अपडेटेड 1 August 2024 at 11:09 IST

'क्यों ना फिर से पुरानी संसद चलें', अखिलेश यादव ने नए संसद भवन में पानी टपकने पर कसा तंज

अखिलेश यादव ने कथित रूप से संसद के भीतर छत से पानी टपकने का वीडियो शेयर किया और कहा कि इस नई संसद से अच्छी तो वो पुरानी संसद थी, जहां सांसद आकर मिल सकते थे।

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samajwadi party chief akhilesh yadav
अखिलेश ने नए संसद भवन की छत टपकने पर सरकार को घेरा। | Image: video grab/x

Parliament: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में भारी बारिश के बीच जब कथित तौर पर नए संसद भवन की छत टपकने लगी तो विरोधियों ने नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार को घेर लिया है। समाजवादी पार्टी के सांसद अखिलेश यादव ने यहां तक कह दिया है कि क्यों ना पुरानी संसद में चला जाए। अखिलेश यादव ने पुराने संसद भवन को नए से बेहतर बताया है।

लोकसभा सांसद और सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने गुरुवार को कथित रूप से संसद परिसर के भीतर छत से पानी टपकने का एक वीडियो शेयर किया है। अखिलेश ने लिखा है- 'इस नई संसद से अच्छी तो वो पुरानी संसद थी, जहां पुराने सांसद भी आकर मिल सकते थे। क्यों ना फिर से पुरानी संसद चलें, कम-से-कम तब तक के लिए, जब तक अरबों रुपयों से बनी संसद में पानी टपकने का कार्यक्रम चल रहा है।' सपा प्रमुख ने हमला बोलते हुए कहा कि 'जनता पूछ रही है कि बीजेपी सरकार में बनी हर नई छत से पानी टपकना, उनकी सोच-समझकर बनाई गई डिजाइन का हिस्सा होता है या फिर…'

कांग्रेस सांसद ने दिया स्थगन प्रस्ताव

इधर, कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने संसद भवन में पानी के रिसाव के संबंध में गुरुवार को लोकसभा में स्थगन नोटिस दिया। अपने नोटिस में, मणिकम टैगोर ने कहा कि पानी का रिसाव 'भवन के निर्माण के एक साल बाद ही मौसम के प्रति इसकी सहनशीलता के साथ संभावित मुद्दों को उजागर करता है। कांग्रेस सांसद ने कहा, 'मैं कल की भारी बारिश के बाद चिंताओं को संबोधित करने के लिए खड़ा हूं, जिसके कारण संसद भवन के अंदर पानी का रिसाव हुआ, जिस रास्ते से हमारे भारत के राष्ट्रपति नए संसद भवन में प्रवेश करते हैं।' मणिकम टैगोर ने इस मुद्दे को हल करने के लिए भवन का गहन निरीक्षण करने के लिए सभी पार्टी सांसदों को शामिल करते हुए एक विशेष समिति बनाने का प्रस्ताव रखा।

उन्होंने कहा कि समिति रिसाव के कारणों पर ध्यान केंद्रित करेगी, डिजाइन और सामग्रियों का मूल्यांकन करेगी और आवश्यक मरम्मत की सिफारिश करेगी। इसके अतिरिक्त, इसे एक रखरखाव प्रोटोकॉल स्थापित करना चाहिए और नोटिस में उल्लिखित अनुसार अपने निष्कर्षों को सार्वजनिक रूप से साझा करके पारदर्शिता सुनिश्चित करनी चाहिए। कांग्रेस सांसद ने आगे सभी सदस्यों से "हमारी संसद की सुरक्षा और अखंडता को बनाए रखने" की पहल का समर्थन करने का आग्रह किया।

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Published By : Dalchand Kumar

पब्लिश्ड 1 August 2024 at 11:09 IST