अपडेटेड 20 February 2025 at 21:05 IST

ओडिशा में नेपाली छात्रा की मौत से जुड़ा मुद्दा राजनयिक माध्यम से सुलझा लिया गया: देउबा

ओडिशा के केआईआईटी में बीटेक (कंप्यूटर साइंस) की तीसरे वर्ष की छात्रा प्रकृति लामसाल (20) ने 16 फरवरी को अपने छात्रावास के कमरे में कथित तौर पर आत्महत्या कर ली।

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Arzu Rana Deuba said issue related to the death of Nepali student in Odisha was resolved through diplomatic channels | Image: x

नेपाल की विदेश मंत्री आरजू राणा देउबा ने बृहस्पतिवार को कहा कि सरकार ने ओडिशा के एक विश्वविद्यालय में पढ़ाई करने वाली एक नेपाली छात्रा की मौत से उत्पन्न मुद्दे को राजनयिक माध्यम से सुलझा लिया है।

देउबा ने ओमान से यहां आने पर त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा पर मीडिया से कहा, ‘‘नेपाल सरकार ने स्थिति को गंभीरता से लेते हुए राजनयिक माध्यम से, केआईआईटी (कलिंग इंस्टीट्यूट ऑफ इंडस्ट्रियल टेक्नोलॉजी) ओडिशा में एक नेपाली छात्रा की हुई मौत से जुड़ी समस्या का समाधान कर लिया है।

देउबा आठवें हिंद महासागर शिखर सम्मेलन में भाग लेने ओमान गई थीं। विदेश मंत्री ने यह भी कहा कि उन्होंने इस मामले के संबंध में ओडिशा के उच्च शिक्षा मंत्री सूर्यवंशी सूरज से बात की है और छात्रा की मौत की निष्पक्ष जांच सुनिश्चित की है। साथ ही, उन्होंने नेपाली छात्रों के अपने छात्रावासों में लौटने और कक्षाओं में उनके फिर से शामिल होने के लिए सुरक्षित माहौल सुनिश्चित करने का भी आग्रह किया है।

उन्होंने कहा कि नेपाल के विदेश मंत्रालय की पहल के बाद ओडिशा सरकार ने इस मामले को गंभीरता से लिया है और एक उच्च स्तरीय जांच समिति भी गठित की है। देउबा ने कहा, ‘‘संस्थान ने इस घटना के लिए माफी मांगी है और नेपाली छात्रों के साथ दुर्व्यवहार करने वाले अपने कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की है।’’

ओडिशा के केआईआईटी में बीटेक (कंप्यूटर साइंस) की तीसरे वर्ष की छात्रा प्रकृति लामसाल (20) ने 16 फरवरी को अपने छात्रावास के कमरे में कथित तौर पर आत्महत्या कर ली, जिसके बाद परिसर में अशांति फैल गई।

केआईआईटी में करीब 1,000 नेपाली छात्र पढ़ाई कर रहे हैं। इस बीच, केआईआईटी यूनिवर्सिटी से कथित रूप से निष्कासित 95 नेपाली छात्र परसा जिले स्थित बीरगंज सीमा के रास्ते घर लौट आए हैं।

बुधवार को काठमांडू में भारतीय दूतावास ने कहा था कि ओडिशा सरकार ने उच्च शिक्षा विभाग को एक नोटिस जारी किया है, जिसमें कहा गया है कि ‘‘उसने घटना से प्रभावित छात्रों की सुरक्षा, उनकी सुरक्षित वापसी और उनके शैक्षणिक हितों की रक्षा के लिए एक हेल्प डेस्क का गठन किया है।’’

Published By : Ritesh Kumar

पब्लिश्ड 20 February 2025 at 21:05 IST