पब्लिश्ड 16:08 IST, April 3rd 2024
करनाल विधानसभा उपचुनाव की अधिसूचना रद्द करने की याचिका खारिज
पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय ने करनाल विधानसभा उपचुनाव की घोषणा से संबंधित निर्वाचन आयोग की 16 मार्च की अधिसूचना रद्द करने की याचिका खारिज कर दिया।
पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय ने करनाल विधानसभा उपचुनाव की घोषणा से संबंधित निर्वाचन आयोग की 16 मार्च की अधिसूचना रद्द करने का अनुरोध बुधवार को ठुकरा दिया। न्यायमूर्ति सुधीर सिंह और न्यायमूर्ति हर्ष बंगर की खंडपीठ ने अधिसूचना दरकिनार करने का निर्देश देने संबंधी इस याचिका पर मंगलवार को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को करनाल विधानसभा उपचुनाव में अपना प्रत्याशी बनाया है। सैनी निवर्तमान लोकसभा में कुरूक्षेत्र से सांसद भी हैं। पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के विधानसभा से इस्तीफा देने पर करनाल सीट खाली हुई थी।
यह विधानसभा उपचुनाव 25 मई को हरियाणा में 10 लोकसभा सीट के लिए होने वाले चुनाव के साथ होगा। याचिकाकर्ता की दलील थी कि निर्वाचन आयोग जन प्रतिनिधित्व कानून की धारा 151(ए) पर गौर करने में विफल रहा जिसमें प्रावधान है कि यदि रिक्ति के संबंध में सदस्य का शेष कार्यकाल एक वर्ष से कम है, तो उपचुनाव कराने की आवश्यकता नहीं है।
धारा में प्रावधान है कि सीट खाली होने की तारीख से छह महीने के अंदर उस रिक्ति को भरने के लिए उपचुनाव कराया जाना चाहिए, लेकिन यह अपवाद भी है कि यदि संबंधित सदस्य का कार्यकाल एक साल से भी कम है, तो उपचुनाव नहीं होगा। याचिकाकर्ता करनाल का एक निवासी है और उसके मुताबिक नये सदस्य का कार्यकाल उपचुनाव के बाद प्रभावी तौर पर महज दो महीने का होगा।
याचिकाकर्ता के वकील सिमरपाल सिंह ने कहा, ‘‘याचिका खारिज कर दी गयी है। आदेश के प्रति की प्रतीक्षा है।’’ भाजपा ने पिछले महीने तेजी से कदम उठाते हुए खट्टर को हटाकर अन्य पिछड़ा वर्ग के नेता सैनी (54) को हरियाणा का मुख्यमंत्री बनाया था। खट्टर अब करनाल संसदीय सीट से भाजपा प्रत्याशी के तौर पर लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं। सैनी ने 12 मार्च को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी और उन्हें छह माह के अंदर विधानसभा सदस्यता लेनी होगी।
अपडेटेड 16:08 IST, April 3rd 2024