अपडेटेड 3 February 2023 at 23:49 IST
ओपीएस पर खट्टर का बयान गलत, राजस्थान में अबतक 62 कर्मचारियों को मिल चुका है इसका लाभ : गहलोत
इसके साथ ही गहलोत ने कहा,‘‘आगे भी सभी कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ दिया जाएगा।’’
राजस्थान में पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) के बारे में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के एक कतिपय बयान का खंडन करते हुए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शुक्रवार को कहा कि राजस्थान में पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) लागू कर दिया गया है एवं 62 कर्मचारियों को इसका लाभ दिया जा चुका है।
इसके साथ ही गहलोत ने कहा,‘‘आगे भी सभी कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ दिया जाएगा।’’
खट्टर की कथित टिप्पणी का खंडन करते हुए गहलोत ने सोशल मीडिया पर उन्हें संबोधित करते हुए लिखा,‘‘मीडिया के माध्यम से पता चला कि आपने सरकारी कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना (पर बयान देते हुए कहा कि राजस्थान ने ओपीएस की घोषणा को वापस ले लिया है। मैं आपको बताना चाहता हूं कि आपको किसी ने गलत जानकारी दी है जिसके कारण आपने ऐसा बयान दिया जो तथ्यात्मक नहीं है।’’
उन्होंने लिखा,‘‘राजस्थान में एक अप्रैल 2022 से ओपीएस लागू कर दिया गया है एवं 2004 के बाद सेवा में आकर सेवानिवृत्त हुए 62 कर्मचारियों को ओपीएस का लाभ दिया जा चुका है एवं आगे भी सभी कार्मिकों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ दिया जाएगा।’’
गहलोत ने लिखा,‘‘मैं आपकी जानकारी के लिए बताना चाहूंगा कि इसी प्रकार का असत्य हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने वहां विधानसभा चुनावों के दौरान बोला था, इसलिए मैंने वहां विधानसभा चुनाव के दौरान शिमला जाकर प्रेस वार्ता की एवं हिमाचल प्रदेश की जनता को सच से अवगत करवाया।’’
मुख्यमंत्री ने कहा कि वह खट्टर की जानकारी में लाना चाहते हैं कि संविधान की सातवीं अनुसूची में राज्य सूची का बिन्दु संख्या 42 स्पष्ट कहता है कि राज्य पेंशन जो राज्य की समेकित निधि से दी जाएगी उन पर राज्य सरकार को कानून बनाने का अधिकार है; ऐसे में आपका यह कहना उचित नहीं है कि पुरानी पेंशन योजना केन्द्र सरकार द्वारा ही दी जा सकती है।
गहलोत ने खट्टर को संबोधित करते हुए ट्वीट किया,‘‘मैं आपसे निवेदन करना चाहूंगा कि मानवीय दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए हरियाणा में भी पुरानी पेंशन स्कीम लागू करें एवं केन्द्र सरकार को भी इसके लिए अपनी सिफारिश भेजें।’’
Published By : Press Trust of India (भाषा)
पब्लिश्ड 3 February 2023 at 23:47 IST