरा रहे हैं और अफवाहें फैला रहे हैं। मौलाना ने कहा मैं मुसलमानों को यकीन दिलाना चाहता हूं ना उनकी ना मस्जिद छिनेगी, ना दरगाहें छिनेंगी, ना खानकाहे और न कब्रिस्तान। कुछ भी छिनने वाला नहीं है। ये सिर्फ और सिर्फ अफवाह है, इस पर कान ना धरें।
ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन ने कहा वक्फ संशोधन बिल से जो कमजोर लाचार यतीम और वेवा मुसलमान हैं, उससे होने वाली आमदनी इन तमाम लोगों में खर्च की जाएगी और इससे उनकी तरक्की और विकास होगा। इसकी आमदनी से मस्जिद कॉलेज मदरसे खुलेंगे, उनका रखरखाव होगा और यतीम बच्चे पढ़ाए जाएंगे।
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सरकार ने वक्फ बिल पर पूरी तैयारी की
संसद में बुधवार को आने वाला वक्फ संशोधन बिल काफी अहम होगा। इसमें समझने वाली बात ये है कि वक्फ बिल को जेसीपी की रिपोर्ट के बाद पेश किया जाएगा। पिछले सत्र में विधेयक को सदन में रखा गया था, जहां से एक संसदीय समिति का गठन करके बिल पर लोगों के विचार और सुझाव लिए गए थे। इस संसदीय समिति में सत्ता पक्ष के अलावा विपक्ष के सांसद और यहां तक कि असदुद्दीन ओवैसी, जो मुस्लिमों के नेता कहे जाते हैं, वो भी शामिल थे। संसदीय समिति को रिपोर्ट को इसी बजट सत्र के पहले चरण में संसद के पटल पर रखा गया था। फिलहाल सरकार ने इस बिल को पास कराने की तैयारी की है।
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Published By : Dalchand Kumar
पब्लिश्ड 2 April 2025 at 09:01 IST