अपडेटेड 16 May 2025 at 20:39 IST

Bihar: रसोई गैस सिलेंडर का पाइप मुंह में डालकर लगा दी आग... दरोगा की बहन की सनसनीखेज हत्याकांड से दहला पटना

तफ्तीश में सामने आया कि संजना को पहले चाकू से गोदा गया। फिर, जैसे कि हत्यारे को यह भी काफी नहीं लगा, उसने रसोई गैस सिलेंडर का पाइप उसके मुंह में ठूंसा और आग लगा दी। हत्या की यह क्रूरता हैरान कर देने वाली थी।

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Bihar: रसोई गैस सिलेंडर का पाइप मुंह में डालकर लगा दी आग... दरोगा की बहन की सनसनीखेज हत्याकांड से दहला पटना | Image: Shutterstock

Patana Crime News: पटना की एक सामान्य-सी रात, लेकिन एसकेपुरी थाना क्षेत्र के आनंदपुरी मोहल्ले में जो हुआ, उसने पूरे शहर को दहला दिया। यह कोई आम हत्या नहीं थी। यह एक सोची-समझी, बेरहमी की हद पार कर देने वाली वारदात थी। गुरुवार की रात तकरीबन 10 बजे पड़ोसियों ने एक घर से चीखने की आवाजें सुनीं, लेकिन किसी ने ध्यान नहीं दिया। कुछ ही देर में वही घर आग की लपटों में घिरा मिला। जब तक दमकल और पुलिस मौके पर पहुंची, सब कुछ खत्म हो चुका था कमरे के एक कोने में संजना सिंह की अधजली लाश मिली। संजना एक होनहार युवती, जिसने हाल ही में CGL परीक्षा पास की थी। वह एक प्रशिक्षु दारोगा की बहन थी। उसके सपने, उसकी मेहनत, सब कुछ चंद मिनटों में राख हो गया।

 

तफ्तीश में सामने आया कि संजना को पहले चाकू से गोदा गया। फिर, जैसे कि हत्यारे को यह भी काफी नहीं लगा, उसने रसोई गैस सिलेंडर का पाइप उसके मुंह में ठूंसा और आग लगा दी। हत्या की यह क्रूरता हैरान कर देने वाली थी। ऐसा लगा जैसे कातिल ने हर सबूत को जलाकर मिटा देना चाहा हो। पुलिस मौके पर पहुंची, फॉरेंसिक टीम ने सुराग जुटाने शुरू किए। सवाल उठने लगे क्यों हुई संजना की हत्या? किसने की? और सबसे अहम क्या ये कोई निजी रंजिश थी या कुछ और? पटना की गलियों में अब सिर्फ एक ही चर्चा है आनंदपुरी की उस रात का खून और आग में लिपटा सच। पुलिस की जांच जारी है, लेकिन शहर अब और बेचैन है... क्योंकि कातिल अभी आज़ाद घूम रहा है।

 

CGL परीक्षा पास कर चुकी मेधावी छात्रा थी संजना

पटना की एक सुनसान गली, आधी रात का वक्त, और एक बंद कमरे से उठता धुआं यही था पहला इशारा कि कुछ बहुत गलत हुआ है। पीड़िता का नाम संजना सिंह, उम्र 27 वर्ष। मुजफ्फरपुर की रहने वाली संजना सिंह, बीते छह महीनों से पटना के आनंदपुरी मोहल्ले में किराये के एक मकान में अकेली रह रही थीं। पढ़ाई में तेज़ और भविष्य को लेकर गंभीर, संजना हाल ही में CGL परीक्षा पास कर चुकी थीं। परिवार की सबसे बड़ी संतान दो छोटे भाई-बहनों के लिए एक प्रेरणा। उनके भाई सौरव सिंह इस वक्त राजगीर के प्रशिक्षण केंद्र में बतौर प्रशिक्षु दारोगा ट्रेनिंग पर हैं।

 

फॉरेंसिक टीम ने किया सटीक निरीक्षण

हैरानी की बात यह है कि जब शव मिला, तो संजना अपने ही बिस्तर पर पड़ी थीं। आग में झुलसी हुई, पर उसका अंदाज़ ऐसा था मानो वह नींद में थी। कमरे में घुप्प अंधेरा था, बल्ब तक बुझा हुआ। कमरे की दीवारें धुएं से काली हो चुकी थीं और वातावरण में बारूद की गंध तैर रही थी। लेकिन इस सब के बीच मोहल्ले को कोई भनक तक नहीं लगी। न कोई चीख, न कोई तोड़फोड़ की आवाज़। एफएसएल (फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी) की टीम घटनास्थल पर पहुंची और सटीक निरीक्षण शुरू हुआ। बिस्तर की चादर पर खून के धब्बे मिले, जो संकेत देते हैं कि संजना की हत्या पहले हुई। शायद चाकू से वार कर। उसके बाद हत्यारे ने कमरे में आग लगाई, और सिलेंडर का पाइप उसके मुंह में ठूंसकर हत्या को हादसा साबित करने की कोशिश की।

हत्या पर उठ रहे ये सुलगते सवाल

  • संजना के कमरे में आग लगी, लेकिन किसी को भनक तक कैसे नहीं लगी?
  • कमरे की लाइट बंद क्यों थी?
  • क्या हत्यारा जान-पहचान का था, जो बिना शोर-शराबे के अंदर आया और गया?
  • और अगर यह कोई करीबी था, तो उसकी मंशा सिर्फ हत्या थी या कुछ और छिपा है इस आग के पीछे?


