अपडेटेड 23 July 2024 at 17:43 IST
हजारीबाग-पटना से लीक हुआ NEET UG 2024 पेपर, सुप्रीम कोर्ट ने माना- 155 छात्रों को मिला गड़बड़ी का लाभ
NEET UG 2024 पेपर लीक मामले में सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने माना कि पेपर हजारीबाग और पटना में लीक हुआ था और इस पर कोई विवाद नहीं है।
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NEET UG 2024 पेपर लीक मामले में मंगलवार को सुनवाई के दारौन सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने माना कि तथ्य यह है कि नीट UG 2024 का पेपर हजारीबाग और पटना में लीक हुआ था। इस पर कोई विवाद नहीं है। CBI की जांच के मुताबिक पेपर लीक की वजह से 155 ऐसे छात्र है, जिन्हें गड़बड़ी का फायदा मिला है। CBI ने 10 जुलाई की तारीख वाली अपनी स्थिति रिपोर्ट दाखिल की है। मुख्य न्यायाधीश जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की बेंच ने इस मामले में सुनवाई की है।
सुप्रीम कोर्ट ने विवादों से घिरे नीट-यूजी 2024 को रद्द करने और दोबारा परीक्षा कराने से इनकार कर दिया है। कोर्ट ने अपने अंतरिम आदेश में मुख्य मुद्दों पर विचार करते हुए, NTA, केंद्र और सीबीआई से हलफनामे मांगे थे। दिल्ली, गुजरात, राजस्थान, बिहार, झारखंड में हुई FIR CBI को ट्रांसफर किए जाने के बाद CBI की भूमिका सामने आई है। CJI ने कहा कि दलीलें 4 दिनों से अधिक समय तक सुनी गई हैं। हमने सीबीआई के अधिकारी कृष्णा सहित सभी पक्षों को सुना है। हम निष्कर्ष निकालते हैं और मानते हैं कि
- तथ्य यह है कि NEET UG 2024 का पेपर हजारीबाग और पटना में लीक हुआ था, इस पर कोई विवाद नहीं है।
- जांच को CBJ को सौंपे जाने के बाद, CBI ने 10 जुलाई की तारीख वाली अपनी स्थिति रिपोर्ट दाखिल की है।
- CBI ने हमारे निर्देश के मुताबिक स्टेट्स रिपोर्ट दखील की है।
- CBI की जांच के मुताबिक पेपर लीक की वजह से 155 ऐसे छात्र है जिन्हें गड़बड़ी का फायदा मिला है।
- कोर्ट ने कहा- जो तथ्य उसके सामने उपलब्ध है, उसके मद्देनजर दुबारा परीक्षा कराना ठीक नहीं होगा।
CJI ने अपने फैसले में कहा कि CBI की जांच अधूरी ही है, इसलिए हमने NTA से ये स्पष्ठ करने को कहा था कि क्या गड़बड़ी बड़े पैमाने पर हुई है या नहीं? केंद्र और NTA ने अपने जवाब में IIT मद्रास की रिपोर्ट का हवाला दिया है। कोर्ट ने कहा कि डेटा से ये नहीं लगता कि कोई सिस्टिमिक ब्रीच हुई है या पूरी परीक्षा की गरिमा प्रभावित हुई है।
'पेपर लीक के पर्याप्त सबूत नहीं'
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि नीट का पेपर लीक हुआ यह साबित करने के लिए पर्याप्त सबूत नहीं हैं। देश के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला और मनोज मिश्रा की पीठ ने अपना फाइनल फैसला सुनाते हुए काह कि नीट की परीक्षा दोबारा आयोजित नहीं कराई जाएगी। अपना फैसला सुनाते हुए CJI ने कहा कि 'कोर्ट को लगता है कि इस साल के लिए नए सिरे से नीट यूजी परीक्षा आयोजित करने का निर्देश देना गंभीर परिणामों से भरा होगा। जिसका खामियाजा इस परीक्षा में शामिल होने वाले 24 लाख से अधिक छात्रों को भुगतना पड़ेगा और प्रवेश कार्यक्रम में व्यवधान पैदा होगा, चिकित्सा शिक्षा के पाठ्यक्रम पर व्यापक प्रभाव पड़ेगा, भविष्य में योग्य चिकित्सा पेशेवरों की उपलब्धता पर असर पड़ेगा।
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Published By : Sagar Singh
पब्लिश्ड 23 July 2024 at 17:18 IST