अपडेटेड 5 June 2023 at 07:03 IST
Yogi Adityanath Birthday: बेटे को भगवा वस्त्र में देखकर रो पड़े थे योगी के माता-पिता, घर में मांगी थी मां से भिक्षा
Yogi Adityanath का जन्म 5 जून सन 1972 उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल जिले में हुआ था। उनकी माता सावित्री देवी एक घरेलू महिला थीं और पिता आनंद सिंह बिष्ट एक फॉरेस्ट रेंजर थे।
Happy Birthday CM Yogi Adityanath: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का आज 51वां जन्मदिन है। दीक्षा ग्रहण करने से पहले योगी आदित्यनाथ का नाम अजय कुमार बिष्ट था। 15 फरवरी 1994 को अजय सिंह बिष्ट ने नाथ संप्रदाय के प्रमुख मठ गोरखनाथ मंदिर के उत्तराधिकारी बने और अपने गुरू महंत अवैद्यनाथ से दीक्षा ली। इसके बाद वो पूरी तरह से योगी बन गए और उनका नाम योगी आदित्यनाथ रखा गया।
योगी आदित्यनाथ का जन्म 5 जून सन 1972 उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल जिले में हुआ था। उनकी माता सावित्री देवी एक घरेलू महिला थीं और पिता आनंद सिंह बिष्ट एक फॉरेस्ट रेंजर थे। योगी अपने 7 भाई बहनों में पांचवें नंबर पर थे। अजय सिंह बिष्ट के जीवन में साल 1994 में ये क्रांतिकारी परिवर्तन आया था जब वो संन्यास लेकर नाथ संप्रदाय मठ की शरण में चले गए थे। उसके पहले अजय सिंह बिष्ट ने गणित से बीएससी किया था। अजय सिंह बिष्ट ने अपने गुरु महंत अवैद्यनाथ से नाथ संप्रदाय की दीक्षा ली और फिर वो पूरी तरह योगी बन गए।
ठांगर के प्राइमरी स्कूल से हुई शुरुआती पढ़ाई
अजय सिंह बिष्ट की शुरुआती पढ़ाई उनके गांव में ही ठांगर के प्राइमरी स्कूल से हुई। उसके बाद अगली क्लास में पढ़ाई के लिए वो जनता इंटर कॉलेज चले गए ये चमकोटखाल में था और फिर इंटरमीडिएट की पढ़ाई उन्होंने ऋषिकेश से की थी। अजय सिंह बिष्ट शुरुआत से ही पढ़ने में काफी तेज तर्रार थे। इंटर के बाद उन्होंने ग्रेजुएशन और फिर गणित से पोस्ट ग्रेजुएशन किया था।
महंत अवैद्यनाथ के संपर्क में आने के बाद लिया संन्यास का फैसला
अपनी पढ़ाई के दौरान ही वो संत महंत अवैद्यनाथ के संपर्क में आए, वो पंचुर के पास कांडी गांव के रहने वाले थे। संत अवैद्यनाथ महाराज गोरखपुर में स्थित गोरखनाथ मठ के महंत थे। अवैद्यनाथ को एक योग्य और कुशल उत्तराधिकारी की तलाश थी जो कि उन्हें अजय सिंह बिष्ट के रूप में मिल चुका था। यहीं से शुरू हुई अजय सिंह बिष्ट के योगी आदित्यनाथ बनने की कहानी। अजय सिंह बिष्ट के संन्यास लेने के फैसले के बारे में उनके माता और पिता को भी नहीं पता था। दरअसल अवैद्यनाथ ने अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के एक कार्यक्रम में अजय सिंह बिष्ट की बातों से काफी प्रभावित हुए थे जिसके बाद उन्होंने अजय कुमार बिष्ट को बुलाकर बातचीत की थी।
बेटे को भगवा वस्त्र में देखकर खूब रोए थे माता-पिता
इधर अजय बिष्ट के परिवार को जब उनके संन्यास की खबर मिली तो माता-पिता उनसे मिलने के लिए गोरखपुर पहुंचे। गोरखनाथ मंदिर में जब माता-पिता की नजर बेटे पर पड़ी तो उन्हें योगी को रूप में देखकर उनके माता-पिता फूट-फूट कर रोए। माता-पिता ने अजय को घर वापस चलने के लिए कहा। तभी गुरु अवैद्य नाथ को उनके माता-पिता के बारे में पता चला उन्होंने कहा कि अगर अजय घर जाना चाहें तो जा सकते हैं। उन्होंने कहा कि संन्यास की एक परंपरा है कि परिवार से भिक्षा लिए बिना तपस्या अधूरी मानी जाती है। इसके कुछ दिन बाद योगी अपने प्राचार्य दिग्विजयनाथ के साथ अपने गांव गए और माता-पिता से भिक्षा लेकर वापस आए।
Published By : Ravindra Singh
पब्लिश्ड 5 June 2023 at 07:01 IST