अपडेटेड 16 October 2025 at 23:18 IST
Rama Ekadashi 2025 Stotra: कल रमा एकादशी के दिन जरूर करें इस स्तोत्र का पाठ, मिलेगा मनचाहा वर
Rama Ekadashi 2025 Stotra: सनातन धर्म में रमा एकादशी के दिन भगवान विष्णु की पूजा विधिवत रूप से करने का विधान है। अब ऐसे में इस दिन जो व्यक्ति श्रीहरि की पूजा कर रहे हैं, वह स्तोत्र का पाठ जरूर करें। आइए इस लेख में विस्तार से जानते हैं।
Rama Ekadashi 2025 Stotra: हिंदू पंचांग के हिसाब से कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि के दिन रमा एकादशी का व्रत रखने का विधान है। ऐसा कहा जाता है कि अगर आपके जीवन में किसी तरह की कोई समस्या आ रही है तो रमा एकादशी के दिन भगवान विष्णु की पूजा करने से व्यक्ति को उत्तम परिणाम मिल सकते हैं और व्यक्ति की मनोकामनाएं पूरी हो सकती है।
आपको बता दें, इस साल रमा एकादशी का व्रत 17 अक्टूबर को रखा जाएगा। अब ऐसे में अगर आप इस दिन भगवान विष्णु की पूजा कर रहे हैं तो उनके स्तोत्र का पाठ जरूर करें। आइए इस लेख में ज्योतिषाचार्य पंडित दयानंद त्रिपाठी से विस्तार से जानते हैं।
रमा एकादशी के दिन करें भगवान विष्णु के इस स्तोत्र का पाठ
अगर आपकी कोई मनोकामना है या फिर अगर आपके जीवन में बार-बार अकारण समस्याएं रही है तो इस स्तोत्र का पाठ आप कम से कम 11 या फिर 21 बार करें।
जगज्जालपालं चलत्कण्ठमालंशरच्चन्द्रभालं महादैत्यकालं
नभोनीलकायं दुरावारमायंसुपद्मासहायम् भजेऽहं भजेऽहं॥1॥
सदाम्भोधिवासं गलत्पुष्पहासंजगत्सन्निवासं शतादित्यभासं
गदाचक्रशस्त्रं लसत्पीतवस्त्रंहसच्चारुवक्त्रं भजेऽहं भजेऽहं॥2॥
रमाकण्ठहारं श्रुतिव्रातसारंजलान्तर्विहारं धराभारहारं
चिदानन्दरूपं मनोज्ञस्वरूपंध्रुतानेकरूपं भजेऽहं भजेऽहं॥3॥
जराजन्महीनं परानन्दपीनंसमाधानलीनं सदैवानवीनं
जगज्जन्महेतुं सुरानीककेतुंत्रिलोकैकसेतुं भजेऽहं भजेऽहं॥4॥
कृताम्नायगानं खगाधीशयानंविमुक्तेर्निदानं हरारातिमानं
स्वभक्तानुकूलं जगद्व्रुक्षमूलंनिरस्तार्तशूलं भजेऽहं भजेऽहं॥5॥
समस्तामरेशं द्विरेफाभकेशंजगद्विम्बलेशं ह्रुदाकाशदेशं
सदा दिव्यदेहं विमुक्ताखिलेहंसुवैकुण्ठगेहं भजेऽहं भजेऽहं॥6॥
सुरालिबलिष्ठं त्रिलोकीवरिष्ठंगुरूणां गरिष्ठं स्वरूपैकनिष्ठं
सदा युद्धधीरं महावीरवीरंमहाम्भोधितीरं भजेऽहं भजेऽहं॥7॥
रमावामभागं तलानग्रनागंकृताधीनयागं गतारागरागं
मुनीन्द्रैः सुगीतं सुरैः संपरीतंगुणौधैरतीतं भजेऽहं भजेऽहं॥8॥
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॥ फलश्रुति ॥
इदं यस्तु नित्यं समाधाय चित्तंपठेदष्टकं कण्ठहारम् मुरारेः
स विष्णोर्विशोकं ध्रुवं याति लोकंजराजन्मशोकं पुनर्विन्दते नो॥9॥
रमा एकादशी के दिन भगवान विष्णु के स्तोत्र का पाठ करने का महत्व
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, माना जाता है कि जो भक्त इस दिन विष्णु स्तोत्र का पाठ करता है, उसे जीवन में कभी भी धन और सुख की कमी नहीं होती और अखंड सौभाग्य प्राप्त होता है। पद्म पुराण के अनुसार, रमा एकादशी का व्रत और स्तोत्र पाठ करने वाला भक्त अंत में विष्णुलोक को प्राप्त करता है।
Published By : Aarya Pandey
पब्लिश्ड 16 October 2025 at 23:18 IST