Updated April 27th, 2024 at 12:36 IST

UP: 53 दिन जौनपुर जेल में कटे, अब बदला ठिकाना...बरेली शिफ्ट किए गए धनंजय सिंह

बाहुबली धनंजय सिंह को सजा के बाद पहली बार गैर जनपद जेल शिफ्ट किया गया। जौनपुर से धनंजय सिंह को बरेली सेंट्रल जेल में भेजा गया है।

Reported by: Digital Desk
Edited by: Dalchand Kumar
धनंजय सिंह | Image:Facebook/Republic
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Dhananjay Singh: जौनपुर के पूर्व सांसद बाहुबली धनंजय सिंह का जेल वाला ठिकाना अब बदल गया है। नमामि गंगे के प्रोजेक्ट मैनेजर को धमकाने, रंगदारी और अपहरण से जुड़े मामले में धनंजय सिंह दोषी हैं। 6 मार्च को 7 साल जेल की सजा हुई। उसके बाद से तकरीबन 53 दिन धनंजय सिंह जौनपुर की जेल में रहे हैं। फिलहाल उन्होंने जौनपुर से बरेली की जेल में शिफ्ट कर दिया गया है।

बाहुबली धनंजय सिंह को सजा के बाद पहली बार गैर जनपद जेल शिफ्ट किया गया। जौनपुर से धनंजय सिंह को बरेली सेंट्रल जेल में भेजा गया है। प्रशासनिक आधार पर धनंजय जेल की बदलने की वजह बताई जा रही है। भारी संख्या में फोर्स की मौजूदगी के बीच पूर्व सांसद को जौनपुर से एंबुलेंस के जरिए बरेली ले जाया गया।

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धनंजय ठोक रहे थे ताल, हुई जेल को पत्नी को टिकट

धनंजय सिंह लोकसभा चुनावों में जौनपुर से एक बार फिर उतरने तैयारी कर चुके थे। वो पहले भी जौनपुर से सांसद रह चुके हैं। 2009 में बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर उन्होंने चुनाव जीता था। 2011 में बसपा अध्यक्ष मायावती ने पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोपों में धनंजय को पार्टी से निकाल दिया था। अभी वो नीतीश कुमार की पार्टी जदयू में हैं। जब धनंजय सिंह को जेल हो चुकी है तो उनकी पत्नी श्रीकला सिंह पर मायावती ने दांव लगा दिया है। श्रीकला सिंह बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर जौनपुर से प्रत्याशी हैं।

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क्या है वो मामला, जिसमें धनंजय सिंह दोषी साबित

मुजफ्फरनगर निवासी अभिनव सिंघल ने 10 मई 2020 को लाइनबाजार पुलिस स्टेशन में धनंजय सिंह और उनके साथी संतोष विक्रम के खिलाफ अपहरण, जबरन वसूली, साजिश और अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था। आरोप था कि विक्रम ने अपने दो साथियों के साथ मिलकर सिंघल का अपहरण कर लिया। उन्हें पूर्व सांसद के आवास पर ले गए, जहां धनंजय सिंह पिस्तौल लेकर आए। अभिनव सिंघल के साथ दुर्व्यवहार किया और उन पर दबाव डाला गया। मना करने पर धमकी दी गई और पैसे की भी मांग की गई। पूर्व सांसद को इस मामले में गिरफ्तार किया गया था और बाद में उन्हें इलाहाबाद उच्च न्यायालय से जमानत मिल गई थी।

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जौनपुर की एक स्थानीय अदालत ने 6 मार्च 2024 नमामि गंगे के प्रोजेक्ट के मैनेजर के अपहरण के 4 साल पुराने मामले में पूर्व सांसद धनंजय सिंह को 7 साल की कैद के अलावा 50 हजार रुपये  जुर्माने की सजा सुनाई। कोर्ट ने धनंजय सिंह और उनके सहयोगी संतोष विक्रम को 'नमामि गंगे' के प्रोजेक्ट मैनेजर अभिनव सिंघल के अपहरण और रंगदारी के मामले में दोषी करार दिया।

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Published April 27th, 2024 at 11:00 IST

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