अपडेटेड 15 November 2024 at 17:27 IST
SC के बुलडोजर वाले फैसले पर अखिलेश-डिंपल फूले नहीं समा रहे, योगी सरकार बोली- यह आदेश दिल्ली के...
अखिलेश-डिंपल फूले नहीं समा रहे। सुप्रीम कोर्ट ने बुलडोजर एक्शन पर नियम और शर्तें लागू कर दी है। मतलब साफ है कि अपराधियों पर होते न्याय से किसी का अन्याय ना हो।
UP Govt On Bulldozer Action Verdict: बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने बुलडोजर एक्शन पर नियम व शर्तें लागू करदी हैं। जिससे साफ हो गया कि किसी के आशियाना को आसानी से तोड़ा नहीं जा सकता। कोर्ट ने अपने फैसले से बुलडोजर की पकड़ को जंजीरों में जकड़ दिया, यानी लंबी चौड़ी गाइडलाइन जारी कर दी है। जिसका मकसद इस तरह की कार्रवाई पर लगाम लगाना है।
सुप्रीम कोर्ट ने बुलडोजर एक्शन पर रिएक्शन देते हुए कुछ नियम और शर्तें लागू कर दी। मतलब साफ है कि अपराधियों पर होते न्याय से किसी का अन्याय ना हो। बुलडोजर का एक्शन किसी इंसान के लिए आशियाने की टेंशन पैदा ना कर दे। यही कारण है कि कोर्ट ने बुलडोजर पर बैन के बजाए ब्रेक पर बल दिया है। कोर्ट ने कहा कि-
- एक्शन से पहले आदेश के खिलाफ अपील का समय
- घर गिराने से पहले 15 दिन का नोटिस दिया जाए
- कारण बताओ नोटिस घर की दीवारों पर चिपकाया जाए
- रजिस्टर्ड डाक के जरिए नोटिस भेजा जाए
- नोटिस में बताएं क्या अवैध, क्या कागज चाहिए
- 3 महीने में पोर्टल बनाकर नोटिस शेयर किया जाए
- बिना कारण बताओ नोटिस के तोड़फोड़ न की जाए
- नोटिस की जानकारी जिले के डीएम को दी जाए
- बुलडोजर एक्शन की पूरी विडियोग्राफी की जाए
- सार्वजनिक-अनाधिकृत निर्माण पर निर्देश लागू नहीं
बुलडोजर गैराज में खड़ा कर दिया- अखिलेश यादव
बुलडोजर एक्शन पर दिए फैसले को लेकर जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने कोर्ट को धन्यवाद दिया, वहीं अखिलेश यादव ने सरकार पर निशाना साधा है। न्यायालय की तल्ख टिप्पणी के बाद समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि अदालत ने बुलडोजर को हमेशा के लिए गैराज में खड़ा कर दिया है। अखिलेश यादव ने यह भी दावा किया कि बुलडोजर कार्रवाई के नाम पर गरीबों के घर तोड़े जा रहे हैं।
योगी सरकार का आया फैसले पर बयान
उत्तर प्रदेश सरकार ने बुधवार को बुलडोजर कार्रवाई पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले की सराहना करते हुए कहा कि यह फैसला संगठित अपराध पर लगाम लगाने और अपराधियों में कानून का डर पैदा करने में मदद करेगा। राज्य सरकार के एक प्रवक्ता ने कोर्ट के फैसले का स्वागत करते हुए कहा, 'सुशासन की पहली शर्त होती है कानून का राज। इस दृष्टि से उच्चतम न्यायालय द्वारा आज दिया गया फैसला स्वागत योग्य है। इस फैसले से अपराधियों के मन में कानून का भय पैदा होगा और माफिया प्रवृत्ति के तहत एवं संगठित पेशेवर अपराधियों पर लगाम कसने में आसानी होगी।'
यूपी सरकार के प्रवक्ता ने कहा, 'कानून का राज सब पर लागू होता है। हालांकि यह आदेश दिल्ली के संदर्भ में था। उत्तर प्रदेश सरकार इसमें पार्टी नहीं थी। यह मामला जमीयत उलेमा-ए-हिंद बनाम उत्तरी दिल्ली नगर निगम और अन्य से संबंधित था।
Published By : Sagar Singh
पब्लिश्ड 13 November 2024 at 21:18 IST