अपडेटेड 9 October 2024 at 15:14 IST

जम्मू-कश्मीर का राज्य का दर्जा बहाल करने संबंधी प्रस्ताव पारित किया जाएगा, बोले उमर अब्दुल्ला

नेशनल कॉन्फ्रेंस के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने बुधवार को कहा कि नेकां-कांग्रेस सरकार अपनी पहली ही मंत्रिमंडल की बैठक में जम्मू-कश्मीर का राज्य का दर्जा बहाल करने की मांग वाला एक प्रस्ताव पारित करेगी।

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National Conference leader Omar Abdullah. | Image: PTI

नेशनल कॉन्फ्रेंस के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने बुधवार को कहा कि नेकां-कांग्रेस सरकार अपनी पहली ही मंत्रिमंडल की बैठक में जम्मू-कश्मीर का राज्य का दर्जा बहाल करने की मांग वाला एक प्रस्ताव पारित करेगी। अब्दुल्ला ने यहां पत्रकारों से कहा, ‘‘मुझे उम्मीद है कि सरकार गठन के बाद पहली बैठक में मंत्रिमंडल, राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए केंद्र पर दबाव डालने के वास्ते एक प्रस्ताव पारित करेगा। इसके बाद सरकार इस प्रस्ताव को प्रधानमंत्री के पास भेजेगी।’’

उन्होंने उम्मीद जतायी कि दिल्ली के विपरीत जम्मू-कश्मीर में सरकार सुचारू रूप से काम कर पाएगी। उन्होंने कहा, ‘‘हमारे और दिल्ली के बीच एक फर्क है। दिल्ली कभी एक राज्य नहीं रहा। किसी ने दिल्ली को राज्य का दर्जा देने का वादा नहीं किया। जम्मू-कश्मीर 2019 से पहले राज्य था। हमसे प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और अन्य वरिष्ठ मंत्रियों ने राज्य का दर्जा बहाल करने का वादा किया, जिन्होंने कहा है कि जम्मू-कश्मीर में तीन कदम उठाए जाएंगे - परिसीमन, चुनाव और फिर राज्य का दर्जा।’’

अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘परिसीमन हो गया, अब चुनाव भी हो गए हैं। इसलिए केवल राज्य का दर्जा देना बाकी है जिसे जल्द ही बहाल किया जाना चाहिए।’’ यह पूछे जाने पर कि जम्मू-कश्मीर सरकार तथा केंद्र के बीच समन्वय कितना जरूरी है, इस पर उन्होंने कहा कि नयी दिल्ली से टकराव लेकर कुछ भी हासिल नहीं किया जा सकता। नेकां नेता ने कहा, ‘‘पहले सरकार बनने दीजिए। यह सवाल मुख्यमंत्री से पूछा जाना चाहिए। नयी दिल्ली के साथ सौहार्दपूर्ण संबंध होने चाहिए। मेरी उन्हें (मुख्यमंत्री) सलाह होगी कि हम केंद्र के साथ टकराव करके किसी भी मुद्दे का समाधान नहीं कर सकते।’’

हम भाजपा का विरोध करते रहेंगे- उमर अब्दुल्ला

अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘ऐसा नहीं है कि हम भाजपा की राजनीति स्वीकार करेंगे या भाजपा हमारी राजनीति स्वीकार करेगी। हम भाजपा का विरोध करते रहेंगे लेकिन केंद्र का विरोध करना हमारी मजबूरी नहीं है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘केंद्र के साथ अच्छे रिश्ते रखना जम्मू-कश्मीर और उसके लोगों के लिए फायदेमंद होगा। लोगों ने टकराव के लिए वोट नहीं किया है। जम्मू-कश्मीर के लोगों ने इसलिए वोट दिया है क्योंकि वे रोजगार चाहते हैं, वे विकास चाहते हैं, वे राज्य का दर्जा बहाल कराना चाहते हैं, वे बिजली तथा अन्य समस्याओं से छुटकारा चाहते हैं और नयी दिल्ली से टकराव करके इनका समाधान नहीं निकलेगा।’’

अब्दुल्ला ने कहा कि नेकां सरकार गठन की प्रक्रिया शुरू करने के लिए बृहस्पतिवार को विधायक दल की एक बैठक बुलाएगी।उन्होंने कहा, ‘‘मैंने नेकां अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला से बात की है और पार्टी कल विधायक दल की बैठक बुलाएगी। इसके बाद गठबंधन के सहयोगियों की बैठक होगी जिसमें गठबंधन का नेता चुना जाएगा और फिर हम सरकार गठन का दावा जताने के लिए राज भवन जाएंगे। मुझे उम्मीद है कि अगले कुछ दिन में नयी सरकार बन जाएगी।’’

यह पूछने पर कि क्या पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) गठबंधन सरकार का हिस्सा होगी, इस पर नेकां नेता ने कहा कि अभी तक इस पर कोई चर्चा नहीं हुई है। उन्होंने कहा, ‘‘पीडीपी ने हमसे या हमने उनसे कोई संपर्क नहीं किया है। इस चुनाव के नतीजों को देखते हुए मुझे लगता है कि कुछ अंदरुनी चर्चा चल रही होगी। मुझे लगता है कि चुनावी नतीजे उनके लिए झटका हैं।’’

कभी कोई संवाद होता है तो हम बैठेंगे और बात करेंगे- उमर 

अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘अगर कभी कोई संवाद होता है तो हम बैठेंगे और बात करेंगे। लेकिन अभी यह हमारे लिए प्राथमिकता नहीं है।’’ नेकां उपाध्यक्ष ने कहा कि वह जनादेश से अभिभूत हैं लेकिन वह इसके साथ आने वाली जिम्मेदारी से भी अच्छी तरह वाकिफ हैं। उपराज्यपाल द्वारा पांच विधायकों को नामांकित किए जाने के मुद्दे पर अब्दुल्ला ने मनोज सिन्हा को ऐसा न करने की सलाह दी ‘‘क्योंकि पांच विधायकों को नामित करने के बाद भी भाजपा सरकार नहीं बना पाएगी।’’

अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘आप पांच विधायकों को विपक्ष में बैठाने के लिए ही नामांकित करेंगे और विवाद हो जाएगा क्योंकि फिर हमें उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाना होगा और इसके खिलाफ मुकदमा दायर करना होगा। हम केंद्र के साथ सौहार्दपूर्ण संबंध रखना चाहते हैं लेकिन यह कदम पहले दिन से ही तनाव पैदा करेगा।’’उन्होंने कहा, ‘‘पांच विधायकों के नामांकन से सरकार गठन पर कोई असर नहीं पड़ेगा। चुनाव जीतने वाले कुछ निर्दलीय पहले ही हमारे संपर्क में हैं और वे हमारे साथ आएंगे तथा हमारा संख्या बल बढ़ेगा। भाजपा को इन पांच विधायकों को नामांकित कर कुछ हासिल नहीं होगा।’’

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Published By : Rupam Kumari

पब्लिश्ड 9 October 2024 at 15:14 IST