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Published 19:30 IST, September 9th 2024

सावधान! भारत में मंकीपॉक्स ने दी दस्तक, पहले केस की पुष्टि के बाद केंद्र सरकार ने जारी की गाइडलाइन

Mpox in india: रविवार को एक संदिग्ध मरीज का नमूना जांच के लिए भेजा गया था। मंकीपॉक्स की पुष्टि होने के बाद स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक बयान जारी कर चिंता जताई है।

Reported by: Digital Desk
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Mpox
Representational image | Image: File photo

Monkeypox in India: अफ्रीका से निकलकर Mpox) (मंकीपॉक्स) का वायरस यूरोप और अमेरिका के बाद भारत तक पहुंच गया है। दुनिया भर में फैल रही इस खतरनाक बीमारी के पहले मामले की पुष्टि हुई है। जिसके बाद केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सतर्कता दिखाते हुए एमपॉक्स को लेकर सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को एक भी एडवाइजरी जारी की है।

रविवार को एक संदिग्ध मरीज का नमूना मंकीपॉक्स की जांच के लिए भेजा गया था। जांच रिपोर्ट में पुष्टि होने के बाद स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक बयान जारी कर चिंता जताई है। ये शख्स विदेश यात्रा कर भारत लौटा था। जिसमें लक्षण दिखने के बाद अस्पताल में अलग रखा गया था। इस दौरान प्रोटोकॉल का पूरा ख्याल रखा गया। सरकार ने कहा था कि शख्स के संपर्क में आए लोगों का पता लगाना भी जरूरी है। 

अफ्रीकी क्लेड 2 का एमपॉक्स वायरस

न्यूज एजेंसी ANI ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के हवाले से बताया कि पीड़ित मरिज एक पुरुष है। जो हाल ही में मंकीपॉक्स संक्रमण से जूझ रहे देश से यात्रा कर भारत आया है। उसमें एमपॉक्स के पहले केस की पुष्टि हुई है। लैब में मरीज में वेस्ट अफ्रीकन क्लैड 2 के एमपॉक्स वायरस की मौजूदगी की पुष्टि हुई है। यह मामला जुलाई, 2022 के बाद भारत में रिपोर्ट किए गए पहले के 30 केस से समान एक अलग मामला है। वर्तमान में WHO द्वारा घोषित की गई सार्वजनिक स्वास्थ्य आपातकाल का हिस्सा नहीं है। यह इमरजेंसी एमपॉक्स के क्लैड 1 के संबंध में है। 

पीड़ित एक युवा है। जिसने हाल ही में एमपॉक्स ट्रांसमिशन वाले देश की यात्रा की थी। फिलहाल इलाजे के लिए उसे डॉक्टरों की देखरेख में अलग रखा गया है और फिलहाल, उसकी हालत स्थिर है।

मंकीपॉक्स से 208 लोगों की मौत

विश्व स्वस्थ्य संगठन (WHO) के पहले के बयान के अनुसार, 2022 से अब तक 116 देशों में 99,176 मंकीपॉक्स के मामले सामने आये हैं, जिनमें से 208 लोगों की मौत हो चुकी है। पिछले साल संक्रमितों की संख्या में काफी वृद्धि हुई थी। इस साल अब तक सामने आये मामलों की संख्या पिछले साल की कुल संख्या से अधिक हो गई है।

क्या है मंकीपॉक्स?

मंकीपॉक्स एक वायरल जूनोसिस है जिसके लक्षण चेचक के रोगियों में पहले देखे गए लक्षणों के समान हैं, हालांकि चिकित्सीय रूप से यह कम गंभीर है। जूनोसिस या जूनोटिक रोग आदमियों में होने वाला एक संक्रामक रोग है जो किसी रोगाणु के कारण होता है। अधिकारियों के अनुसार, संक्रमण का प्रभाव आम तौर पर दो से चार सप्ताह तक रहता है। एमपॉक्स के मरीज आमतौर पर सहायक चिकित्सा देखभाल और प्रबंधन से ठीक हो जाते हैं।

बीमारी का संक्रमण संक्रमित व्यक्ति के साथ लंबे समय तक और करीबी संपर्क के माध्यम से होता है। यह मुख्य रूप से यौन मार्ग, रोगी के शरीर, घाव के साथ सीधे संपर्क या संक्रमित व्यक्ति के दूषित कपड़ों के माध्यम से होता है।

(भाषा इनपुट के साथ)

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Updated 19:50 IST, September 9th 2024