अपडेटेड 2 June 2024 at 14:58 IST
सिक्किम की सत्ता में SKM, 2013 में बनी पार्टी लाई क्रांति; कौन हैं प्रेम तमांग, जो बनेंगे CM?
Sikkim Election Result: सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा ने 31 सीटों पर कब्जा किया है, जबकि एक सीट सिक्किम डेमोक्रेटिक फ्रंट के खाते में गई है।
- चुनाव न्यूज़
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Sikkim Assembly Election Result 2024: सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा (SKM) ने एक बार फिर कमाल कर दिखाया है। सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा लगातार दूसरी बार सिक्किम में सत्ता में लौट आया है। तकरीबन 11 साल पुरानी इस राजनीतिक पार्टी को राज्य के विधानसभा चुनाव में जबरदस्त जनादेश मिला है। सिक्किम में विधानसभा की 32 सीटें हैं, जिनमें से SKM ने 31 सीटों पर अपना झंडा गाड़ है। इस जीत से प्रेम सिंह तमांग दूसरी बार मुख्यमंत्री बनेंगे। 56 वर्षीय तमांग 2019 से सिक्किम के छठे और वर्तमान मुख्यमंत्री हैं।
सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा ने राज्य में सभी 32 निर्वाचन क्षेत्रों से चुनाव लड़ा। 19 अप्रैल को लोकसभा चुनाव के पहले चरण के साथ सिक्किम में विधानसभा चुनाव के लिए मतदान हुआ था। 2 जून को सिक्किम में विधानसभा चुनाव के नतीजे घोषित हुए हैं। चुनाव परिणामों के मुताबिक, सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा ने 31 सीटों पर कब्जा किया है, जबकि एक सीट सिक्किम डेमोक्रेटिक फ्रंट (SDF) के खाते में चली गई है।
सिक्किम में केंद्रीय पार्टियों बीजेपी और कांग्रेस का खाता तक नहीं खुला है। बीजेपी को सिक्किम में महज 5.18 फीसदी वोट मिले हैं, जबकि कांग्रेस के पक्ष में 0.32 प्रतिशत मतदान ही हुआ। दिलचस्प ये है कि कांग्रेस के ज्यादा वोट NOTA पर पड़े हैं, जिसका आंकड़ा 0.99 फीसदी रहा। बहुमत हासिल करने वाली पार्टी सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा को 58.38 प्रतिशत वोट हासिल हुआ है। एसडीएफ को 27.37 प्रतिशत लोगों ने वोट किया है।
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11 साल पहले बनी पार्टी लाई सियासत में क्रांति
सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा पूर्वोत्तर के राज्य में एक प्रमुख राजनीतिक दल है। 2019 से इसने राज्य में सत्ता की बागडोर संभाली हुई है। 4 फरवरी 2013 को प्रेम सिंह तमांग (पीएस गोले) ने सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा की स्थापना की थी। गोले के नेतृत्व में सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा ने अपने पहले ही चुनाव में 2014 में जबरदस्त प्रदर्शन किया था। 12 अप्रैल 2014 के सिक्किम चुनाव में सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा विधानसभा में दूसरा सबसे बड़ा दल और मुख्य विपक्ष बना। उसके बाद 2019 के विधानसभा चुनाव में इस दल ने पहली बार सरकार बनाई।
2017 में एसकेएम ने कुंगा नीमा लेप्चा को कार्यवाहक अध्यक्ष, एमपी सुब्बा और नवीन कार्की को कार्यकारी अध्यक्ष चुना। अरुण उप्रेती को पार्टी का महासचिव नियुक्त किया गया था। 2019 के चुनावों की अगुवाई में SKM के BJP के साथ जाने की चर्चाएं थीं, लेकिन प्रेम सिंह तमांग ने अपने दम पर चुनाव लड़ा। हालांकि सिक्किम विधानसभा चुनावों के बाद दल 26 मई 2019 को एनडीए में शामिल हुआ।
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कौन हैं प्रेम तमांग, जो बनेंगे दोबारा CM
प्रेम सिंह तमांग को पीएस गोले के नाम से भी जाना जाता है। 10 फरवरी 1968 को सोरेंग में जन्मे तमांग पश्चिमी सिक्किम से आते हैं। 1990 के दशक की शुरुआत से ही सिक्किम के राजनीतिक परिदृश्य में सक्रिय हैं। उन्होंने अपना करियर एक सरकारी कर्मचारी के रूप में शुरू किया और बाद में राजनीति में शामिल हो गए। वो पहले सिक्किम डेमोक्रेटिक फ्रंट (एसडीएफ) से जुड़े थे। राज्य सरकार में मंत्री भी रह चुके थे। 1993 में सिक्किम डेमोक्रेटिक फ्रंट में शामिल होने के बाद उन्होंने 1994 में चाकुंग से विधानसभा चुनाव जीता और 1999 तक पशुपालन और उद्योग विभाग के मंत्री के रूप में कार्य किया।
हालांकि दिसंबर 2009 में सिक्किम के पूर्व मुख्यमंत्री पवन कुमार चामलिंग के साथ प्रेम सिंह तमांग का मनमुटाव हो गया। प्रेम सिंह तमांग ने एसडीएफ से बगावत कर दी थी। 4 फरवरी 2013 को गोले ने सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा की स्थापना की। 2019 के सिक्किम विधानसभा चुनावों में तमांग ने अपनी पार्टी को 17 सीटों पर जीत दिलाई और चामलिंग के 25 साल के शासन को खत्म किया। तमांग ने 27 मई 2019 को गंगटोक के पलजोर स्टेडियम में एक समारोह में मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली। वो एक बार फिर राज्य के मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं।
Published By : Amit Bajpayee
पब्लिश्ड 2 June 2024 at 14:58 IST