पटना पुलिस अब संजना के कॉल रिकॉर्ड्स, पड़ोसियों से पूछताछ और FSL की रिपोर्ट के आधार पर इस खौफनाक मर्डर मिस्ट्री की गुत्थी सुलझाने में जुटी है। लेकिन एक बात साफ है। यह मामला सिर्फ हत्या नहीं, बल्कि सोच-समझकर रची गई एक भयानक साजिश है। पटना के एसकेपुरी इलाके में उस सुबह की खामोशी अचानक एक दिल दहला देने वाली चीख से चीर दी गई। सुबह की दिनचर्या की तरह जब घर की नौकरानी रोज़ की तरह काम पर पहुंची, तो उसे कुछ अजीब महसूस हुआ। कमरे में पसरा सन्नाटा अस्वाभाविक लग रहा था। शक के चलते उसने कांपते हाथों से बत्ती जलाई और जो उसने देखा, उससे उसकी चीख पूरे मोहल्ले में गूंज उठी।


नौकरानी ने संजना का शव देखा तो निकल पड़ी जोरदार चीख

बिस्तर पर संजना का शव पड़ा था वीभत्स अवस्था में। शरीर की स्थिति साफ़ इशारा कर रही थी कि मौत सामान्य नहीं थी। नौकरानी की चीख सुनकर मकान मालिक दौड़ते हुए वहां पहुंचे और हालात देख पुलिस को सूचना दी गई। एसकेपुरी थाने की पुलिस टीम मौके पर पहुंची और जांच शुरू कर दी। थानेदार प्रभात कुमार ने पुष्टि की कि शव को पोस्टमार्टम के लिए पीएमसीएच भेज दिया गया है ताकि मौत के कारणों की सटीक जानकारी मिल सके। जैसे ही सूचना फैली, संजना से जुड़ा एक नाम तुरंत सामने आया सौरव। घटना की खबर मिलते ही वो भी घटनास्थल पर पहुंचा। पुलिस ने उससे पूछताछ शुरू कर दी है। घटनास्थल के आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली जा रही है। हर फ्रेम में पुलिस जवाब तलाश रही है। क्या यह एक सुनियोजित हत्या थी? या फिर मामला कुछ और है? जांच जारी है। लेकिन एक बात तय है पटना की इस गली ने एक डरावनी सच्चाई को अपनी दीवारों में दर्ज कर लिया है।

 

मां को की थी संजना ने आखिरी कॉल

संजना ने आखिरी बार अपनी मां से सुबह करीब दस बजे बात की थी। बातचीत बिल्कुल सामान्य थी ना कोई घबराहट, ना कोई इशारा किसी खतरे का। लेकिन इसके बाद जैसे सब कुछ ठहर गया। उसका मोबाइल फोन अचानक बंद हो गया। परिवार ने शुरू में इसे रोजमर्रा की बात समझा शायद मोबाइल की बैटरी खत्म हो गई हो, या फिर वह काम में इतनी व्यस्त हो कि चार्ज करना भूल गई हो। लेकिन जैसे-जैसे समय बीतता गया और संजना से कोई संपर्क नहीं हो पाया, एक अनजाना डर परिवार के दिल में घर करने लगा। शाम तक ये डर खौफ में बदल चुका था। पुलिस ने घटनास्थल से संजना का मोबाइल फोन जब्त कर लिया है। अब यही एक डिवाइस उसकी आखिरी घंटों की कहानी बयान कर सकता है। फोन की कॉल डिटेल, मैसेज और लोकेशन इतिहास खंगाले जा रहे हैं। किससे बात हुई थी? क्या कोई उसे मिलने आया था? क्या कोई कॉल उसकी मौत की कड़ी है? जांच अधिकारी अब हर डिजिटल सुराग को एक धागे की तरह पकड़कर उस सच्चाई तक पहुंचना चाहते हैं, जिसने संजना की जिंदगी को अचानक खत्म कर दिया। क्या ये महज़ एक इत्तेफाक था... या एक सोची-समझी साजिश? सवाल कई हैं, जवाब अब संजना के मोबाइल की यादों में छिपे हैं जो अब पुलिस की तहकीकात की सबसे अहम कड़ी बन चुका है।

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Published By : Ravindra Singh

पब्लिश्ड 16 May 2025 at 20:39 IST